Move to Jagran APP

फसलों का बीमा करवाने के लिए अब एक सप्ताह शेष, जल्‍दी करें हरियाणा के किसान

किसान 31 दिसंबर तक अपनी फसलों का बीमा करवा सकते हैं। इसके बाद पोर्टल बंद हो जाएगा और किसान बीमा नहीं करवा पाएंगे। इसलिए किसानों को समय रहते अपनी फसलों का बीमा करवाना होगा ताकि वे इससे बीमा करवाने से वंचित ना रहे।

By Manoj KumarEdited By: Published: Sun, 26 Dec 2021 09:05 AM (IST)Updated: Sun, 26 Dec 2021 09:05 AM (IST)
फसलों का बीमा करवाने के लिए अब एक सप्ताह शेष, जल्‍दी करें हरियाणा के किसान
पांच फसलों का हो रहा बीमा, बिना विलंब बीमा करवाएं किसान

जागरण संवाददाता,झज्जर : प्रधान मंत्री फसल बीमा योजना के तहत किसानों के पास अपनी फसलों का बीमा करवाने के लिए अब केवल एक सप्ताह का समय शेष बचा हुआ है। किसान 31 दिसंबर तक अपनी फसलों का बीमा करवा सकते हैं। इसके बाद पोर्टल बंद हो जाएगा और किसान बीमा नहीं करवा पाएंगे। इसलिए किसानों को समय रहते अपनी फसलों का बीमा करवाना होगा, ताकि वे इससे बीमा करवाने से वंचित ना रहे। विभाग द्वारा इसके लिए किसानों को जागरूक किया जा रहा है। ताकि फसलों में होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए मुआवजा मिल सके। बीमा करवाने वाले किसानों को ही फसलों में नुकसान होने पर मुआवजा मिलेगा। इसलिए बीमा करवाने वाले किसानों की संख्या में भी पिछले कुछ वर्षों के दौरान इजाफा देखा जा रहा है।

loksabha election banner

ऋणी किसान अगर बीमा करवाना चाहते हैं तो उन्हें बैंक में जाकर सूचना देनी हागी। ऋणी किसान अपने खेत में बिजाई की गई फसल की बैंक में जाकर जरूर सूचना दें। ताकि उसी फसल का बीमा कटे। बैंकों के पास भी ऋणी किसानों की फसलों का बीमा काटने का 31 दिसंबर तक का समय है। वहीं बैंकों द्वारा 15 जनवरी तक पोर्टल पर डाटा अपलोड करना पड़ेगा। गैर-ऋणी किसान निकटतम बैंक शाखा, सहकारी समिति, अधिकृत चैनल पार्टनर, सीएससी, बीमा कंपनी तथा उनके अधिकृत एजेंट से करवा सकता है।

फसलों में होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए बीमा करवाना आवश्यक हो गया। जो किसान फसलों का बीमा करवाते हैं, उन्हें नुकसान होने पर मुआवजा दिया जाता है। बीमा में खड़ी फसल में ओलावृष्टि, जलभराव, बादल फटने और आकाशीय बिजली से उत्पन्न आग से क्षति को शामिल किया गया है। साथ ही फसल कटाई के बाद फसलों में क्षति लाभ भी दिया जाता है। फसल कटाई के बाद 14 दिनों तक खेत में सुखाई के लिए रखी फसल में ओलावृष्टि, चक्रवात, बेमौसम व चक्रवाती वर्षा से क्षति पूर्ति की जाएगी।

यह रहेगा प्रति एकड़ प्रीमियम

फसल का नाम किसान का प्रीमियम बीमित राशि

गेहूं 409.50 रुपये 27300.12 रुपये

जौ 267.75 रुपये 17849.89 रुपये

सरसों 275.63 रुपये 18375.17 रुपये

चना 204.75 रुपये 13650.06 रुपये

सूरजमुखी 267.75 रुपये 17849.89 रुपये

ये दस्तावेज होंगे आवश्यक

-आधार कार्ड

-बैंक खाता संख्या

-भूमि एवं फसल बुआई संबंधित दस्तावेज

-डीडीए इंद्र सिंह ने कहा कि जिन किसानों ने अभी तक अपनी फसलों का बीमा नहीं करवाया है वे समय रहते जरूर करवाएं। ताकि फसल में होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए मुआवजा मिल सके।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.