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हरियाणा के सरकारी स्‍कूलों में पढ़ाई का रिकार्ड रखने के लिए अध्यापकों को दिए डायरी लिखने के निर्देश

शिष्य ही स्कूल में होने वाली प्रतिदिन की पढ़ाई का रिकार्ड अपनी कापी या डायरी में रखते थे। लेकिन अब गुरु भी प्रतिदिन की दैनिकी का रिकार्ड रखते नजर आएंगे। ताकि पढ़ाई को प्रभावी ठंग से बनाया जा सके।

By Manoj KumarEdited By: Published: Fri, 22 Apr 2022 07:33 AM (IST)Updated: Fri, 22 Apr 2022 07:33 AM (IST)
हरियाणा के सरकारी स्‍कूलों में पढ़ाई का रिकार्ड रखने के लिए अध्यापकों को दिए डायरी लिखने के निर्देश
हरियाणा के सरकारी स्‍कूलों में शिष्य ही नहीं गुरु भी प्रतिदिन लिखेंगे डायरी

जागरण संवाददाता,झज्जर : अब तक देखने को मिलता था कि शिष्य ही स्कूल में होने वाली प्रतिदिन की पढ़ाई का रिकार्ड अपनी कापी या डायरी में रखते थे। लेकिन अब गुरु भी प्रतिदिन की दैनिकी का रिकार्ड रखते नजर आएंगे। ताकि पढ़ाई को प्रभावी ठंग से बनाया जा सके। पढ़ाई के बदलते स्वरूप के साथ अध्यापकों में भी बदलाव की जरूरत है। इसी दिशा में यह कदम बढ़ाया गया है और विभाग द्वारा अध्यापकों को प्रतिदिन डायरी लिखने के निर्देश दिए गए है। जिसमें अध्यापक हर रोज पढ़ाई व अन्य गतिविधियों का लेखा-जोखा लिखेंगे। जिससे यह ज्ञात रहे कि विद्यार्थियों की पढ़ाई कहां तक हो चुकी है और इसके लिए अधिकारियों द्वारा निरीक्षण करके जांच भी किया जाएगा।

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नए शैक्षणिक सत्र आरंभ होने जा रहा है। फिलहाल दाखिला प्रक्रिया चल रही है। जल्द ही स्कूलों में कक्षाएं आरंभ होंगी। जिसके बाद विद्यार्थियों को बेहतर पढ़ाई हो इसके लिए विद्यालय शिक्षा निदेशालय ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिए है कि पहली कक्षा से बारहवीं कक्षा तक के सभी अध्यापक टीचर डायरी बनाएंगे। जिसमें प्रतिदिन की पढ़ाई व गतिविधियों को दैनिक आधार पर लिखेंगे। जिसका अधिकारी भी निरीक्षण करें, ताकि सभी अध्यापक डायरी जरूर लिखें। साथ ही जब अधिकारी स्कूलों का निरीक्षण करेंगे तो उन्हें टीचर डायरी से यह पता लग पाएगा कि पढ़ाई कहां तक हो चुकी है।

टीचर डायरी यह मूल्यांकन में भी मदद करेगी कि वे समय अनुसार पाठ्यक्रम पढ़ा रहे हैं या नहीं। इससे समय पर पाठ्यक्रम पूरा करवाने के लिए शेड्यूल भी बनाया जा सकेगा और इसका फायदा विद्यार्थियों व अध्यापकों को होगा। कोरोना महामारी से प्रभावित हुई पढ़ाई को दुरुस्त करने के लिए यह कदम उठाया गया है।

कोरोना महामारी के कारण स्कूल काफी समय तक बंद रहे। जिसके चलते विद्यार्थी केवल आनलाइन पढ़ाई पर ही निर्भर रहे हैं। इसलिए विद्यार्थियों की पढ़ाई से भी दूरी बन गई है। ऐसे में विद्यार्थियों की पढ़ाई में फिर से रूचि लगाने के लिए भी प्रयास किया जा रहा है। इसलिए ना केवल अकेली पढ़ाई, बल्कि अन्य गतिविधियों के माध्यम से भी विद्यार्थियों को पढ़ाने पर अधिक फोकस किया जा रहा है।

-सभी अध्यापकों को प्रतिदिन डायरी लिखने के निर्देश दिए गए हैं। जिससे विद्यार्थियों को बेहतर ढंग से पढ़ाई करवाई जाएगी और यह भी ध्यान रखा जा सकेगा कि कितना सिलेबस पूरा हो चुका है।

डा. सुदर्शन पूनिया, नोडल अधिकारी, झज्जर।


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