Hisar Lockdown : पुलिस ने कहीं भांजी लाठियां, कहीं भूखों को खिलाया खाना, दूसरे दिन के हालात
कोरोना वायरस के चलते हिसार समेत अन्य जिलों में लॉकडान के दूसरे दिन हालात मिले जुले रहे। इस दौरान कई मार्मिक दृश्य सामने आए जिन्हें देख हर कोई साेचने पर मजबूर हो जाए। जानें हालात
हिसार, जेएनएन। कोरोना वायरस के चलते देशभर में लॉकडाउन है और आज इसका दूसरा दिन है। पहले दिन जहां कुछ लोगों ने नियमों का पालन नहीं किया और पुलिस को सख्ती दिखानी पड़ी। वहीं हरियाणा में दूसरे दिन हालात थोड़े सामान्य रहे। लोग भी कम बाहर निकले तो पुलिस ने सख्ती भी थोड़ी कम की। हालांकि हिसार समेत अन्य जिलों में जहां जरूरत दिखी वहां पुलिस ने सख्ती भी बरती। हिसार में दूसरे दिन बाहरी नाकों से लेकर शहर के बीच ज्यादा पुलिस नजर आई। पुलिस आने जाने वाले हर राहगीर से पूछताछ कर रही थी, वहीं बुधवार की तुलना में गुरुवार को थोड़ा मिजाज नरम नजर आया।
वहीं झज्जर में पुलिस ने बेफिजुल घूम रहे युवकों पर लाठी भांजी। वहीं रोहतक में पुलिस का दूसरा चेहरा भी देखने को मिला। जब एक डीएसपी भूखे लोगों को खाना खिलाते नजर आए। लॉकडाउन में बहुत से लाेगों को परेशानी ज्यादा हो रही है। इनमें दिहाड़ी मजदूर व बाहरी राज्य से हरियाणा में आए लोग हैं जिन्हें न रहने का ठिकाना है और न ही खाने को रोटी। वहीं गांवों में भी डिपो के सहारे राशन पानी का जुगाड़ करने वाले लोगों को भी दिक्कत हो रही है। बुधवार को हिसार के नारनौंद क्षेत्र के एक गांव राजथल में ऐसी ही तस्वीर देखने को भी मिली जहां कई लोग राशन लेने क लिए पहुंच गए।
हिसार में गुरुवार को पारिजात चौक, डाबड़ा चौक, लक्ष्मीबाई चौक, फव्वारा चौक, जिंदल चौक, मलिक चौक, बस स्टैंड समेत अन्य कई जगहों पर राहगीरों से पूछताछ की। जो लोग जरूरी काम के लिए इधर उधर जा रहे थे पुलिस ने उनके साथ सख्ती नहीं की। जबकि बुधवार को सख्ती कुछ ज्यादा ही बढ़ गई थी।
मकान मालिक ने निकाला घर से बाहर, झज्जर में खिलाया खाना
लॉकडाउन में बाहर राज्यों से हरियाणा में आए मजदूराें के लिए जान पर बन आई है। दादरी में काम करने वाला 21 लोगों का समूह बदायूं अपने परिवार के पास लौटने के लिए सामान पैक कर पैदल ही चल दिया। सुबह चार बजे दादरी से पलवल के लिए निकले थे। ये लाेग भूखे ही जा रहे थे। जब झज्जर पहुंचे तो शहरवासियों ने लोगों से कारण पूछा तो सारी कहानी का पता चाला। लोगों ने बताया कि वे दादरी में काम करते थे और किराए पर रह रहे थे। वहां से मकान मालिक ने बाहर निकाल दिया। शहरवासियों ने सभी को दूरी पर बैठाकर खाना खिलाया।
झज्जर में पैदल उत्तर प्रदेश में घर जा रहे श्रमिकों को खाना खिलाते हुए शहरवासी
लॉकडाउन में जंग खा गईं दरातियां
इन दिनों सरसों तो कुछ दिन बाद गेहूं की फसल काटने के लिए खूब दरांतियों की जरूरत होती है। मगर कोरोना वायरस को लेकर लागू किए गए लॉकडाउन में फसल काटने के लिए न मजदूर मिल रहे हैं तो न ही दरांती बिक रही है। बहादुरगढ़ में भी दरांती बेचने के लिए एक महिला बैठी रही मगर खरीदने वाला कोई नहीं था।
बता दें कि गांवों में तो लोग फिर भी खुद ही अपना काम निपटा रहे हैं मगर बाहर से कोई आ जा नहीं पा रहा है। कुछ गांवों ने अपने प्रवेश द्वार पर ही बाहरी गांव के लोग या रिश्तेदारों के आने तक पर पाबंधी लगा दी है। सड़कों पर लोग नहीं है। ऐसे में अब सब्जी और फल आदी तो खरीदे जा रहे हैं। मगर अन्य चीजें कम ही बिक रही हैं।
रोहतक: पुलिस उपाधीक्षक सज्जन कुमार फुटपाथ पर बैठे लोगों को खाना खिलाते हुए। ये लोग गुब्बारे बेचकर अपना गुजारा कर रहे थे। लेकिन अब उनको खाने का संकट हो गया है। ऐसे में इनके दर्द को समझते हुए पुलिस ने दयालुता दिखाई और इन्हें खाना खिलाया।
चरखी दादरी : लॉकडाउन के दौरान दादरी के भगवान परशुराम चौक पर बेवजह घूम रहे युवकों से दंड बैठक करवाते पुलिसकर्मी। बुधवार को पुलिसकर्मी उठक बैठक कही करवा रहे थे। मगर अब दंड बैठक भी शुरू करवा दी है।