Haryana Police Sub Inspector Recruitment: दूर रहा सेंटर, परीक्षार्थियों को हुईं भारी परेशानी, निजी बस संचालकों ने की मनमानी
सब इंस्पेक्टर की परीक्षा देने के लिए गए बहुझोलरी खानपुर खेड़ा झांसवा मातनहेल के परीक्षार्थियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा है । परीक्षा देने वाले मनोज मोनू योगेश निशा संदीप ने बताया कि कई जगह पर आटो तो कई जगह पर निजी बस चालकों ने मनमाना किराया वसूला।
संवाद सूत्र, साल्हावास : रविवार को आयोजित सब इंस्पेक्टर की परीक्षा देने के लिए गए बहुझोलरी, खानपुर, खेड़ा, झांसवा, मातनहेल के परीक्षार्थियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा है । परीक्षा देने वाले मनोज, मोनू, योगेश, निशा, संदीप आदि ने बताया कि कई जगह पर आटो वालों ने तो कई जगह पर निजी बस चालकों ने मनमाना किराया वसूला। साथ ही उन्हें वसूले गए किराए की टिकट तक नहीं दी। ताकि, परीक्षार्थी बाद में उनकी शिकायत नहीं कर दें। जबकि, उन्हें बस में बैठने की सीट तक नहीं मिलीं।
जिससे परीक्षा के दौरान भी मानसिक थकान का अनुभव हुआ। उक्त के मुताबिक एक बस के अंदर 70 से 80 सवारियों को बैठाया गया। कुल मिलाकर, जान जोखिम में डालकर परीक्षा देने के लिए गृह जिले से दूर जाना पड़ा। युवाओं ने प्रशासन से मांग कि है कि भविष्य में यदि आयोग द्वारा कोई भी परीक्षा ली जाती है तो वह आवेदक के गृह जिले में होने चाहिए और यदि कहीं दूसरे जिले में परीक्षा ली जाती हैं तो बसों की समुचित व्यवस्था करवानी चाहिए तथा रोडवेज कर्मचारियों के द्वारा निजी बसों की टिकटों की जांच की जानी चाहिए ।अत्यधिक सवारी बैठाने पर बसों का चालान करना चाहिए। ताकि परीक्षार्थियों को किसी भी तरह की परेशानी ना हो।
शनिवार को भी परीक्षा देने के लिए सेंटर पर गए परीक्षार्थी
परीक्षा देने गए दीपक शर्मा के मुताबिक उनका सेंटर यमुनानगर में आया हुआ था। केंद्र पर सुबह सात बजे रिपोर्ट करने के लिए बोल रखा था। किन्हीं परिस्थितियों में भी वह सुबह सफर करते हुए सेंटर पर नहीं पहुंच सकतें। ऐसी स्थिति में उन्हें शनिवार को ही दिन में ही घर से जाना पड़ा। जबकि, वहां पहुंचने के बाद कमरा किराए पर लेकर रहना पड़ा। ऐसी स्थिति में उन्हें आर्थिक रुप से भी नुकसान उठाना पड़ा। जिसका सरकार को ध्यान देना चाहिए। लेकिन, ऐसा हो नहीं रहा।
महिला परीक्षार्थियों को हुई ज्यादा दिक्कत
गृह जिले से काफी दूर बनाए गए सेंटर की स्थिति में महिला परीक्षार्थियों को और ज्यादा परेशानी उठानी पड़ी। कारण कि एक दिन पहले का सफर करने के लिए परिवार के एक अतिरिक्त सदस्य को उनके साथ जाना पड़ा। जिसके बाद उन्हें वहां पर ठहरने की व्यवस्था भी करनी पड़ी। ऐसी स्थिति में कुछ परीक्षार्थियों ने समय और स्थिति को देखते हुए परीक्षा भी नहीं दी।