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एमडीयू में भूख हड़ताल पर बैठी छात्राओं के पोस्‍टर फाड़े, उठा ले गए गद्दे

एमडीयू के गेट नंबर एक पर हॉस्टल अलॉट नहीं होने पर भूख हड़ताल पर बैठी दो छात्राओं के मामले ने तूल पकड़ लिया है। शुक्रवार को धरना स्‍थल पर लगे बैनर और पोस्‍टरों को फाड़ दिया।

By manoj kumarEdited By: Published: Fri, 09 Aug 2019 01:17 PM (IST)Updated: Sat, 10 Aug 2019 01:09 PM (IST)
एमडीयू में भूख हड़ताल पर बैठी छात्राओं के पोस्‍टर फाड़े, उठा ले गए गद्दे
एमडीयू में भूख हड़ताल पर बैठी छात्राओं के पोस्‍टर फाड़े, उठा ले गए गद्दे

रोहतक, जेएनएन। एमडीयू के गेट नंबर एक पर हॉस्टल अलॉट नहीं होने पर भूख हड़ताल पर बैठी दो छात्राओं के मामले ने तूल पकड़ लिया है। शुक्रवार को धरना स्‍थल पर लगे बैनर और पोस्‍टरों को फाड़ दिया। वहीं वहां रखे गद्दों को भी उठा ले गए। मगर अभी भी दोनों छात्राएं अपने धरने पर डटीं हुई हैं। छात्राओं का कहना है कि वो किसी भी हालत में पीछे नहीं हटेंगी। छात्राओं ने यूनिवर्सिटी प्रशासन पर आरोप लगाए हैं कि उनके साथ वीसी के कहने पर ही ऐसा किया गया है। मगर जब तक डबल पीजी कोर्स करने वालों को हाॅस्‍टल नहीं अलॉट होते हैं वो हार नहीं मानेंगी। प्रदर्शनकारी छात्र-छात्राओं ने कहा कि शुक्रवार को कुलपति कार्यालय तक रोष मार्च निकालना था, उसे लेकर ही ऐसा किया गया है ताकि मनोबल कमजोर हो।

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इससे पहले दोनों में से एक की हालत बृहस्पतिवार को बिगड़ गई। छात्रा मोनिका को डिहाइड्रेशन के कारण उल्टियां हुई। वहीं निशा को तेज सिर दर्द रहा। छात्रा निशा ने बताया कि तबीयत खराब होने की सूचना कुलसचिव प्रो. गुलशन लाल तनेजा को दे दी गई थी। साथी छात्रा के स्वास्थ्य जांच के लिए भी कहा गया था। इसके बावजूद विवि प्रशासन ने देर शाम तक सुध नहीं ली। छात्रा की हालत बिगडऩे पर करीब आठ बजे एमडीयू स्वास्थ्य जांच को पहुंचे।

उन्होंने छात्राओं को डिहाइड्रेशन से बचने के लिए भूख हड़ताल समाप्त करने की सलाह दी। स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि खाना नहीं खाने पर छात्रा को अस्पताल में भर्ती कराना पड़ सकता है। कुलसचिव करीब साढ़े छह बजे छात्र-छात्राओं के पास धरना समाप्त करने की गुजारिश लेकर पहुंचे थे। छात्राओं का कहना है कि अधिकारी उनके पास एक मिनट भी नहीं रुके व चलते-चलते अपनी बात कही। स्वास्थ्य जांच के लिए कहा तो बोले-नोटिस देकर नहीं बैठे हो।

कुलसचिव ने छात्राओं को 31 अगस्त के बाद हॉस्टल की मांग पर विचार करने की बता कही है। जिस पर छात्राओं ने ऐतराज जताया है। छात्राओं ने डबल पीजी व एलएलएम इवनिंग के विद्यार्थियों को हॉस्टल अलॉट नहीं किया जाना विद्यार्थियों के हित में नहीं है। खासकर छात्राओं के लिए यह नियम शिक्षा विरोधी है। सुरक्षा के साथ ही आर्थिक रूप से छात्राओं पर दोहरी मार पड़ रही है।

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