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दिल्ली में महंगा बिक रहा तूड़ा, हरियाणा से रोजाना कई सौ क्विंटल हो रही सप्लाई

बहादुरगढ़ से रोजाना शाम ढलते ही ट्रैक्टर-ट्रालियों का दिल्ली की तरफ रुख हो जाता है जो कि अल सुबह तक चलता है। फसल सीजन खत्म हुए तीन सप्ताह से ज्यादा समय हो चुका है। इस बार फसल खराब होने से चारे का उत्पादन भी कम ही हुआ।

By Naveen DalalEdited By: Published: Sat, 21 May 2022 07:12 AM (IST)Updated: Sat, 21 May 2022 07:12 AM (IST)
दिल्ली में महंगा बिक रहा तूड़ा, हरियाणा से रोजाना कई सौ क्विंटल हो रही सप्लाई
तूड़े के दाम अधिक होने से गोशालाओं में भारी कमी।

बहादुरगढ़, जागरण संवाददाता। हरियाणा में इस बार तूड़े के कम उत्पादन से दिल्ली में इसके दाम अभी से ही बढ़ गए हैं। ऐसे में अकेले बहादुरगढ़ के रास्ते ही रोजाना कई सौ क्विंटल तूड़े की दिल्ली में सप्लाई हो रही है। वैसे तो दिल्ली में चारे की सप्लाई पूरे साल ही होती है, लेकिन इस बार दाम ज्यादा हैं तो अभी से ही विक्रेताओं की ओर से सप्लाई बढ़ाई हुई है।

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चारे के दाम का असर

आने वाले दिनों में चारों फसलों की बिजाई ज्यादा हो जाएगी। उसके बाद धान की पराली के उत्पादन से चारे के दाम में नरमी आने की संभावना को भांपकर अभी से ही चारा विक्रेता दिल्ली में ज्यादा चारा बेचकर मुनाफा करने की कोशिश में जुटे हैं। बहादुरगढ़ से रोजाना शाम ढलते ही ट्रैक्टर-ट्रालियों का दिल्ली की तरफ रुख हो जाता है जो कि अल सुबह तक चलता है। फसल सीजन खत्म हुए तीन सप्ताह से ज्यादा समय हो चुका है। इस बार फसल खराब होने से चारे का उत्पादन भी कम ही हुआ। उसका असर चारे के दाम पर भी नजर आया।

हरियाणा में चारे की कमी

बहादुरगढ़ क्षेत्र में ही पशु चारा फसल सीजन के समय 800 से 900 रुपये प्रति क्विंटल की दर से बिका। जबकि आम तौर पर फसल सीजन में चारे के दाम 500 से 600 रुपये प्रति क्विंटल तक रहते हैं। इसके मुकाबले दिल्ली में दाम इस बार फसल सीजन के समय से ही ज्यादा है। सर्दियों में चारे के नाम दिल्ली में 1400 से लेकर 1500 रुपये प्रति क्विंटल तक होते हैं, लेकिन इस बार तो फसल सीजन खत्म होते ही दाम 1200 रुपये से ज्यादा हो गए हैं। उसका नतीजा यह हो रहा कि इस बार गोशालाओं तक के लिए क्षेत्र में चारे की कमी हो गई।

दिल्ली में ढुलाई तेजी पर

कहीं तो फसल सीजन में गोशालाओं के पास चारे का अंबार लग जाता था और कहां इस बार गोशालाओं के लिए चारे की खरीद करनी पड़ रही है। बता दें कि प्रदेश के कई जिलों से भारी मात्रा में पशु चारा दिल्ली में ले जाया जाता है। ट्रालियों को डबैल डैकर बनाकर तूड़ा भरा जाता है। रोहतक, झज्जर के अलावा जींद और आसपास के अन्य जिलों से भी चारे की दिल्ली में ढुलाई की जाती है, जो कि अब तेजी पर है।


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