निजी अस्पतालों में डिलिवरी पर खर्च 10 से 20 हजार रुपये, लेकिन सरकारी में मिलते हैं 2600 रुपये
हरियाणा के निजी अस्पतालों में 10 से 20 रुपये खर्च करने पड़ते है। वहीं सरकारी स्वास्थ्य केंद्रो में डिलिवरी करवाने पर हजारों रुपये खर्च करने की बजाय 2600 रुपये मिलते है। हालांकि यह योजना बीपीएल और अनुसूचित जाति के परिवारों के लिए है।
हिसार, जेएनएन। प्रदेश सरकार की ओर से स्वास्थ्य केंद्रो में गर्भवती महिलाओं को डिलिवरी के लिए सभी सुविधाएं निशुल्क उपलब्ध है, वहीं सरकारी स्वास्थ्य केंद्रो में सामान्य डिलिवरी करवाने पर जहां निजी अस्पतालों में 10 से 20 हजार रुपये खर्च करने पड़ते है। वहीं सरकारी स्वास्थ्य केंद्रो में डिलिवरी करवाने पर हजारों रुपये खर्च करने की बजाय 2600 रुपये मिलते है। हालांकि यह योजना बीपीएल और अनुसूचित जाति के परिवारों के लिए है। लेकिन सरकारी अस्पतालों में अन्य सभी सुविधाएं सभी जाति वर्ग की महिलाओं के लिए निशुल्क है।
साथ ही निजी अस्पतालों में बच्चों के टीकाकरण पर हजारों रुपये खर्च करने पड़ते है, जबकि सरकारी अस्पतालों में यह सुविधा भी निशुल्क है। गौरतलब है कि जिले में सभी सीएचसी और सरकारी अस्पतालों में महिलाओं को निशुल्क सुविधा उपलब्ध है। वहीं समय-समय पर जिले में सभी वार्डो में संबंधित आशा वर्कर, आंगनवाड़ी वर्कर, एएनएम के द्वारा विभिन्न एरिया में जाकर इस बारे में महिलाओं को जागरुक भी किया जाता है।
यह सुविधाएं मिलती है निशुल्क -
- सरकारी स्वास्थ्य केंद्रो में महिलाओं की डिलिवरी के दौरान सभी तरह की जांच निशुल्क होती है।
- महिलाओं को एंबुलेस से लाने और ले जाने की भी निशुल्क सुविधा मिलती है।
- महिलाओं को निशुल्क खाना उपलब्ध करवाया जाता है।
बीपीएल परिवारों और अनुसूचित जाति की महिलाओं को मिलता है यह लाभ -
- 700 रुपये ग्रामीण एरिया की महिलाओं को सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों में डिलिवरी करवाने पर मिलते है।
- उपरोक्त राशि के साथ अनुसूचित जाति की महिलाओं को 1500 रुपए अलग से मिलते है।
- वहीं शहरी क्षेत्रों की महिलाओं को सरकारी स्वास्थ्य केंद्रो पर डिलिवरी के लिए 600 रुपये मिलते है।
उपरोक्त राशि पाने के लिए यह दस्तावेज जरुरी -
- अस्पताल की डिस्चार्ज स्लिप।
- जाति प्रमाण पत्र।
- बैंक खाता नंबर।
- बीपीएल श्रेणी का राशन कार्ड
- आधार कार्ड।
- पहचान पत्र।
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जिले की सभी सरकारी स्वास्थ्य केंद्रो पर डिलिवरी की निशुल्क सुविधा उपलब्ध है। गर्भवती महिलाओं को लाने के लिए एंबुलेंस की सुविधा और 48 घंटे बाद वापस छोड़कर आने की सुविधा भी निशुल्क है। समय-समय पर उन्हें दवाईयां और टीकाकरण की सभी सुविधाएं निशुल्क मिलती है।
डा. जितेंद्र शर्मा, डिप्टी सीएमओ, एनएचएम।