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आठ माह की उठापटक के बाद केवल एक मत से बची दादरी नगर परिषद चेयरमैन संजय छपारिया की कुर्सी

पर्याप्त मत न मिलने पर अविश्वास प्रस्ताव हुआ रद। बैठक में चेयरमैन समर्थक आधा दर्जन पार्षद रहे नदारद। अविश्वास प्रस्ताव पारित होने के लिए जरूरी में से एक मत पड़ा कम। परिषद कार्यालय की जगह लघु सचिवालय परिसर में हुई बैठक। भारी प्रशासनिक अमला व पुलिस की रही तैनाती।

By Pankaj KumarEdited By: Published: Sat, 31 Oct 2020 12:53 PM (IST)Updated: Sat, 31 Oct 2020 12:53 PM (IST)
आठ माह की उठापटक के बाद केवल एक मत से बची दादरी नगर परिषद चेयरमैन संजय छपारिया की कुर्सी
लघु सचिवालय परिसर में आयोजित बैठक में मौजूद पार्षद व प्रशासनिक अधिकारी।

चरखी दादरी, जेएनएन : दादरी नगर परिषद के चेयरमैन संजय छपारिया के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव को रद हो गया। लघु सचिवालय परिसर में आयोजित नगर परिषद की विशेष बैठक के दौरान पर्याप्त दो तिहाई मत न मिलने के कारण प्रस्ताव खारिज हो गया। ऐसे में करीब सवा चार साल पहले नप चेयरमैन बने संजय छपारिया ही पद पर बने रहेंगे। वहीं अविश्वास प्रस्ताव रद होने के बाद पिछले करीब आठ महीनों से चेयरमैन पद को लेकर चल रही चर्चाएं भी थम गई। बैठक के दौरान सभागार के बाहर काफी संख्या में पुलिसकर्मी तैनात रहे।

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जिला उपायुक्त के आदेशानुसार दादरी के एसडीएम डा. विरेंद्र सिंह की अध्यक्षता में शुक्रवार सुबह 11 बजे नगर परिषद चेयरमैन संजय छपारिया के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के लिए वोटिंग करवाई गई। मतदान के दौरान 21 में से चेयरमैन सहित 14 पार्षद उपस्थित थे। चेयरमैन समर्थित आधा दर्जन पार्षद बैठक में अनुपस्थित रहे। मतदान की गोपनीयता के लिए सभागार में उचित प्रबंध किया गया था। एसडीएम डा. विरेंद्र सिंह ने अविश्वास प्रस्ताव के लिए विशेष मतपत्र तैयार करवाया। बैठक में मौजूद नगर पार्षदों को मतपत्र प्रदान कर उसे बैलेट डालने के लिए अलग से बनाए गए कक्ष में भेजा गया। जिसके बाद एसडीएम ने उपस्थित सभी पार्षदों को मत दिखाए तथा उनकी गणना की। इस दौरान 13 मत अविश्वास प्रस्ताव लाए जाने के पक्ष में डाले गए तथा एक मत अविश्वास प्रस्ताव के विरोध में डाला गया। एक मत पत्र पर हां और ना दोनों पर मोहर लगी होने के कारण अस्वीकृत कर दिया गया। नियमों के अनुसार अविश्वास प्रस्ताव पारित करने के लिए दो तिहाई मत यानि 14 मत पक्ष में होने चाहिए थे। लेकिन केवल 13 मत ही पक्ष में होने के कारण एसडीएम द्वारा यह प्रस्ताव खारिज कर दिया गया।

13 फरवरी को पार्षदों ने सौंपे थे शपथ-पत्र

गौरतलब है कि बीती 13 फरवरी को दादरी नगर परिषद के वाइस चेयरमैन दीपक श्योराण सहित 14 पार्षदों ने नप चेयरमैन के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने के लिए उपायुक्त को शपथ पत्र सौंपे थे। बाद में चेयरमैन की याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने बैठक पर स्टे लगा दिया था। बीती एक अक्टूबर को चेयरमैन छपारिया द्वारा याचिका वापस लेने पर बैठक से स्टे खत्म हो गया था। जिसके बाद एसडीएम डा. विरेंद्र सिंह द्वारा 30 अक्टूबर को नप की विशेष बैठक बुलाने के निर्देश दिए गए थे।

पार्षदों ने विवेक से किया मतदान : चेयरमैन

अविश्वास प्रस्ताव रद्द होने के बाद बैठक से बाहर आए नगर परिषद चेयरमैन संजय छपारिया ने कहा कि बैठक के दौरान पार्षदों ने अपने विवेक से मतदान किया। जिसमें उनके खिलाफ लाया गया अविश्वास प्रस्ताव रद्द हो गया। उन्होंने कहा कि कुछ राजनैतिक विरोधी लोगों ने उनके खिलाफ यह मुहिम चलाई थी। जिसमें वे लोग सफल नहीं हो सके। उन्होंने कहा कि अब शहर के विकास में बाधा बन रहे लोगों को अलग हट जाना चाहिए।

पर्याप्त मत न मिलने पर रद्द हुआ प्रस्ताव : एसडीएम

दादरी के एसडीएम डा. विरेंद्र सिंह ने बताया कि नप चेयरमैन के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के लिए शुक्रवार को बैठक आयोजित कर वोटिंग करवाई गई। बैठक में 14 पार्षदों ने मतदान किया। उन्होंने बताया कि अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में नियमों के अनुसार वोट न मिलने पर प्रस्ताव को रद कर दिया गया।

ये रहे बैठक में मौजूद

बैठक के दौरान नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी मनोज यादव, डीएसपी राम सिंह बिश्नोई, सचिव प्रशांत पाराशर, नगर परिषद चेयरमैन संजय छपारिया, वाइस चेयरमैन व वार्ड 16 के पार्षद दीपक श्योराण, वार्ड 3 के पार्षद आनंद महराणा, वार्ड 5 की पार्षद मीना देवी, वार्ड 6 के पार्षद रविंद्र गुप्ता, वार्ड 8 के पार्षद बक्शी सैनी, वार्ड 9 की पार्षद पार्वती सैनी, वार्ड 11 के पार्षद विनोद कुमार, वार्ड 12 की पार्षद ज्योति देवी, वार्ड 14 की पार्षद ऊषा मेहरा, वार्ड 17 की पार्षद सुमन देवी, वार्ड 18 के पार्षद कुलदीप गांधी, वार्ड 19 के पार्षद विरेंद्र पप्पू, वार्ड 20 की पार्षद रचना देवी, वार्ड 21 के पार्षद रोहित राजपूत मौजूद थे।


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