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हिसार में CM का विरोध करने पहुंचे आंदोलनकारियों ने DSP को पीटा, लाठीचार्ज होने पर हाई-वे किए जाम

हिसार में 500 बेड के अस्‍थाई कोविड अस्‍पताल का उद्घाटन करने सीएम सीएम मनोहर लाल कब पहुंच गए इसका आंदोलनकारियों को पता ही नहीं लगा। इसकी जानकारी मिलने पर विरोध कर रहे आंदोलनकारी उग्र हो गए और जिंदल स्‍कूल के पास पहुंचे और पुलिस पर हमला बोल दिया।

By Manoj KumarEdited By: Published: Sun, 16 May 2021 11:58 AM (IST)Updated: Sun, 16 May 2021 05:11 PM (IST)
हिसार में CM का विरोध करने पहुंचे आंदोलनकारियों ने DSP को पीटा, लाठीचार्ज होने पर हाई-वे किए जाम
आंदोलनकारियों को पता नहीं चला और सीएम मनोहर हेलीकॉप्‍टर से पहुंचे और अस्‍पताल का शुभारंभ कर दिया

हिसार, जेएनएन। हिसार में ओपी जिंदल मार्डन स्कूल में बने चौधरी देवीलाल संजीवनी अस्पताल का शुभारंभ करने पहुंचे सीएम मनोहर लाल का विरोध करने पहुंचे आंदोलनकारी उग्र हो गए हैं। सुबह के वक्‍त शुरू हुआ विवाद अ‍भी तक खत्‍म नहीं हुआ है। सीएम 500 बेड के अस्‍थाई अस्‍पताल का शुभारंभ करके भी चले गए और उनके अस्‍पताल में दाखिल होने की आंदोलनकारियों को भनक भी नहीं लगी। लेकिन जब लगी तो आंदोलनकारी अस्‍प्‍ताल के पास पहुंच गए और पुलिस पर हमला बोल दिया। पुलिसकर्मी घायल हुए तो आंसू गैस के गोले छोड़े गए और लाठीचार्ज भी किया गया। अब इस लाठीचार्ज के विरोध में आंदोलनकारियों ने हरियाणा में हाईवे को जाम करना शुरू कर दिया है। अग्रोहा में लांधड़ी टोल पर पूरी तरह से अवरोध लगा दिया है। इसी तरह अन्‍य जगहों पर भी ऐसा ही किया जा रहा है।

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सुबह करीब 12 बजे सीएम विरोध के बीच ही हेलीकॉप्‍टर से 500 बेड के अस्‍थाई कोविड अस्‍पताल का शुभारंभ करने के लिए पहुंचे थे। हालांकि जब आंदोलनकारियों को पता चला तो वे जिंदल स्‍कूल की तरफ बढ़े। पुलिस उन्‍हें रोकने का प्रयास करने लगी तो टकराव की स्थिति बन गई। आंदोलनकारियों ने डीएसपी अभिमन्‍यु को भी पीट दिया। वहीं पुलिस ने भी अब आंसू गैस के गोले छोड़े। लाठीचार्ज भी कर दिया। इसमें कुछ आंदोलनकारी भी घायल हुए हैं।

शाम 7 बजे तक हरियाणा में हाईवे रहेंगे जाम : चढूनी

दोपहर के वक्‍त हुई इस घटना के बाद शाम को टोल पर हुई आंदोलनकारियों की पंचायत में भाकियू किसान नेता गुरनाम चढूनी की ओर से फैसला लिया गया कि लाठीचार्ज के विरोध में हरियाणा में शाम पांच बजे से सात बजे तक सभी हाईवे जाम करेंगें। हिसार के आइजी के आवास का घेराव भी किया जाएगा। अगर फिर भी सरकार नहीं मानती तो कल हरियाणा में सभी थानों का घेराव किया जाएगा।

माजरा प्याऊ पर किसानों से बातचीत करते हुए किसान नेता राकेश टिकैत।

सरकार से दबने वाला नहीं है किसान : राकेश टिकैत

हिसार में हुई इस घटना के बाद शाम के वक्‍त किसान नेता राकेश टिकैत भी नारनौंद के पास माजरा प्याऊ पहुंचे। उन्‍होंने हिसार की घटना को दुखद बताया और कहा की किसानों की गिरफ्तारी करना सरकार की ओछी हरकत है। किसान अपने हकों की लड़ाई लड़ कर जीत हासिल करेंगे। अब किसान सरकार से डरने व दबने वाला नहीं है।

हिसार में आंदोलनकारियों को संबोधित करते हुए राकेश टिकैत

यहां से राकेश टिकैत हांसी में रामायण टोल प्‍लाजा पर किसानों से मिलने पहुंचे तो उसके बाद शाम करीब छह बजे हिसार पहुंचे। यहां पहले से ही किसान जमा हो चुके हैं। बता दें कि लॉकडाउन में भी जुट रही आंदोलनकारियों की भीड़ को काबू करना पुलिस के लिए बड़ी चुनौती बन गई है।

जिंदल स्‍कूल के पास आमने सामने आंदोलनकारी और पुलिस

वहीं इससे पहले दिन में हिसार के अलावा हांसी में किसानों को रोकने के लिए दो नाके लगा रखे थे। पहला हांसी बाईपास पर दूसरा टोल प्लाजा पर था। भिवानी, बवानी खेड़ा और नारनौंद की तरफ के किसान हिसार रहा रहे थे, आंदोलनकारियों ने पुलिस के नाकों को ट्रैक्टरों का प्रयोग कर तोड़ दिया। आंदोलनकारियों को उग्र होता देख पुलिस ने भी रोकने का प्रयास नहीं किया। किसानों की संख्य काफी ज्यादा थी।

जिंदल स्‍कूल की तरफ जाते आंदोलनकारी

सेक्‍टर 9-11 में घुस आए आंदोलनकारी

जिंदल मॉडर्न स्‍कूल के साथ लगते सेक्‍टर 9-11 में भी आंदोलनकारी घुस आए। इन्‍हें खदेड़ने के लिए पुलिस को आंसू गैस का सहारा लेना पड़ा। आंसू गैस के प्रयोग के बाद सेक्‍टर में रह रहे लोगों को भी परेशानी का सामना करना पड़ रहा। वहीं सेक्‍टर में भगदड़ का माहौल है। आंदोलनकारियों के विरोध के इस तरीके पर अब सवाल भी उठने लगे हैं।

आंदोलनकारियों के साथ झड़प में घायल हुए पुलिसकर्मी व महिला प‍ुलिसकर्मी सुशीला

सुबह करीब 11 बजे शुरू हुआ मामला करीब दो बजे तक चलता रहा। आंदोलनकारियों और पुलिस की झड़प में कई पुलिसकर्मी चोटिल हो गए। भगदड़ मचने से एक महिला पुलिसकर्मी भी घायल हुई है। वहीं एक पुलिसकर्मी के नाक पर चोट लगी है। तो तीन से चार के सिर फूटे हैं। करीब दो बजे के पास यह मामला शांत हुआ है आंदोलनकारी अपने घर की और लौटे। पुलिस ने किसान नेता नंबरदार समेत कई किसानों को हिरासत में लिया है। वहीं घायल पुलिसकर्मियों को अस्‍पताल में भर्ती करवाया गया है।

महिला आंदोलनकारियों को ले जाते हुए महिला पुलिस

सीएम को हिसार नहीं आने की दी थी चेतावनी

कृषि कानूनों को वापस करवाने की मांग को लेकर शुरू किए गए आंदोलनकारियों ने सीएम मनोहर लाल को हिसार नहीं आने की चेतावनी दी थी। एक किसान नेता ने तो कहा था कि अगर सीएम हिसार आए तो वापस नहीं जाने देंगे। मगर कोविड अस्‍पताल के शुभारंभ के लिए सीएम हिसार पहुंचे भी और शुभारंभ भी किया। आंदोलनकारियों को पता ही नहीं चला कि कब सीएम हिसार में आ गए।

बता दें कि इस अस्पताल को करीब 28 करोड़ रुपये में बनाया गया है। इससे पहले उपायुक्त डा. प्रियंका सोनी और डीआइजी बलवान सिंह राणा ने अस्पताल की निरीक्षण कर लिया था। खास बात यह है कि अस्पताल को राज्य की एजेंसियों ने महज 16 दिन में तैयार किया है। जिंदल स्टेनलैस प्रबंधन का भी इसमें प्रमुख योगदान हैं, जिन्होंने अपना स्कूल अस्पताल के लिए दिया। सीएम के जाने के बाद यहां मरीजों को भर्ती किया जा सकेगा। शनिवार तक चिकित्सकों, स्टॉफ नर्स सहित अन्य स्टॉफ ने अपनी-अपनी जिम्मेदारियां संभाल ली। अस्पताल में ट्रायल के जरिये देख लिया गया कि सभी उपकरण काम कर रहे हैं या नहीं।

ऐसे डीआरडीओ से एचआरबीडीसी के पास पहुंचा निर्माण

इस अस्पताल को पहले रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा बनाने की बात चल रही थी मगर बाद में डीआरडीओ ने खुद को व्यस्त बताया। ऐसे में इस प्रोजेक्ट को लोकनिर्माण विभाग की एक दूसरे विंग हरियाणा रोड एंड ब्रिज डिवेलपमेंट कॉरर्पोरेशन (एचआरबीडीसी) को यह जिम्मेदारी दी है। उन्होंने अस्पताल को निर्माण दिल्ली की फर्म जेबी डेकोर को निर्माण की जिम्मेदारी दी। एचआरबीडीसी के मेनेजिंग डायरेक्टर निहाल सिंह बताते हैं कि विभाग के एक्सईएन विशाल, रितेश नांदल, जेबी डेकोर के सीईओ रुपेंद्र वालिया ने इस इन्फ्रा को खड़ा करने में दिन रात एक कर दी। इंफ्रा ही नहीं बल्कि मेडिकल उपकरण, बेड व अन्य सामान भी कंपनी की मदद से दिल्ली से लाया गया। सामाना लाने के लिए भी काफी जद्दोजहद करनी पड़ी। यहां ऑक्सीजन की अंतरित लाइन कंपनी ने ही बिछाने का काम किया। ऑक्सीजन सप्लाई का काम जिंदल स्टेनलेस द्वारा किया जाएगा।

पांच एंबुलेंस रहेंगी तैनात

अस्पताल में पांच एम्बुलेंस तैनात की गई हैं। मेडिकल स्टाफ के साथ-साथ आवश्यक सेवाओं से जुड़े सभी विभागों का एक-एक नोडल अधिकारी भी नियुक्त किया गया है ताकि अस्पताल के सुचारू संचालन में कोई बाधा न आए। मेडिकल व पैरामेडिकल स्टाफ ने अस्पताल में अपनी ड्यूटी जॉइन कर ली है।

एक बेड को एक दिन में 8 लीटर देंगे ऑक्सीजन

जिदंल स्टेलैस हिसार लिमिटेड के विनिर्माण प्रमुख वीके बिदलिश बताते हैं कि वह कुल 8 टन ऑक्सीजन रोजना, यानि करीब 58 लाख लीटर ऑक्सीजन हर दिन 500 बेडों को मुहैया होगी। अस्पताल में एक मिनट में एक बेड को 8 लीटर ऑक्सीजन की आवश्यकता होगी। अगर 500 बेड से हिसाब लगाएं तो 500 बेड के लिए एक मिनट में 4 हजार लीटर ऑक्सीजन की जरूरत होगी। यानि इस हिसाब का 2.40 लाख लीटर ऑक्सीजन प्रति घंटे चाहिए होगी।

अस्पताल में यह हैं सुविधाएं

ब्लाॅक -- --

ए- 230 बेड

बी- 120 बेड

ओपीडी- हैंगर में 16 बेड

सी- स्कूल भवन में 72 बेड

डी- जूनियर विंग- 72 बेड

-- बूथ -- --

पुलिस, हेल्प डेस्क, सिक्योरिटी, सीसीटीवी, फायर, एसी कंट्रोल, लाइट कंट्रोल, जेनरेटर एरिया, शौचालय

मरीज के अस्पताल में भर्ती होने की प्रक्रिया

स्टेप 1- ऑक्सीजन की कमी वाले मरीज, अस्पताल से रेफरल मरीज यहां आएंगे या एंबुलेंस से लाए जाएंगे

स्टेप 2- आधार कार्ड, मेडिकल रिपोर्ट आदि लेकर उनका मौके पर चिकित्सकों की टीम द्वारा ऑक्सीजन लेवल चैक किया जाएगा

स्टेप 3- ऑक्सीजन लेवल कम है या गिर रहा है तो तत्काल भर्ती किया जाएगा अटेंडेंट सभी प्रक्रिया कराएगा

स्टेप 4- चंद मिनट में बेड देना होगा

स्टेप 5- मरीज के आते ही चिकित्सक उसकी कंडीशन देखते ही ऑक्सीजन व दवा मुहैया कराएंगे

स्टेप 6- स्थिति गंभीर हो जाती है तो वेंटिलेटर बेड वाले अस्पताल में भेजा जाएगा

स्टेप 7- दवा व अन्य जांच यहीं पर हो सकेंगी

स्टेप 8- रोगी ठीक होने के बाद डिस्चार्ज कर दिया जाएगा


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