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निगम को 38 गांवों से होगी सालाना 100 करोड़ की आय

नगर निगम के दायरे में 38 गांवों को शामिल करने का खाका तैयार कर लिया गया है। इन गांवों के पास 7021 एकड़ पंचायती जमीन है और कई एकड़ जमीन खाली है। खाली जमीन का उपयोग विकास कार्यों के लिए किया जाएगा।

By JagranEdited By: Published: Wed, 22 Jul 2020 08:18 PM (IST)Updated: Wed, 22 Jul 2020 08:18 PM (IST)
निगम को 38 गांवों से होगी सालाना 100 करोड़ की आय
निगम को 38 गांवों से होगी सालाना 100 करोड़ की आय

संदीप रतन, गुरुग्राम

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नगर निगम के दायरे में 38 गांवों को शामिल करने का खाका तैयार कर लिया गया है। इन गांवों के पास 7021 एकड़ पंचायती जमीन है और कई एकड़ जमीन खाली है। खाली जमीन का उपयोग विकास कार्यों के लिए किया जाएगा। ये गांव निगम में शामिल होने के बाद इन पंचायती जमीन पर मालिकाना हक निगम का हो जाएगा। प्रशासन व निगम द्वारा तैयार किए गए रिकार्ड के मुताबिक निगम को इन गांवों से सालाना लगभग 100 करोड़ की आय होने की उम्मीद है। ये आय प्रॉपर्टी टैक्स, विज्ञापन, एफडी (फिक्सड डिपोजिट) के ब्याज, स्टांप ड्यूटी से मिलने वाले हिस्से और ट्रेड लाइसेंस सहित अन्य स्त्रोत से होगी।

बता दें कि 38 गांवों को निगम में शामिल करने के लिए मंडल आयुक्त के कैंप कार्यालय में 20 जुलाई को बैठक हो चुकी है। हालांकि पंचायतों ने निगम में शामिल होने के लिए अपना प्रस्ताव नहीं भेजा है, लेकिन गांवों को निगम में शामिल करने के लिए गठित की गई समिति ने स्थानीय स्तर पर फैसला ले लिया है। सरकार से अनुमति लेने के लिए प्रस्ताव भेजने की तैयारी हो रही है। खास बात ये है कि निगम में फिलहाल 35 वार्ड हैं। दायरा बढ़ने के बाद नए सिरे से वार्डबंदी होगी और वार्डो की संख्या भी बढ़ेगी। ये 38 गांव होंगे निगम में शामिल

बजघेड़ा, बाबुपुर, मोहम्मदहेड़ी, धर्मपुर, दौलताबाद, खेड़की माजरा, धनकोट, गोपालपुर, गढ़ी हरसरू,वजीरपुर, हयातपुर, बढ़ा, सिकंदरपुर बढ़ा, नखड़ौला, नवादा फतेहपुर, मेवका, ढ़ोरका, रामपुर, शिकोहपुर, नौरंगपुर, पलड़ा, भोंडसी, धुमसपुर, मैदावास, उल्लावास, नंगली उमरपुर, कादरपुर, बहरामपुर, नया गांव, मानेसर, कासन, खोह, नाहरपुर कासन, ढाणा, बासकुसला, बशारिया, काकरौला और भांगरौला सहित 38 गांवों को निगम के दायरे में शामिल करने का फैसला लिया गया है। 38 गांवों के विकास कार्यों, लंबित प्रोजेक्ट और खर्च होने वाले बजट व इन पंचायतों के पास उपलब्ध फंड की जानकारी जुटाई जा रही है। इसके अलावा पंचायती जमीन का रिकार्ड भी मांगा गया है। पहले भी निगम में शामिल हो चुके हैं गांव

नगर निगम का गठन 2008 में हुआ था। 2010 में नगर निगम में पांच गांवों बादशाहपुर, घाटा, हरसरू, ग्वाल पहाड़ी और पावला खुसरूपुर को शामिल किया गया था। इसके बाद 2015 में चार गांव दरबारीपुर, नुरपुर झाड़सा, बलोला और बंधवाड़ी को नगर निगम के अधीन हो गए थे। पंचायतों के पास 518 करोड़ की एफडी

कुल 38 गांवों में 25 के पास 518 करोड़ की एफडी है। इनमें से 13 गांवों के पास कोई एफडी नहीं है। पंचायतों के खातों में जमा 518 करोड़ रुपये भी नगर निगम को ट्रांसफर होने से निगम की आय में बढ़ोतरी होगी।


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