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हरियाणा बनेगा उत्तर भारत का सबसे बड़ा लॉजिस्टिक हब

जल्द ही हरियाणा उत्तर भारत का सबसे बड़ा लॉजिस्टिक हब होगा। इसे लेकर प्रदेश सरकार ने अपनी योजना पर काम करना शुरू कर दिया है। सोमवार को गुरुग्राम स्थित होटल लीला में प्रदेश के उद्योग मंत्री विपुल गोयल ने लॉजिस्टिक, वेयरहाउ¨सग एवं रिटेल पॉलिसी-201

By JagranEdited By: Published: Mon, 11 Jun 2018 07:14 PM (IST)Updated: Mon, 11 Jun 2018 07:14 PM (IST)
हरियाणा बनेगा उत्तर भारत का सबसे बड़ा लॉजिस्टिक हब
हरियाणा बनेगा उत्तर भारत का सबसे बड़ा लॉजिस्टिक हब

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: जल्द ही हरियाणा उत्तर भारत का सबसे बड़ा लॉजिस्टिक हब होगा। इसे लेकर प्रदेश सरकार ने अपनी योजना पर काम करना शुरू कर दिया है। सोमवार को गुरुग्राम स्थित होटल लीला में प्रदेश के उद्योग मंत्री विपुल गोयल ने लॉजिस्टिक, वेयरहाउ¨सग एवं रिटेल पॉलिसी-2018 बनने को लेकर इससे जुड़े उद्योगों व कंपनियों के हितधारकों के साथ बैठक की। सरकार का प्रयास है कि अगस्त तक इन पॉलिसी को तैयार कर लिया जाए। बैठक में 30 से अधिक हितधारकों ने शिरकत की और अपने सुझाव दिए।

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उद्योग मंत्री ने कहा कि उद्योग नीति, आईटी नीति व फूड प्रोसे¨सग नीति के तर्ज पर लोगों के सुझाव लेकर लॉजिस्टिक, वेयरहाउ¨सग एवं रिटेल पॉलिसी-2018 की नीति भी तैयार की जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में 14वें स्थान से अब पहले स्थान पर आ गया है, जो सरकार की सोच और इच्छाशक्ति को दर्शाता है। केएमपी एक्सप्रेस-वे बनने के बाद हरियाणा उत्तर भारत का सबसे बड़ा लॉजिस्टिक हब बनने जा रहा है।

गोयल ने कहा कि हरियाणा का 60 फीसद हिस्सा एनसीआर में आता है और केएमपी बनने के बाद यहां पर लोगों के लिए रोजगार की भी अपार संभावनाएं उपलब्ध होंगी। यह हरियाणा का लोकेशन एडवांटेज है कि यहां से 15 नेशनल हाईवे होकर गुजरते हैं। उन्होंने हितधारकों को एक सप्ताह के भीतर अपने सुझाव देने के लिए कहा ताकि इसी साल अगस्त तक इस पॉलिसी को तैयार कर प्रदेश में लागू किया जा सके। बैठक में महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश व पंजाब में बनाई गई पॉलिसी के बारे में भी विस्तार से चर्चा की गई और सुझाव दिए गए।

उद्योग मंत्री ने कहा कि लॉजिस्टिक, वेयरहाउ¨सग व रिटेल इन तीनों क्षेत्रों में स्टाफ की व्यवस्था करने के लिए हरियाणा स्किल डेवलपमेंट यूनिवर्सिटी के माध्यम से नए कोर्स तैयार किए जाएंगे और ट्रे¨नग भी दी जाएगी। बैठक में उद्योग विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव देवेंद्र ¨सह ने कहा कि सरकार एक ऐसी पॉलिसी बनाना चाहती है जिसमें इससे जुड़े हितधारकों के महत्वपूर्ण सुझाव को समायोजित किया गया हो। बैठक में इस पॉलिसी को लेकर एक पावर पॉइंट प्रजेंटेशन भी दिया गया।


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