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उपमुख्यमंत्री के सामने जीआइए प्रतिनिधिमंडल ने रखी मांगें

गुड़गांव इंडस्ट्रियल एसोसिएशन (जीआइए) का एक प्रतिनिधिमंडल अध्यक्ष जेएन मंगला के नेतृत्व में शनिवार देर शाम उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला से मिला। यह मुलाकात सिविल लाइन स्थित लोक निर्माण विश्राम गृह में हुई।

By JagranEdited By: Published: Sun, 19 Jan 2020 05:04 PM (IST)Updated: Sun, 19 Jan 2020 05:04 PM (IST)
उपमुख्यमंत्री के सामने जीआइए 
प्रतिनिधिमंडल ने रखी मांगें
उपमुख्यमंत्री के सामने जीआइए प्रतिनिधिमंडल ने रखी मांगें

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: गुड़गांव इंडस्ट्रियल एसोसिएशन (जीआइए) का एक प्रतिनिधिमंडल अध्यक्ष जेएन मंगला के नेतृत्व में शनिवार देर शाम उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला से मिला। यह मुलाकात सिविल लाइन स्थित लोक निर्माण विश्राम गृह में हुई। इस दौरान जीआइए प्रतिनिधियों ने उन्हें विभिन्न औद्योगिक जरूरतों और समस्याओं से अवगत कराया। उन्हें एक ज्ञापन भी सौंपा गया। गुरुग्राम के अनाधिकृत औद्योगिक क्षेत्रों को जल्द से जल्द अधिकृत करने की भी मांग उनसे की गई। जिले में कर्मचारी राज्य बीमा निगम (ईएसआइसी) के अस्पतालों की संख्या को बढ़ाने की भी उद्यमियों ने मांग की।

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जीआइए प्रतिनिधिमंडल में अध्यक्ष जेएन मंगला, महासचिव दीपक मैनी, सह सचिव मनोज जैन, कोषाध्यक्ष विनोद गुप्ता और कार्यकारिणी सचिव बीके मैथी शामिल रहे। जीआइए अध्यक्ष ने उपमुख्यमंत्री ने कहा कि यदि अनाधिकृत औद्योगिक क्षेत्रों को अधिकृत कर वहां विकास कार्य कराए जाते हैं तो वह स्थित सैकड़ों औद्योगिक इकाइयों को बेहतर माहौल मिलेगा और वह यहां और निवेश के लिए प्रोत्साहित होंगी। वहीं रोजगार की संभावनाओं का भी भरपूर विकास होगा।

जिले में कुछ कुछ माह से औद्योगिक अशांति को लेकर भी उन्होंने दुष्यंत चौटाला से बात की। कहा कि इस प्रकार का माहौल औद्योगिक सेहत के लिए ठीक नहीं है। उन्हें जीआइए प्रतिनिधियों ने औद्योगिक कमेटी बनाने की सलाह दी। कहा कि इस कमेटी में श्रम विभाग, इंडस्ट्री और पुलिस विभाग के अधिकारियों को शामिल किया जाए, जिससे विषम परिस्थितियों में औद्योगिक शांति को स्थापित किया जा सके।

उद्यमियों को छोटे-छोटे काम के लिए चंडीगढ़ तक जाना पड़ता है। ऐसे में इन कामों को करने का अधिकार अतिरिक्त श्रमायुक्त के पास होना चाहिए। यदि सरकार ऐसा कर दे तो उद्यमियों की भागदौड़ कम हो जाएगी। जीआइए महासचिव दीपक मैनी ने उपमुख्यमंत्री के समक्ष ईएसआइ हॉस्पिटल का मुद्दा उठाया। कहा कि गुरुग्राम में 200 बेड का और मानेसर में 100 बेड का ईएसआइ हॉस्पिटल है। इनकी संख्या बढ़ाने की जरूरत है। जिले में बीमाकृत कर्मचारियों की संख्या 18.75 लाख है। ईएसआइसी मानक के अनुसार प्रति एक लाख की आबादी पर 100 बेड का एक ईएसआइ हॉस्पिटल होना चाहिए। फैक्ट्री लाइसेंस अप्रूवल का काम गुरुग्राम में हो

फैक्ट्री लाइसेंस और बिल्डिग प्लान अप्रूवल के लिए उद्यमियों को चंडीगढ़ का चक्कर लगाना पड़ता है। पहले यहां काम गुरुग्राम में ही हो जाता था। अब इसके लिए उद्यमियों को कई बार चंडीगढ़ जाना पड़ता है। उद्यमियों की मांग है कि इस काम को फिर से यह काम श्रम विभाग से संबंधित औद्योगिक सुरक्षा एवं स्वास्थ्य निदेशालय के संयुक्त निदेशक, गुरुग्राम को दिया जाए। यही नहीं दक्षिण हरियाणा से संबंधित फैक्ट्री लाइसेंस एवं बिल्डिग प्लान अप्रूवल का अधिकार भी गुरुग्राम के संयुक्त निदेशक को दिया जाए। इससे चंडीगढ़ चक्कर लगाने के झंझट से छुटकारा मिल जाएगा।


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