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पीएफ राशि नहीं जमा करने पर कंपनी मालिक को भेजा जेल

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने सोमवार को बड़ी कार्रवाई की है। वि

By JagranEdited By: Published: Tue, 31 Oct 2017 02:59 AM (IST)Updated: Tue, 31 Oct 2017 02:59 AM (IST)
पीएफ राशि नहीं जमा करने पर कंपनी मालिक को भेजा जेल
पीएफ राशि नहीं जमा करने पर कंपनी मालिक को भेजा जेल

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने सोमवार को बड़ी कार्रवाई की है। विभाग की ओर से मिली शिकायत के बाद कर्मचारियों की 23 लाख रुपये की पीएफ राशि जमा नहीं कराने पर सोमवार को एक कंपनी के मालिक को गिरफ्तार कर लिया गया। पूछताछ के बाद उसे भोंडसी जेल भेज दिया गया है।

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क्षेत्रीय कर्मचारी भविष्य निधि विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक मेसर्स पुष्कर एंटरप्राइजेज की तरफ से दस साल तक कर्मचारियों की पीएफ राशि जमा नहीं कराई गई थी। कंपनी पर कर्मचारियों का 2006 से 2016 तक का करीब 23 लाख से अधिक पीएफ बकाया था। बकाया पीएफ जमा कराने के लिए कंपनी को कई बार नोटिस दिए गए। इसके बावजूद राशि जमा नहीं करायी गई, जिसके बाद विभाग ने कंपनी के मालिक बलजीत ¨सह को गिरफ्तार करा लिया।

क्षेत्रीय भविष्य निधि आयुक्त राजीव बिष्ट और वसूली अधिकारी राजू के नेतृत्व में सुबह करीब 11 बजे कार्रवाई की गई। कंपनी के मालिक बलजीत ¨सह को राजीव नगर स्थित घर से गिरफ्तार किया गया। वहां से उन्हें सेक्टर-44 स्थित विभाग के क्षेत्रीय कार्यालय लाया गया। क्षेत्रीय कर्मचारी भविष्य निधि विभाग के वसूली अधिकारी राजू ने बताया कि आरोपी को दस साल के भीतर 20 से अधिक नोटिस दिए गए, जिसमें बकाया पीएफ राशि जल्द जमा कराने के लिए कहा। इसके बावजूद कर्मचारियों का पीएफ नहीं जमा कराया।

आउटसोर्सिंग का कार्य करती है कंपनी : मेसर्स पुष्कर इंटरप्राइजेज आउटसोर्सिंग का कार्य करती है और गुरुग्राम-मानेसर की बड़ी-बड़ी कंपनियों में ठेके पर कर्मचारी उपलब्ध कराती है। जांच में सामने आया कि जिस कंपनी में कर्मचारी कंपनी की ओर से लगे हैं, उन कंपनियों से पीएफ का पूरा पैसा लिया जा रहा था, लेकिन उसे दस सालों से जमा नहीं कराया था।

शिकंजा कसा तो जमा की रकम: पुष्कर एंटरप्राइजेज के मालिक के गिरफ्तार होने के बाद छुड़ाने की तमाम कोशिशें की गईं। आरोपी के घर वालों ने पांच लाख रुपये जमा कराए। इसके अलावा कंपनी के मूल दस्तावेज जमा कराए, लेकिन अधिकारी ने पूरे रुपये जमा होने पर ही मालिक को छोड़ने की बात कही। दोपहर तक रकम न जमा होने पर आरोपी को सीधे जेल भेज दिया गया।

साल में दूसरी बड़ी कार्रवाई

बारह साल में ईपीएफओ विभाग की तरफ से दूसरी बड़ी कार्रवाई की गई है। इससे पहले पाल इंफ्रास्ट्रक्चर एंड डेवलपर के मालिक राजेश कुमार को नवंबर 2016 में गिरफ्तार कर जेल भेजा गया था। राजेश कुमार अभी भी जेल में बंद हैं। साल भर के भीतर दूसरी कंपनी के मालिक को जेल भेजा है।


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