जब्त डंपर छुड़ाने को थमाया 11.87 लाख का फर्जी ड्राफ्ट
खनन विभाग द्वारा जब्त किए गए डंपर को छुड़ाने के लिए डंपर मालिक ने पुराने चेक को आधार बना फर्जी बैंक ड्रॉफ्ट बना विभाग में जमा कर दिया।
जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: खनन विभाग द्वारा जब्त किए गए डंपर को छुड़ाने के लिए डंपर मालिक ने फर्जी बैंक ड्राफ्ट बना विभाग में जमा कर दिया। विभाग की ओर से जब बैंक में ड्राफ्ट लगाया तो बाउंस हो गया। तब पता चला कि यह डीडी फर्जी है। जिला खनन अधिकारी की शिकायत पर पुलिस ने आरोपित के खिलाफ धोखाधड़ी समेत अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया।
जिला खनन अधिकारी बीडी यादव ने बताया कि करीब तीन माह पूर्व नूंह जिले के तावड़ू में पत्थरों से भरा डंपर पकड़ा था। टीम ने तावडू थाना पुलिस में शिकायत दर्ज कराते हुए डंपर पुलिस के हवाले कर दिया जिसे पुलिस ने जब्त कर लिया। कुछ दिन पूर्व डंपर मालिक सोहना निवासी आरिफ खान सेक्टर-चौदह स्थित जिला खनन विभाग के दफ्तर में आया। उसने सुप्रीम कोर्ट के हाल ही में आए आदेश का हवाला देते हुए बताया कि वह नियमानुसार डंपर के शोरूम मूल्य की पचास फीसद राशि के बराबर जुर्माना भरने को तैयार है। खनन विभाग ने डंपर मालिक पर 11.87 लाख रुपये जुर्माना बनाकर दे दिया। एक सप्ताह पहले डंपर मालिक ने जुर्माना राशि का डिमांड ड्राफ्ट (डीडी) विभाग में जमा करा दिया, जो उत्तर प्रदेश के सिकंदराबाद स्थित सरकारी बैंक शाखा का था। विभागीय अधिकारियों ने जब डीडी को जमा कराने के लिए बैंक में भेजा तो वह बाउंस हो गया। डीडी बाउंस होने के बाद खनन विभाग ने अपनी आंतरिक जांच की, जिसमें पाया कि डंपर मालिक ने जिस बैंक का डीडी दिया था उसमें कुछ वर्ष पूर्व उसका बैंक खाता था, लेकिन अब यह बंद हो चुका है।
जिला खनन अधिकारी बीडी यादव ने आरोपित डंपर मालिक को फोन कर विभाग में उपस्थित होने के लिए कहा लेकिन वह नहीं आया। सोमवार शाम को जिला खनन अधिकारी की शिकायत पर सिविल लाइन थाना पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया। फिलहाल पुलिस जांच में जुटी हुई है।