माता रानी के भजन लिखकर पहचान बना रहे अनिल कत्याल
गीतकार अनिल कत्याल को श्री महारानी वैष्णव देवी मंदिर की ओर से सम्मानित किया गया।
जागरण संवाददाता, फरीदाबाद : गीतकार अनिल कत्याल को श्री महारानी वैष्णव देवी मंदिर की ओर से धर्म-संस्कृति के प्रचार-प्रसार में अहम भूमिका निभाने पर सम्मानित किया गया है। अनिल कत्याल अब तक छह हजार से अधिक माता के भजन लिख चुके हैं। इनके भजनों को देश के प्रसिद्ध गायक-गायिकाओं ने अपनी आवाज दी है। वैष्णो देवी मंदिर, जम्मू में प्रतिदिन आरती के दौरान अनिल कत्याल के भजन गाए जाते हैं। प्रसिद्ध गायक और लोकसभा सदस्य पद्मश्री हंसराज हंस ने भी इनकी लिखे भजनों को गाया है। आओ जी अज, मां को मनाइये, सच्चियां ज्योतां वाली मां दी सच्ची ज्योत जगाइये, को हंसराज हंस ने गाया है।
इनके अलावा कविता पौडवाल, पंकज राज, अमित मैनी, अर्जून सूरी, लता परदेसी, उमा लहरी, कंचन मदान, विनोद अग्रवाल विनोद अरोड़ा, गौरव शर्मा, राज सहगल, श्याम सचदेवा, संजीव शेरा, पंकज तथा अमित कात्यानी जैसे अन्य नामी गायकों ने इनके अनेक भजन गाए हैं।
अनिल कत्याल ने बताया कि कई वर्ष पहले की बात है झंडेवालान मंदिर, दिल्ली में माता रानी की चौकी थी। मां की कृपा से एक भजन लिखा और एक एक गायक को दे दिया, तो उन्होंने गाने से मना कर दिया था। इससे उस समय उनका मन निराश हुआ था। उन्होंने माता रानी के दरबार में अपनी अर्जी लगाई, बोले, ऐ मां, मैं तो आपकी शान में लिखता हूं, किसी से रुपया, पैसा नहीं लेता हूं, फिर मेरी अनदेखी क्यों। वहीं से जिदगी का नया मोड़ शुरू हुआ। इसके बाद उन्होंने और भजन लिखने शुरू किए। अन्य कई गायकों से मुलाकात की, तो देवी मां की कृपा से उनके भजनों को आवाज मिली। अनिल कत्याल इसके लिए देवी मां की कृपा का जिक्र करते हैं, तो साथ ही पत्नी मीनू के प्रोत्साहन और बिटिया अंबिका और आईशी की भी चर्चा करते हैं। अनिल कत्याल कहते हैं कि वह रोजाना एक या दो भजन जरूर लिखते हैं।