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लूट व फिरौती के लिए हुई थी हार्डवेयर व्यापारी की हत्या

सेक्टर-2 निवासी हार्डवेयर व्यापारी आदेश मित्तल की हत्या का मामला सुलझा लिया है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 21 Apr 2021 05:56 PM (IST)Updated: Wed, 21 Apr 2021 05:56 PM (IST)
लूट व फिरौती के लिए हुई थी 
हार्डवेयर व्यापारी की हत्या
लूट व फिरौती के लिए हुई थी हार्डवेयर व्यापारी की हत्या

जागरण संवाददाता, फरीदाबाद : सेक्टर-2 निवासी हार्डवेयर व्यापारी आदेश मित्तल की हत्या का मामला क्राइम ब्रांच ने 48 घंटे के अंदर सुलझा लिया। एसीपी क्राइम अनिल कुमार के नेतृत्व में क्राइम ब्रांच डीएलएफ और ऊंचा गांव ने संयुक्त आपरेशन कर तीन आरोपितों को आनंद विहार दिल्ली से गिरफ्तार किया है। आरोपितों में गांव तिगांव निवासी प्लंबर राकेश पाराशर, बल्लभगढ़ निवासी राहुल शर्मा और गोहाना सोनीपत निवासी विजय पाराशर शामिल हैं।

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आदेश मित्तल तिगांव में हार्डवेयर की दुकान करते थे। हार्डवेयर की दुकान पर प्लंबर की जरूरत रहती है, इसलिए प्लंबर का काम करने वाला राकेश पाराशर उन्हें पिछले 10-12 सालों से जानता था। राकेश काफी कर्जे में दबा हुआ है। कर्जा उतारने के लिए उसने अपने भांजे राहुल शर्मा और विजय पाराशर के साथ मिलकर आदेश मित्तल का अपहरण कर लूट व फिरौती की योजना बनाई। राहुल और विजय के ऊपर भी कर्जा है, इसलिए दोनों साजिश में शामिल हो गए। राकेश को अनुमान था कि आदेश मित्तल रोजाना दो-तीन लाख रुपये की बिक्री करते हैं। वहीं चार पांच लाख रुपये वह उसके परिवार वालों से फिरौती के रूप में मंगवा लेगा। 10 दिन से रच रहे थे साजिश

तीनों आरोपित आदेश का अपहरण कर लूट व फिरौती की साजिश 10 दिन से रच रहे थे। विजय पाराशर दिल्ली में टैक्सी चलाता है। हत्या से दो दिन पहले उसने दिल्ली से ईको कार चोरी की। इसके बाद उन्होंने आदेश की रेकी कर उनके घर से दुकान आने-जाने की जानकारी जुटाई। वारदात वाले दिन उन्होंने दुकान से ही ईको कार में आदेश की ब्रेजा कार का पीछा शुरू कर दिया। रास्ते में उन्हें आदेश को रोकने का मौका नहीं मिला। इसलिए उनके घर से 200 मीटर पहले उन्होंने आगे ईको कार लगाकर आदेश को रोक लिया। इसके बाद पिस्टल दिखाकर अपहरण कर लिया। उन्हें आदेश की जेब से महज पांच हजार रुपये मिले। तीनों आदेश के परिवार वालों से फिरौती की काल करने वाले थे। राकेश ने गमछा से अपना चेहरा छिपाया हुआ था। गमछा खुल जाने से आदेश ने उसे पहचान लिया। पकड़े जाने के डर से तीनों घबरा गए और उन्होंने वहीं खुखरी से गोदकर आदेश की हत्या कर दी। क्राइम ब्रांच ने बेहतर काम किया है। महज 12 घंटे में आरोपितों का पता लगा लिया था और 48 घंटे के अंदर उन्हें दबोच लिया गया। वारदात में तीन लोग शामिल थे, तीनों को दबोच लिया है।

-ओपी सिंह, पुलिस आयुक्त फरीदाबाद


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