प्रशासन से तीसरे दौर की वार्ता भी विफल, जारी रहेगा किसानों का धरना
जागरण संवाददाता चरखी दादरी नेशनल हाइवे 152 डी के लिए अधिग्रहण होने वाली भूमि की मुआव
जागरण संवाददाता, चरखी दादरी :
नेशनल हाइवे 152 डी के लिए अधिग्रहण होने वाली भूमि की मुआवजा राशि वृद्धि की मांग को लेकर किसानों का धरना सोमवार को भी जारी रहा। किसान गांव रामनगर के समीप गत 21 दिनों से धरना दे रहे हैं। विभिन्न खापों के प्रतिनिधियों ने धरना समिति पदाधिकारियों के साथ मिलकर उपायुक्त अजय सिंह तोमर व दूसरे अधिकारियों के साथ तीसरी बार वार्ता की लेकिन दोनों पक्षों के बीच किसी प्रकार की सहमति नहीं बन पाई। किसानों ने प्रशासन पर लापरवाही बरतने के आरोप लगाते हुए कड़ा रोष प्रकट किया। धरना समिति और खाप पंचायतों ने मांग पूरी न होने तक धरने पर डटे रहने की घोषणा की है। धरनास्थल पर कपूर असौदा, प्रभुराम गोदारा, उमेद सिंह, देवेंद्र धनखड़, बिजेंद्र बेरला, जयसिंह अहलावत, औमप्रकाश, रामकरण, सोमबीर सांगवान, भूप सिंह, धनपत, कर्मबीर श्योराण इत्यादि खाप पदाधिकारी मौजूद थे।
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बैठक से किसानों ने 25 मिनट तक किया विचार विमर्श
सोमवार सुबह साढ़े 11 बजे तक विभिन्न खापों के प्रतिनिधि धरनास्थल पहुंचे। करीब 25 मिनट तक विचार विमर्श करने के बाद दोपहर 12 बजे उपायुक्त से बात करने के लिए धरना समिति और खापों से जुड़े करीब 40 लोग लघु सचिवालय पहुंचे। उसके बाद 12:20 बजे से लेकर 2:25 तक एक लंबी वार्ता दोनों पक्षों के बीच चली। उपायुक्त से बात कर लौटने के बाद किसान नेता व मामले मे किसानों की पैरवी कर रहे अधिवक्ता रमेश दलाल ने कहा कि बातचीत पूरी तरह से बेनतीजा रही है। हम बार-बार प्रशासन से मिल चुके है लेकिन अभी तक कोई निर्णय नहीं निकल पाया है। 21 दिन बीतने और कई बार प्रशासन से मिलने के बावजूद हमारी प्रक्रिया एक कदम भी आगे नहीं बढ़ पाई है जिससे सरकार व प्रशासन की उदासीनता साफ तौर पर नजर आ रही है।
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धरना समिति का फैसला सर्वोपरि : खाप
धरने पर पहुंची खापों ने कहा कि धरना समिति अपनी मांगों, धरने को जारी रखने व आगामी आंदोलन के जो भी निर्णय लेगी सभी खाप पंचायतें उनके निर्णय का स्वागत कर समिति का हर संभव सहयोग करेंगी। किसानों ने जताया रोष
सोमवार को वार्ता बेनतीजा रहने के बाद किसानों ने कहा कि प्रशासन बार-बार बात करने के नाम पर उन्हें गुमराह कर रहा है। प्रशासन की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए किसानों ने कहा कि प्रशासन उनकी मांगों को लेकर कतई गंभीर नहीं है। लेकिन उनका कानूनी पक्ष मजबूत है। प्रशासन ढुल-मुल रवैया अपनाकर किसानों के धैर्य की परीक्षा ले रहा है।
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14 खापों के किसान पहुंचे धरनास्थल पर
सोमवार को धरनास्थल पर प्रदेश की विभिन्न खापें धरना स्थल पर पहुंची। हुड्डा खाप, दलाल, कादयान, सांगवान, श्योराण, अहलावत, धनखड़, देशवाल, दुल्हेड़ा, हवेली, नौगामा, मलिक, दहिया, सरोहा इत्यादि खापों ने समर्थन देकर आंदोलन में हर कदम पर साथ देने का वादा किया।