Move to Jagran APP

20 दिनों से पानी में डूबा है दादरी का सबसे पुराना शिक्षा का मंदिर, पांच दिन में निकला केवल एक फुट पानी

जागरण संवाददाता चरखी दादरी जनस्वास्थ्य विभाग व प्रशासन की उदासीनता के कारण 20 दिनों से शह

By JagranEdited By: Published: Tue, 21 Sep 2021 06:54 AM (IST)Updated: Tue, 21 Sep 2021 06:54 AM (IST)
20 दिनों से पानी में डूबा है दादरी का सबसे पुराना शिक्षा का मंदिर, पांच दिन में निकला केवल एक फुट पानी
20 दिनों से पानी में डूबा है दादरी का सबसे पुराना शिक्षा का मंदिर, पांच दिन में निकला केवल एक फुट पानी

जागरण संवाददाता, चरखी दादरी : जनस्वास्थ्य विभाग व प्रशासन की उदासीनता के कारण 20 दिनों से शहर का सबसे पुराना राजकीय माडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय का परिसर तालाब बना हुआ है। हैरानी की बात है कि स्कूल परिसर में स्थानीय राजनीतिक दलों के नेताओं व बड़े अधिकारियों के दौरा करने के बावजूद पानी की निकासी नहीं हो पाई है। हालांकि पिछले चार-पांच दिनों में विद्यालय परिसर से एक फुट तक पानी की निकासी हुई है। लेकिन अभी भी परिसर में दो से तीन फुट तक पानी भरा हुआ है। यहां पानी की निकासी के लिए एक बड़ी मोटर व पाइप लगाए गए हैं। जिसके द्वारा सीवरेज की लाइन में पानी डाला जा रहा है। विद्यालय के शिक्षकों का कहना है कि इस मोटर को केवल पूरे दिन में केवल छह से सात घंटे तक चलाया जा रहा है। यदि दिन रात 24 घंटे मोटर चलाई जाए तो कुछ हद तक समस्या का समाधान हो सकता है। फिलहाल जो निकासी की गति है उसे देखकर लगता है कि अगले कई दिनों तक यहां सुचारु रूप से शैक्षणिक कार्य होना बेहद मुश्किल है। नगर के राजकीय माडल संस्कृति वमावि परिसर में पिछले 20 दिनों से जलभराव के कारण अब पानी सड़ने लगा है। जिसके चलते यहां मच्छरों की भरमार है। इन दिनों जबकि दादरी जिले में डेंगू, मलेरिया जैसी बीमारियां तेजी से फैल रही हैं। ऐसे में यहां भी संक्रामक बीमारियां फैलने की आशंकाएं बनी हुई हैं। भवन हो रहा क्षतिग्रस्त

loksabha election banner

विद्यालय परिसर में जलजमाव के चलते यहां के पुराने भवनों की दीवारों में नमी आ गई है। विशेषकर पिछले सालों ही लाखों रुपयों की लागत से बने सुभाषचंद्र बोस सदन व उसके साथ लगते नये भवन की हालत बेहद खराब बनती जा रही है। यहां फर्श व दीवारों में आई नमी अब ऊपर तक आ रही है। इसके चलते यहां के भवन क्षतिग्रस्त होने की संभावना बनी हुई है। जल्द निकासी न होने की सूरत में स्कूल के नये भवनों को काफी नुकसान हो सकता है। विद्यालय में दिव्यांग बच्चों के लिए बनाया गया मदर टेरेसा भवन भी पानी में डूबा हुआ है। मौजूदा हालातों में स्कूल के शिक्षक यहां आने वाले विद्यार्थियों को पुराने भवनों के बरामदों व खुले स्थानों पर बैठकर पढ़ाने को मजबूर हैं। शिक्षा के प्रति उदासीनता चिताजनक

राजकीय माडल संस्कृति विद्यालय में 1200 से अधिक छात्र अध्ययनरत हैं। पिछले 20 दिनों से जलजमाव के कारण जो हालात बने हुए हैं उनमें न केवल शैक्षणिक कार्य प्रभावित हो रहा है, भवन क्षतिग्रस्त हो रहे है, संक्रामक बीमारियां फैल रही हैं बल्कि छात्रों के भविष्य को लेकर भी अभिभावकों की चिताएं बढ़ती जा रही हैं। दादरी नगर परिषद के निवर्तमान पार्षद रविद्र सिंह गुप्ता, महेश गुप्ता, बक्शी सैनी इत्यादि कहा कि शिक्षा के प्रति सरकार, प्रशासन व जनस्वास्थ्य विभाग की लापरवाही बेहद चिता का विषय है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.