फुटवियर उद्योग में दो लाख नए रोजगार की जमीन तैयार
देश ही नहीं बल्कि दुनिया में फुटवीयर उद्योग की तरक्की का अगुवा बनने जा रहे हरियाणा में दो लाख से ज्यादा नए रोजगार की जमीन भी तैयार हो गई है। इस समय देश के अंदर जितना इस उद्योग में उत्पादन और कारोबार है, वह अगले पांच साल में इससे दुगुना हो जाएगा। जाहिर है कि यह तरक्की रोजगार के लिहाज से भी होगी। इस उद्योग में जितने कामगार आएंगे, उनका हुनर बहादुरगढ़ ही तराशेगा। यहां से अब हर साल आठ हजार प्रशिक्षित कामगार निकलेंगे।
प्रदीप भारद्वाज, बहादुरगढ़
देश ही नहीं बल्कि दुनिया में फुटवियर उद्योग की तरक्की का अगुवा बनने जा रहे हरियाणा में दो लाख से ज्यादा नए रोजगार की जमीन भी तैयार हो गई है। इस समय देश के अंदर जितना इस उद्योग में उत्पादन और कारोबार है, वह अगले पांच साल में इससे दुगुना हो जाएगा। जाहिर है कि यह तरक्की रोजगार के लिहाज से भी होगी। इस उद्योग में जितने कामगार आएंगे, उनका हुनर बहादुरगढ़ ही तराशेगा। यहां से अब हर साल आठ हजार प्रशिक्षित कामगार निकलेंगे।
दरअसल, फुटवियर इंडस्ट्री में सबसे ज्यादा तरक्की और रोजगार की संभावनाए हैं। इसीलिए राज्य सरकार ने इसे प्राथमिकता में लिया है। इसका प्रमाण भी सामने है। बहादुरगढ़ में देश में पहला फुटवियर पार्क बने ज्यादा वक्त नही हुआ है और सरकार ने यहां के निकटवर्ती खरखौैदा में दूसरे फुटवियर प्रोजेक्ट के दायरे को बढ़ाकर दुगुना कर दिया। इस समय चीन में 500 एकड़ के लगभग एकड़ मे सबसे बड़ा फुटवियर पार्क बना हुआ है। हरियाणा सरकार इससे लगभग दुगुना बड़ा फुटवियर उद्योग का हब बनाकर कीर्तिमान बनाएगी, तो उससे रोजगार भी पैदा होंगे। आंकड़ों के हिसाब से खरखौदा में 910 एकड़ में प्रस्तावित फुटवियर पार्क अगले चार से पांच साल में पूरी तरह खड़ा हो जाएगा। फिर यहां पर दो लाख नए रोजगार मिलेंगे। इसके लिए बहादुरगढ़ अग्रणी भूमिका निभाएगा। यहां पर बनाया गया फुटवियर डेवलेपमेंट इंस्टीट्यूट (एफडीआइ) तब तक 50 हजार प्रशिक्षित कामगार पैदा कर देगा। उद्योगों में डिमांड बढ़ते ही इन प्रशिक्षित कामगारों को अच्छा रोजगार भी मिलेगा। युवाओं के पास बड़ा अवसर : आने वाले समय में फुटवियर में खूब रोजगार पैदा होंगे, इसलिए बहादुरगढ़ में बने एफडीआइ के जरिये प्रशिक्षण लेकर इस फील्ड में रोजगार पाने के लिए युवाओं के सामने अच्छा अवसर भी है। यहां पर उन्हें निश्शुल्क प्रशिक्षण मिलेगा। इससे उनके लिए रोजगार पाना भी आसान होगा। हर साल बहादुरगढ़ के इस इंस्टीट्यूट मे आठ हजार कामगारों को प्रशिक्षण मिलेगा। यह है फुटवियर उद्योग की मौजूदा स्थिति : पिछले कुछ समय में देश में फुटवियर उद्योग ने तेजी से तरक्की की है। इसमें हरियाणा और खासकर बहादुरगढ़ का बड़ा योगदान है। पहले देश के अंदर 60 फीसद फुटवियर चीन से आयात होता था। वह अब मात्र 3 फीसद ही रह गया है। अपने देश का निर्यात बढ़ गया है। पूरे विश्व में हर साल एक हजार करोड़ फुटवियर पेयर बनते हैं। इनमें से 650 करोड़ पेयर चीन बनाता है। 230 करोड़ भारत में बनता है। बाकी मॉल दुनिया के अन्य देश मिलकर तैयार करते हैं। पूरे देश में 50 हजार करोड़ का उत्पादन है। इसमें से बहादुरगढ़ में 15 हजार करोड़ फुटवियर माल तैयार होता है। उद्यमी एसोसिएशन के अनुसार अगले पांच साल में अपना देश 500 करोड़ पेयर बनाने लगेगा। इसका उत्पादन कुल मिलाकर एक लाख करोड़ का होगा। इसमें से 40 हजार करोड़ का उत्पादन बहादुरगढ़ से होगा। खरखौदा में फुटवियर पार्क बनने के बाद तो पूरे देश का ज्यादातर उत्पादन हरियाणा में ही होगा। वहां दो लाख नए कामगार आएंगे। फिलहाल बहादुरगढ़ में प्रत्यक्ष और परोक्ष रूप से डेढ़ लाख कामगार फुटवियर उद्योग से जुड़े हैं। पांच साल में यहां पर भी यह संख्या बढ़ जाएगी। ऐसे में वह दिन दूर नही जब पूरी दुनिया में मेड इन इंडिया और मेड इन हरियाणा के माल की डिमांड होगी। उद्यमियों को उम्मीद है कि एफडीआइ से प्रशिक्षत कामगार अच्छा माल तैयार कर पाएंगे। वर्जन..
फुटवियर उद्योग में विकास और रोजगार की सबसे ज्यादा संभावनाएं हैं। इस उद्योग की बदौलत हरियाणा भी अब खूब तरक्की करेगा। इसमें सरकार को सुविधाओं पर फोकस करना चाहिए।
--राजकुमार गुप्ता, अध्यक्ष फुटवियर उद्योग एसोसिएशन।