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केमिकल फैक्टरी विस्फोट : एसडीएम ने शुरू की न्यायिक जांच, रिपोर्ट और रिकॉर्ड लेकर पहुंचे अधिकारी

आधुनिक औद्योगिक क्षेत्र (एमआइई) की केमिकल फैक्टरी में हुए विस्फोट से चार फैक्टरी भवनों के गिरने और चार अन्य में आग लगने की घटना की न्यायिक जांच शुरू हो गई है। बहादुरगढ़ के एसडीएम तरुण पावरिया को जांच अधिकारी नियुक्त किया गया है। शुक्रवार को उन्होंने संबंधित विभागों के अधिकारियों को फैक्टरी के रिकार्ड और घटना की रिपोर्ट के साथ तलब किया। सभी अधिकारी अपनी-अपनी रिपोर्ट लेकर पहुंचे।

By JagranEdited By: Published: Fri, 06 Mar 2020 11:14 PM (IST)Updated: Sat, 07 Mar 2020 06:13 AM (IST)
केमिकल फैक्टरी विस्फोट : एसडीएम ने शुरू की न्यायिक जांच, रिपोर्ट और रिकॉर्ड लेकर पहुंचे अधिकारी
केमिकल फैक्टरी विस्फोट : एसडीएम ने शुरू की न्यायिक जांच, रिपोर्ट और रिकॉर्ड लेकर पहुंचे अधिकारी

जागरण संवाददाता, बहादुरगढ़ :

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आधुनिक औद्योगिक क्षेत्र (एमआइई) की केमिकल फैक्टरी में हुए विस्फोट से चार फैक्टरी भवनों के गिरने और चार अन्य में आग लगने की घटना की न्यायिक जांच शुरू हो गई है। बहादुरगढ़ के एसडीएम तरुण पावरिया को जांच अधिकारी नियुक्त किया गया है। शुक्रवार को उन्होंने संबंधित विभागों के अधिकारियों को फैक्टरी के रिकॉर्ड और घटना की रिपोर्ट के साथ तलब किया। सभी अधिकारी अपनी-अपनी रिपोर्ट लेकर पहुंचे।

गत 28 फरवरी को डाइएस्टर केमिकल के नाम से चल रही फैक्टरी में विस्फोट हुआ था। इससे चार फैक्टरी भवन ढह गए थे और चार अन्य में आग लग गई थी। इसमें आठ लोगों के शव बरामद हुए और दो लापता हो गए। अब चपेट में आई फैक्टरियों में कई तरह की अनियमितताओं को लेकर जांच शुरू हो गई है। घटना की न्यायिक जांच कर रहे एसडीएम तरुण पावरिया ने शुक्रवार को एचएसआइआइडीसी, श्रम विभाग, औद्योगिक सुरक्षा एवं स्वास्थ्य, फायर बिग्रेड, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और जिला उद्योग केंद्र से रिकार्ड तलब किया। एक-एक करके अधिकारी उनके कार्यालय में फाइल लेकर पहुंचे। सभी ने अपनी-अपने रिपोर्ट पेश की। हालांकि किस विभाग ने क्या रिपोर्ट दी है, इस बात को अभी गोपनीय रखा गया है। अधिकारी आते रहे और जांच अधिकारी को अपनी रिपोर्ट सौंपकर वापस लौटते रहे। रिकार्ड न मिलने पर जवाब तलब होगा:

खास बात यह है जो फैक्टरी इस भीषण घटना की चपेट में आई, उनसे जुड़ा कई तरह का रिकॉर्ड विभागों के पास नहीं है। मगर रिकॉर्ड क्यों नहीं है, इस पर भी अधिकारियों से भी जवाब तलब होगा। वर्जन..

न्यायिक जांच का मकसद यही है कि किन खामियों के चलते यह हादसा हुआ और इसके लिए कौन जिम्मेदार है। किस-किस विभाग की क्या जिम्मेदारी थी। उन्होंने अपनी जिम्मेदारी निभाई या नहीं है। इसके साथ ही जो कामगार इस हादसे में मारे गए और जो घायल हुए हैं, उन सभी के परिवारों को न्याय दिलवाना भी इसका उद्देश्य है।

--तरुण पावरिया, एसडीएम एवं न्यायिक जांच अधिकारी


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