पत्नी से झगड़ा किया तो होगी मुसीबत; शिक्षक को पंगा पड़ा भारी, भागा-भागा फिर रहा
पत्नी से विवाद और झगड़ा एक जेबीटी शिक्षक को काफी भारी पड़ गया। नाराज पत्नी ने उसकी पाेल ऐसे खोल दी कि अब वह भागा-भागा फिर रहा है।
अंबाला शहर, [राजीव ऋषि]। पत्नी से झगड़ा बड़ी मुसीबत ला सकता है, इसलिए इससे बचिये। हरियाणा के एक टीचर को पत्नी से झगड़ा करना बेहद भारी पड़ गया है। झगड़े के बाद पत्नी ने उसकी सारी पाेल-पट्टी खोल दी और अब वह भागा-भागा फिर रहा है। मामला चरखी दादरी के रहने वाले एक जेबीटी टीचर का है।
फर्जी चरित्र प्रमाणपत्र और शपथपत्र देने वाले जेबीटी टीचर की खोली पोल
चरखी दादरी पुलिस की ओर से जारी चरित्र प्रमाणपत्र और झूठे शपथपत्र के बूते जेबीटी टीचर की नौकरी पाने वाले इस अध्यापक की पोल उसकी पत्नी ने ही खोल कर रख दी। पत्नी की नाराजगी से अब यह श्ािक्षक मुसरबत में फंस गया है और पुलिस ने उसके खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। पूर्व में दहेज के एक मामले में उसे सजा भी हो चुकी है। अब वह भूमिगत है। लंबे समय से एडवोकेट पत्नी से उसका मनमुटाव चल रहा है। दोनों अलग-अलग रहते हैं।
यह है मामला
चरखी दादरी जिले के भाटड़ा गांव निवासी मंजीत ने 4 जनवरी 2011 को अंबाला के साहा के तेपला गांव के स्कूल में जेबीटी टीचर की नौकरी ज्वाइन की थी। इससे पूर्व प्रक्रिया के तहत उससे चरित्र प्रमाणपत्र और शपथपत्र मांगा गया था। तत्कालीन भिवानी पुलिस से बनवाकर उसने चरित्र प्रमाणपत्र जमा करा दिया। साथ ही बीईओ कार्यालय को दिए अंबाला के नोटरी से प्रमाणित शपथपत्र में कहा कि उसका चरित्र बेदाग है और उस पर न तो कोई केस है और न ही चरित्र पर कोई दाग।
2008 में दर्ज हुआ था दहेज उत्पीडऩ का केस
चरखी दादरी के गांव घड़ोली की एडवोकेट मनु से शादी हुई। 27 मार्च 2008 को चरखीदादरी के बाटड़ा थाने में मंजीत के खिलाफ दहेज उत्पीड़न का केस दर्ज किया गया था। इसमें उसे सजा हुई थी। अब उसने वहां के सेशन कोर्ट में अपील दायर कर रखी है। इतना ही नहीं 29 सितंबर 2015 को अंबाला के सदर थाने में मंजीत के खिलाफ ठगी का केस दर्ज हुआ था, जो अभी भी अदालत में विचाराधीन है।
पुलिस और शिक्षा विभाग को भेजे पत्र
एडवोकेट मनु ने मंजीत से जुड़ी जानकारी भरा पत्र शिक्षा विभाग और अंबाला पुलिस को भेजा था। जिस पर पुलिस जांच शुरू की। अब आरोपी भूमिगत है।
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'' पति-पत्नी में मनमुटाव चल रहा है। टीचर के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। उसका रिकॉर्ड एकत्रित किया जा रहा है। गिरफ्तारी के बाद ही पता चलेगा कि फर्जी प्रमाणपत्र कहां से बनवाए।
- अजीत सिंह, एसएचओ कोतवाली, अंबाला शहर।