तीन स्क्रीनिग प्लांट सील, कई अब भी चल रहे बिना एनओसी
क्षेत्र में अवैध तौर पर चल रहे स्क्रीनिग प्लांटों के खिलाफ अरसे बाद जागे प्रशासन ने शुक्रवार को कार्रवाई तो की लेकिन अभी कई बिना एनओसी के चल रहे हैं। एसडीएम के नेतृत्व में गठित हुई टास्क फोर्स ने क्षेत्र में तीन स्क्रीनिग प्लांटों को सील करने और उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के निर्देश खनन विभाग को दिए हैं।
संवाद सहयोगी, नारायणगढ़ : क्षेत्र में अवैध तौर पर चल रहे स्क्रीनिग प्लांटों के खिलाफ अरसे बाद जागे प्रशासन ने शुक्रवार को कार्रवाई तो की, लेकिन अभी कई बिना एनओसी के चल रहे हैं। एसडीएम के नेतृत्व में गठित हुई टास्क फोर्स ने क्षेत्र में तीन स्क्रीनिग प्लांटों को सील करने और उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के निर्देश खनन विभाग को दिए हैं। हालांकि स्पष्ट सूत्रों के मुताबिक प्रदूषण विभाग के पास ऐसे लगभग अढ़ाई दर्जन स्क्रीनिग प्लांटों की सूची है, जो क्षेत्र में लंबे समय से बिना एनओसी के चल रहे हैं।
क्षेत्र के कई गांवों में लगभग चार दर्जन स्क्रीनिग प्लांट (वाशिग प्लांट) चालू हैं, जो क्षेत्र की नदी-नालों यहां तक कि पंचायती और वन विभाग की भूमि को अवैध तौर पर खोदकर किए जा रहे खनन के चलते धड़ल्ले से चल रहे हैं। इन प्लांटों में से अधिकतर के पास कोई कागजात नहीं है, जिससे वे न केवल प्रशासन अपितु प्रदूषण और खनन विभाग की आंखों में धूल झोंक रहे हैं। डीसी के निर्देशानुसार गठित टास्क फोर्स का नेतृत्व एसडीएम अदिति कर रही थीं। उन्होंने शुक्रवार की दोपहर पुलिस व खनन विभाग तथा प्रदूषण विभाग की टीम को साथ लेकर क्षेत्र के गांव डेरा, हमीदपुर, राऊमाजरा तथा शाहपुर में जांच की।
विभागीय सूत्रों के मुताबिक शुक्रवार को 15 स्क्रीनिग प्लांटों का निरीक्षण किया गया जिनमें गांव राऊमाजरा में दो तथा गांव शाहपुर में एक स्क्रीनिग प्लांट अवैध रूप से चलता पाया गया, जिनके खिलाफ अभियोग दर्ज करने के निर्देश दिए गए हैं। खनन विभाग के निरीक्षक सुनील कुमार द्वारा पुलिस में इन तीनों स्क्रीनिग प्लांटों के मालिकों के खिलाफ शिकायत दी गई है। बताया जाता है कि इन स्क्रीनिग प्लांट संचालकों के पास प्रदूषण विभाग की एनओसी नहीं थी, जिन्हें अब नियम अनुसार नोटिस देकर सील करने की भी कार्रवाई की जाएगी।