किसी भी मुसीबत में धर्म का रास्ता नहीं छोड़ना चाहिए: रामदास महाराज
कथावाचक रामदास महाराज ने कहा कि धर्म के रास्ते पर चल कर ही आप पाप का नाश कर सकते हो। यदि आप धर्म के रास्ते पर नहीं चलोगे तो पाप आपका नाश कर देगा। अत मनुष्य को धर्म का रास्ता नहीं छोड़ना चाहिए चाहे कितनी भी मुसीबतें आयें।
जागरण संवाददाता, अंबाला: कथावाचक रामदास महाराज ने कहा कि धर्म के रास्ते पर चल कर ही आप पाप का नाश कर सकते हो। यदि आप धर्म के रास्ते पर नहीं चलोगे तो पाप आपका नाश कर देगा। अत: मनुष्य को धर्म का रास्ता नहीं छोड़ना चाहिए, चाहे कितनी भी मुसीबतें आयें। वह रविवार छावनी के आलू गोदाम स्थित ब्राह्मण सभा हाल के छठे दिन श्रीमद्भागवत कथा के छठे दिन श्रद्धालुओं के समक्ष प्रवचन कर रहे थे। उन्होंने बताया कि जिस तरह से श्रीकृष्ण भगवान को मारने के लिए कंस ने न जाने कितने यतन किये, परंतु धर्म की राह पर चलते हुए श्रीकृष्ण ने कंस का वध कर अपने माता पिता को उसकी कैद से छुड़वाया। यह कथा श्री राधा निकुंज परिवार ट्रस्ट के तत्वावधान में श्री पोप सिंह मंदिर सभा व कालोनी वासियों के सहयोग से करवाई जा रही है। कथा में श्रीकृष्ण लीलाओं का वर्णन किया, जिसमें श्रीकृष्ण के साथ सखियां फूलों की होली खेलती हैं। उसके बाद मुथुरा गमन की कथा कहते हुए कंस वध व उधो एवं गोपी संवाद प्रसंग कथा कहते हुए विरहा कथा कही। वहीं, श्रीकृष्ण रूकमणी विवाह संपन्न हुआ। इस मौके पर ममता डांग, नीरज डांग, मंजीव कुमार गोयल, अशोक वर्मा, राजीव शर्मा, अनूप कौड़ा, अरूण अग्रवाल, सोनू मक्कड़, नीटू अरोड़ा, दिनेश, राम स्वरूप, सतीश मक्कड़, विशाल गुप्ता, विनय दिवेदी, जतिद्र गंभीर, प्रीतम, अशोक कपूर, नीरज डांग, एफसी धीमान, अशोक राणा, राहुल आदि मौजूद रहे।