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6599 लेटर बॉक्स को सेंट्रल कंट्रोल से जोड़ने की योजना

मनीष श्रीवास्तव अंबाला शहर डाक विभाग ने राज्य के सभी लेटर बॉक्स को सेंट्रल कंट्रोल से जोड़ने की योजना बनाई है। सभी शहर के मुख्य बाजार और चौक-चौराहे पर लगे लेटर बॉक्स में इलेक्ट्रनिक चिप लगा रहा है।

By JagranEdited By: Published: Sat, 23 Nov 2019 08:41 AM (IST)Updated: Sat, 23 Nov 2019 08:41 AM (IST)
6599 लेटर बॉक्स को सेंट्रल कंट्रोल से जोड़ने की योजना
6599 लेटर बॉक्स को सेंट्रल कंट्रोल से जोड़ने की योजना

मनीष श्रीवास्तव, अंबाला शहर:

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डाक विभाग ने राज्य के सभी लेटर बॉक्स को सेंट्रल कंट्रोल से जोड़ने की योजना बनाई है। सभी शहर के मुख्य बाजार और चौक-चौराहे पर लगे लेटर बॉक्स में इलेक्ट्रनिक चिप लगा रहा है। यह चिप सीधे नॉनयाथा सॉफ्टवेयर से जुड़ा रहेगा। इस लेटर बॉक्स मॉनिटरिग सीधे केंद्रीय कंट्रोल रूम में होगा। सेंट्रल कंट्रोल रूम को अंबाला छावनी के सीपीएमजी (चीफ पोस्ट मास्टर जनरल) ऑफिस परिसर में बनाया गया है। पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर डाक विभाग ने राज्य के 266 लेटर बॉक्स को जोड़ा है। अब लेटर बॉक्स में कितनी चिट्ठी आई है इसकी सटीक जानकारी सेंट्रल कंट्रोल रूम को होगी।

डाक विभाग साधारण डाक से चिट्ठी न पहुंचने की शिकायत दूर करने की योजना पर काम शुरू कर दिया है। इस दिशा में कदम उठाते हुए डाक विभाग ने राज्य के सभी 6599 लेटर बॉक्स को सॉफ्टवेयर से जोड़ने की योजना बनाई है। इस योजना पर अमल करते हुए एक खास साफ्टवेयर डेवलप कराया, जिसे नॉनयाथा नाम दिया। नॉनयाथा साफ्टवेयर के तहत सभी लेटर बॉक्स में एक खास चिप लगेगा और उसमें डाक विभाग का बारकोड होगा। यह बारकोड लेटर बॉक्स खोलने वाला डाक कर्मचारी अपने मोबाइल से स्कैन करेगा। बारकोड स्कैन करते ही एक खास विंडो मोबाइल पर ही खुलेगा, जिसमें यह स्पष्ट करना होगा कि जिस समय लेटर बॉक्स खोला गया, उसमें कितनी चिट्ठियां थीं। इससे डाक विभाग के सेंटर कंट्रोल रूम को यह सही जानकारी होगी कि लेटर बॉक्स में आने वाले पत्र की संख्या क्या है। 4जी मोबाइल से लेस होंगे डाक कर्मचारी

लेटर बॉक्स को खोलने की जिम्मेदारी निभाने वाला डाक कर्मचारी 4जी मोबाइल से लेस होगा। यह सॉफ्टवेयर संचालित करने के लिए कम से कम 4जी का मोबाइल अनिवार्य है, क्योंकि सॉफ्टवेयर को वर्क करने के लिए नॉनयाथा एप डाउन लोड करना होगा। लेटर बॉक्स में लगाया जा रहा बार कोड

पायलट प्रोजेक्ट में शामिल उन सभी लेटर बॉक्स में डाक विभाग एक बार कोड लगा रहा है। लेटर बॉक्स को खोलते ही डाक कर्मचारी को इस बार कोड को स्कैन करना होगा और इसके बाद डाक विभाग का खास साफ्टवेयर एक्टिव होगा, सॉफ्टवेयर एक्टिव होते ही लेटर बॉक्स में कितनी चिट्ठियां आई है इसकी संख्या दर्ज करनी होगी। संख्या दर्ज करते ही सेंट्रल कंट्रोल रूम को सूचना मिल जाएगी। समय से नहीं खुला लेटर बॉक्स तो होगी पूछताछ

नॉनयाथा साफ्टवेयर से जुड़ने वाले सभी लेटर बॉक्स को रोजाना निर्धारित समय पर डाक विभाग का बीट कर्मचारी को खोलना होगा। अगर लेटर बॉक्स तय समय पर नहीं खुला और उसमें चिट्ठियां पड़ी रह गई तो संबंधित डाक कर्मचारी से सेंट्रल कंट्रोल रूम के अधिकारी पूछताछ करके हिदायत भी देंगे कि आगे से ऐसी गलती न हो। वर्जन फोटो 2

लोगों की चिट्ठियों को समय से बांटा जाए, इसके लिए डाक विभाग खास योजना पर काम कर रहा है। जल्द ही राज्य के 6599 लेटर बॉक्स को सेंट्रल कंट्रोल से जोड़ दिया जाएगा। पहले चरण में 266 लेटर बॉक्स को जोड़ा गया है।

रंजू प्रसाद, सीपीएमजी


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