27 प्राइवेट अस्पताल से सात हजार लोगों ने करवाया इलाज
आयुष्मान योजना में निजी चिकित्सालयों में सात हजार लाभार्थियों ने इलाज कराया है। इसमें निजी चिकित्सालयों ने इलाज का करीब 10 करोड़ 50 लाख रुपये के बिल का स्वास्थ्य विभाग ने भुगतान किया।
जागरण संवाददाता, अंबाला शहर: आयुष्मान योजना में निजी चिकित्सालयों में सात हजार लाभार्थियों ने इलाज कराया है। इसमें निजी चिकित्सालयों ने इलाज का करीब 10 करोड़ 50 लाख रुपये के बिल का स्वास्थ्य विभाग ने भुगतान किया। वहीं सरकारी अस्पतालों में 3412 लाभार्थियों ने इलाज कराया है। इसमें 6 करोड़ 50 लाख रुपये का इलाज कराया है। अब स्वास्थ्य विभाग 15 मार्च तक लाभार्थियों के फ्री कार्ड बनाएगा।
मालूम हो कि आयुष्मान योजना में लाभार्थी को साल में पांच लाख रुपये का इलाज फ्री मिलता है। इस योजना में अंबाला में करीब 27 निजी चिकित्सालय और सात सरकारी अस्पतालों को पैनल में रखा गया है। यहां पर लाभार्थियों का इलाज मुफ्त इलाज किया जाता है। अंबाला में आयुष्मान योजना में करीब 3 लाख 12 हजार लाभार्थी हैं। जबकि अभी तक एक लाख 14 हजार लाभार्थियों के कार्ड बनाए हैं। इसमें सात सरकारी अस्पतालों में 3412 लाभार्थियों ने इलाज कराया है। वहीं निजी चिकित्सालय में सात हजार लाभार्थियों ने लाभ उठाया। इसमें 10 करोड़ 50 लाख रुपये इलाज में खर्च का बिल भेजा है। हालांकि अंबाला में 3 लाख 12 हजार लाभार्थियों के कार्ड बनाए जाने हैं। जबकि अभी तक एक लाख 14 हजार लाभार्थियों के कार्ड बने हैं। अब स्वास्थ्य विभाग 15 मार्च तक कॉमन सर्विस सेंटर पर लोगों के कार्ड बनाने का काम किया जाएगा।
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15 मार्च तक आयुष्मान भारत पखवाड़ा चलेगा
अंबाला में एक से 15 मार्च तक आयुष्मान भारत पखवाड़ा चलेगा। इसमें लाभार्थियों के कार्ड मुफ्त बनाए जाएंगे। साथ ही लोगों को आयुष्मान योजना में एक साल पांच लाख रुपये के इलाज के विषय में जानकारी दी जाएगी। इस मौके पर किगफिशर पर्याटक स्थल में आयोजित प्रेस वार्ता में सीएमओ डा. कुलदीप सिंह ने बताया कि जिले में 15 मार्च तक कॉमन सर्विस सेंटर पर आयुष्मान कार्ड बनाने का काम किया जाएगा। इसके लिए सभी कॉमन सर्विस सेंटर पर लाभार्थियों की सूची दी है। वहीं हर सेंटर और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर आयुष्मान भारत योजना के पोस्टर व बैनर भी लगाए जाएंगे।
---------------------- ज्यादा पैसे लेने पर रजिस्ट्रेशन रद होगा
आयुष्मान योजना में लाभार्थी को एक साल में पांच लाख रुपये तक का निश्शुल्क इलाज किया जाता है। इसमें सरकार ने ऑपरेशन के लिए रेट भी तय किए हैं। इससे ज्यादा पैसे की वसूली करने पर अस्पताल पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी। साथ ही अस्पताल को पैनल से हटाया जा सकता है। इस संबंध में सीएमओ डा. कुलदीप सिंह ने बताया कि पैकेज में तय रेट से ज्यादा वसूली करने पर अस्पताल का रजिस्ट्रेशन भी रद किया जाएगा।