प्लाट दिलाने के नाम पर डॉक्टर से 1.35 करोड़ रुपये की ठगी, तीन पर केस दर्ज
जागरण संवाददाता अंबाला शहर तीन ठगबाजों ने मॉडल टाउन में 300-300 वर्ग गज के दो प्लाट दिलाने के नाम पर जग्गी गार्डन निवासी डॉक्टर बालकिशन शर्मा को 1.35 करोड़ रुपये की ठगी कर दी। यही नहीं ठगों ने रजिस्ट्री और न ही रुपये वापस किये। बाद में जब भूमि की जांच करवाई गई तो पता चला वह उनकी नहीं बल्कि विवादित जमीन निकली। परेशान होने के बाद डॉक्टर ने थाना बलदेव नगर पुलिस को इसकी शिकायत दी। पुलिस ने मामले में इस्माइलपुर निवासी विरेंद्र कुमार विक्रम सिंह व भूपिद्र सिंह के खिलाफ धोखाधड़ी का केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है।
-जग्गी गार्डन निवासी डॉक्टर बालकिशन शर्मा को ठग मॉडल टाउन में दिलाना चाहते थे दो प्लाट
जागरण संवाददाता, अंबाला शहर :
तीन ठगों ने मॉडल टाउन में 300-300 वर्ग गज के दो प्लाट दिलाने के नाम पर जग्गी गार्डन निवासी डॉक्टर बालकिशन शर्मा को 1.35 करोड़ रुपये की चपत लगाई है। ठगों ने न रजिस्ट्री कराई और न ही रुपये वापस किए। बाद में जब भूमि की जांच करवाई गई तो पता चला वह उनकी नहीं बल्कि विवादित जमीन निकली। डॉक्टर ने थाना बलदेव नगर पुलिस को इसकी शिकायत दी। पुलिस ने मामले में इस्माइलपुर निवासी विरेंद्र कुमार, विक्रम सिंह व भूपिद्र सिंह के खिलाफ धोखाधड़ी का केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। डॉक्टर के पास लेने आता था आरोपित दवाई
शिकायत में डॉक्टर बालकिशन शर्मा ने बताया कि वह रिहायश के लिए एक प्लाट लेना चाहते थे। इसके बारे में अपने क्लाइंट विरेंद्र सिंह को बोल रखा था। एक दिन विरेंद्र ने बताया कि भूपिद्र व विक्रम सिंह माडल टाउन में तीन सौ-तीन सौ गज के दो प्लाट है और वह इन्हें बेचना चाहते हैं। उसकी बातों पर विश्वास करने के बाद वे अपने भाई मुकेश कुमार के साथ प्लाट देखने के लिए चले गये। दोनों प्लाटों की चाहरदीवारी हो रही थी। इसके बाद आरोपित विरेंद्र सिंह ने 2018 में भूपिद्र सिंह से मिलवाया, फिर प्लाट लेने के लिए हामी भर दी। 21700 रुपये प्रति वर्ग गज के हिसाब से प्लाट की खरीद का सौदा हुआ। इस तरह एक करोड़ 35 लाख रुपये में प्लाटों का सौदा हो गया। उन्होंने यह राशि नकद व चेक के द्वारा आरोपितों को दी। सारी रकम देने के बाद आरोपितों ने प्लाटों की रजिस्ट्री करवाने के लिए भेज दिया था। डॉक्टर बालकिशन का कहना है कि उसने आरोपित विरेंद्र को रजिस्ट्री भेजने के लिए फोन किया तो कहने लगा अभी तहसीलदार के हस्ताक्षर नहीं हुए है,हो जाएंगे तो भेज देगा। बाद में पता चला कि यह विवादित भूमि है और इन प्लाटों पर कई व्यक्ति अपना अपना दावा कर रहे। इस तरह से आरोपितों ने उनके साथ ठगी की है।