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गुजरात में तीन महीने के शिशु का सफल ऑपरेशन

operation of baby in Gujarat. डॉक्टर जयश्री रामजी ने बताया कि मां के सात से आठ सप्ताह के गर्भ में किसी कारण से नजवात के अंग अलग हो जाते है।

By Sachin MishraEdited By: Published: Wed, 24 Jul 2019 02:04 PM (IST)Updated: Wed, 24 Jul 2019 02:04 PM (IST)
गुजरात में तीन महीने के शिशु का सफल ऑपरेशन
गुजरात में तीन महीने के शिशु का सफल ऑपरेशन

अहमदाबाद, जेएनएन। अहमदाबाद सिविल अस्पताल में दो गुप्तांग के साथ जन्में तीन महीने के शिशु का सफल ऑपरेशन किया गया। अस्पताल के अधीक्षक डॉ. एमएम प्रभाकर ने पिडियाट्रिक विभाग के सर्जन डॉ जयश्री रामजी एनेस्थेसिया विभाग के डॉक्टर नीलेश सोलंकी व जानवी शाह को इस सफलता के लिए बधाई दी है।

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जामनगर शहर के जामखंभालिया निवासी सचिन भाई (नाम परिवर्तित) की पत्नी ने दो लड़कियों के बाद तीन महीने पहले पुत्र को जन्म दिया था। बेटे का जन्म होने से परिवार में खुशी का माहौल था, वहीं डॉक्टरों को आश्चर्य था कि नवजात बालक दो लिंग के साथ पैदा हुआ है तथा उसके पुट्ठे पर चर्बी की गांठ भी है। डॉक्टरों ने परिजनों को शिशु के इलाज के लिए जामनगर सिविल अस्पताल ले जाने की सलाह दी।

जामनगर सिविल अस्पताल में मेडिकल जांच के बाद शिशु को सर्जरी के लिए अहमदाबाद सिविल अस्पताल में रेफर कर दिया गया, जिससे परिजन तीन महीने के शिशु को अहमदाबाद सिविल अस्पताल लेकर आए। यहां शिशु को पिडियाट्रिक विभाग में भर्ती कराया गया। जहां पिडियट्रिक विभाग के सीनियर डॉक्टर जयश्री रामजी ने शिशु के तमाम प्रकार के टेस्ट किए। इसकी रिपोर्ट आने के बाद शिशु की सर्जरी करने का तय किया गया । शिशु तीन महीने का होने से एनेस्थेसिया देने में भी विशेष ध्यान देना पड़ता है। इसलिए एनेस्थेसिया के डॉक्टर निलेश सोलंकी और जानवी शाह की लगातार देखरेख में शिशु एनेस्थेसिया दिया गया। इसके बाद पिडियाट्रिक के विशेषज्ञ डॉक्टर जय श्री रामजी और उनकी टीम ने 11 जुलाई के दिन करीब ढाई घंटे शिशु का सफल ऑपरेशन किया।

गुजरात का पहला मामला, देश का दूसरा व विश्व का 31 वां

पिडियाट्रिक के विशेषज्ञ डॉक्टर राकेश जोषी ने बताया कि एक रिपोर्ट के मुताबिक विश्व में इस प्रकार के 30 मामले दर्ज हुए है, जबकि भारत में इससे पहले चेन्नई में इस तरह का दुर्लभ मामला दर्ज हुआ था। गुजरात में यह पहला मामला है। सिविल अस्पताल में पहली बार इस प्रकार का ऑपरेशन किया गया है। डॉक्टर जयश्री रामजी ने बताया कि मां के सात से आठ सप्ताह के गर्भ में किसी कारण से नजवात के अंग अलग हो जाते है। इसके कारण इस प्रकार की समस्या होती है। शरीर के अंग से अलग हुआ हिस्सा अन्य अंगों से जुड़ जाता है जिससे कई बार तीन पर, दो हाथ के सा भी बच्चों का जन्म होता है। उन्होंने कहा कि बच्चे का दो गुप्तांग के साथ पैदा होना बहुत ही दुर्लभ मामला है।  

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