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Gujarat: नेपाल में हो सकती हैं नित्यानंद आश्रम से लापता युवतियां

Nityananda Ashram. युवतियों के पिता की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान हाई कोर्ट ने आश्रम के वकील से गुम युवतियों की जानकारी मांगी।

By Sachin MishraEdited By: Published: Wed, 11 Dec 2019 01:38 PM (IST)Updated: Wed, 11 Dec 2019 01:38 PM (IST)
Gujarat: नेपाल में हो सकती हैं नित्यानंद आश्रम से लापता युवतियां
Gujarat: नेपाल में हो सकती हैं नित्यानंद आश्रम से लापता युवतियां

अहमदाबाद, राज्य ब्यूरो। Nityananda Ashram. नित्यानंद स्वामी के अहमदाबाद आश्रम से गुम दो युवतियों को गुजरात हाई कोर्ट ने तुरंत पेश करने को कहा है। दोनों युवतियों के नेपाल में होने की संभावना जताई जा रही है।

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युवतियों के पिता की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान हाई कोर्ट ने आश्रम के वकील से गुम युवतियों की जानकारी मांगी। उन्होंने वीडियो फुटेज बताए तो कोर्ट ने कहा कि इससे काम नहीं चलेगा। युवतियों को यहां पेश करना पड़ेगा। अदालत ने पुलिस से विदेश जाकर युवतियों को लाने को कहा। इसका पूरा खर्च आश्रम वहन करेगा। गुम युवतियों के पहले दक्षिण अमेरिका में होने की आशंका थी, लेकिन अब माना जा रहा है कि वे नेपाल में किसी आश्रम में छिपी हुई हैं। हाई कोर्ट इस मामले को लेकर सख्त है। इस मामले की सुनवाई अब 20 दिसंबर को होगी।

गौरतलब है कि आश्रम में रहने वाले बच्चों को प्रताड़ित करने व उनसे श्रम कराने की गुजरात बाल आयोग जांच कर चुका है। आयोग की रिपोर्ट में कई चौकाने वाली बातें सामने आई हैं, जिसके चलते आश्रम के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई है।

फरार नित्यानंद को लेकर दूतावासों को किया सतर्क

दुष्कर्म, महिला उत्पीड़न और अपहरण मामलों के आरोपित बाबा नित्यानंद की फरारी को लेकर विदेश मंत्रालय ने दुनिया भर में अपने दूतावासों और मिशनों को सतर्क कर दिया है। वैसे विदेश मंत्रालय को अभी इस बात की पक्की जानकारी नहीं है कि नित्यानंद कब फरार हुआ है और अभी कहां है, लेकिन मीडिया में आ रही खबरों को देखते हुए उक्त कदम उठाया गया है।

उल्लेखनीय है कि अभी तक किसी भी एजेंसी ने विदेश मंत्रालय से नित्यानंद के प्रत्यर्पण को लेकर आग्रह नहीं किया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने बताया कि नित्यानंद को लेकर हमारे पास जो सूचना है, वह इतनी है कि किसी वेबसाइट के जरिए उसने अलग देश बनाने की घोषणा की है। लेकिन हम उस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं देंगे, क्योंकि वेबसाइट के जरिए देश नहीं बनता। लेकिन उसकी फरारी को लेकर हमारे पास कोई पक्की सूचना नहीं है। जहां तक उसके पासपोर्ट का सवाल है तो उसे काफी पहले रद कर दिया गया था।

वर्ष 2008 में उसके नाम से पासपोर्ट बनाया गया था और लेकिन विदेश मंत्रालय को उसके खिलाफ जो सूचनाएं मिली थीं, उनके आधार पर उसे रद कर दिया गया था। नित्यानंद के पासपोर्ट की अवधि वर्ष 2018 तक थी लेकिन उसके पहले ही उसे रद कर दिया गया। प्रवक्ता ने बताया कि नित्यानंद के प्रत्यर्पण को लेकर विदेश मंत्रालय को कोई भी आग्रह नहीं मिला है। लेकिन दुनिया भर के दूतावासों को बता दिया गया है कि नित्यानंद के बारे में वहां की सरकारों को जानकारी दे कि जघन्य अपराधों को अंजाम देकर भागे बाबा की भारतीय पुलिस को तलाश है।

दो दिन पहले नित्यानंद ने एक वीडियो संदेश में बताया था कि उसने दक्षिण अमेरिका के पास किसी द्वीप में कैलासा नाम से एक नया देश बनाया है। पहले यह बताया गया था कि यह द्वीप उसने इक्वाडोर से खरीदा है। लेकिन शुक्रवार को इक्वाडोर के भारत स्थित दूतावास की तरफ से जारी प्रेस विज्ञप्ति में इस बात को खारिज किया गया है।

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