Move to Jagran APP

आमिर ख़ान के ये 3 रिकॉर्ड्स टूटना, 12 निर्देशकों के साथ बनाया इतिहास!

Happy Birthday Aamir Khan आमिर ख़ान को सुलझा हुआ एक्टर माना जाता है जो अपने काम के लिए ना सिर्फ़ समर्पित है बल्कि उसे अलग अंदाज़ में पेश करने के लिए मशहूर है।

By Manoj VashisthEdited By: Published: Wed, 13 Mar 2019 10:36 PM (IST)Updated: Sat, 16 Mar 2019 08:09 AM (IST)
आमिर ख़ान के ये 3 रिकॉर्ड्स टूटना, 12 निर्देशकों के साथ बनाया इतिहास!
आमिर ख़ान के ये 3 रिकॉर्ड्स टूटना, 12 निर्देशकों के साथ बनाया इतिहास!

मुंबई। आज (14 मार्च) आमिर ख़ान का 54वां जन्म दिन है। ज़िंदगी के इन 54 सालों में से 36 साल आमिर ने सिनेमा के नाम किये हैं और इन 36 सालों में 31 साल आमिर ने बतौर लीड एक्टर काम किया है। आमिर ने अपनी अदाकारी से भारतीय सिनेमा में एक अलग पहचान बनायी है। नए मानदंड स्थापित किये हैं और नए कीर्तिमान कायम किये हैं। कला और व्यवसाय में कामयाबी का ऐसा तालमेल कम ही देखने को मिलता है। 

loksabha election banner

आगे बढ़ने से पहले आमिर ख़ान द्वारा निर्मित ऐसे ही 3 रिकॉर्ड्स जान लेते हैं, जिन्हें तोड़ पाना अभी तक मुमकिन नहीं हुआ है। 

  • हिंदी सिनेमा में सबसे बड़ी ओपनिंग की रिकॉर्ड आमिर ख़ान की फ़िल्म ठग्स ऑफ़ हिंदोस्तान के नाम है। विजय कृष्ण आचार्य निर्देशित फ़िल्म 2018 में रिलीज़ हुई थी और इसने 52.25 करोड़ का कलेक्शन पहले दिन किया था। फ़िल्म लांग रन में फ्लॉप रही, मगर ओपनिंग का इतिहास तो बना ही गयी।
  • आमिर ख़ान की दंगल हिंदी सिनेमा की सबसे अधिक कमाई करने वाली फ़िल्म है। यह रिकॉर्ड भी नहीं टूटा है। दंगल ने 387 करोड़ का कलेक्शन घरेलू बॉक्स ऑफ़िस पर किया था। बाहुबली2- द बिगिनिंग ने 511 करोड़ जमा किये थे, मगर वो तेलुगु फ़िल्म का हिंदी डब वर्ज़न था।
  • दंगल दुनियाभर में भी सबसे अधिक कमाई करने वाली फ़िल्म है। दंगल ने 2000 करोड़ के क़रीब वर्ल्डवाइड जमा किये थे, जिसमें बड़ा हिस्सा चीनी बॉक्स ऑफ़िस से आया था।

अपने करियर के हर दौर में आमिर को ऐसे निर्देशकों का साथ मिलता रहा है, जिन्होंने उनके भीतर के एक्टर को पूरी शिद्दत से उभारने में मदद की और आमिर को एक ऐसे कलाकार के तौर पर स्थापित कर दिया, जिसके पीछे सिनेमाई उत्कृष्टता की लंबी विरासत है। ऐसे ही 12 निर्देशकों की चर्चा...

मंसूर ख़ान का आमिर ख़ान के करियर में सबसे अहम योगदान इसलिए माना जाता है क्योंकि उन्होंने आमिर को एक बेहद सफल डेब्यू दिया। मंसूर ने क़यामत से क़यामत तक से आमिर को बतौर लीड एक्टर लांच किया और इसकी कामयाबी ने रातोंरात आमिर को स्टार बना दिया था। इसके बाद जो जीता वही सिकंदर जैसी स्पोर्ट्स ड्रामा भी मंसूर ने ही डायरेक्ट की थी। 

राज कुमार संतोषी  राज कुमार संतोषी के साथ आमिर ख़ान ने अंदाज़ अपना अपना में काम किया है, जो 1994 में आयी थी। इस फ़िल्म के ज़रिए आमिर ख़ान के कॉमिक स्किल्स खुलकर सामने आये थे। कॉमिक जॉनर की ये पहली फ़िल्म थी, जिसमें आमिर ने काम किया। यही एकमात्र फ़िल्म है, जिसमें आमिर ने सलमान ख़ान के साथ स्क्रीन स्पेस शेयर किया है। अंदाज़ अपना अपना उस वक़्त फ्लॉप रही थी, मगर बाद में इसे कल्ट फ़िल्म का स्टेटस मिला।

 

90 की शुरुआत में जब आमिर ख़ान फ्लॉप फ़िल्मों के दौर से गुज़र रहे थे, तब इंद्र कुमार ने उन्हें दिल जैसी सुपर हिट फ़िल्म दी। इस प्रेम कहानी में माधुरी दीक्षित, आमिर ख़ान के अपोज़िट थीं।

नब्बे का दशक आधा गुज़रते-गुज़रते आमिर ख़ान की फ्लॉप फ़िल्मों की फेहरिस्त हिट फ़िल्मों से लंबी हो चुकी थी, ऐसे में 1995 में राम गोपाल वर्मा के निर्देशन में बनी रंगीला रिलीज़ हुई। फ़िल्म में आमिर पहली बार मुंबइया टपोरी के अंदाज़ में दिखे। जैकी श्रॉफ़ और उर्मिला मातोंडकर के साथ आमिर ने अदाकारी का ऐसा रंग जमाया कि रंगीला आमिर के करियर की ही नहीं, बल्कि हिंदी सिनेमा की भी कल्ट फ़िल्मों में शामिल हो गयी है।

1996 में धर्मेश दर्शन के निर्देशन में बनी राजा हिंदुस्तानी शशि कपूर की हिट फ़िल्म जब जब फूल खिले का रीमेक थी। ये फ़िल्म करिश्मा कपूर के मेकओवर, आमिर की अदाकारी और सुपर हिट संगीत के लिए मशहूर हुई। फ़िल्म में आमिर और करिश्मा पर फ़िल्माया गया किस सीन भी काफी चर्चित रहा। राजा हिंदुस्तानी की कामयाबी ने आमिर को व्यावसायिक रूप से भरोसेमंद सितारों की जमात में पहुंचा दिया। इसी दौर में आमिर ने साल में एक या दो फ़िल्में करने के फॉर्मूला अपने करियर पर लागू कर लिया था, ताकि पूरा फोकस उन फ़िल्मों पर हो सके। 1997 में आमिर की एक ही फ़िल्म इश्क़ आयी, जिसे इंद्र कुमार ने डायरेक्ट किया था और इस रोमांटिक कॉमेडी फ़िल्म में आमिर पहली बार पर्दे पर अजय देवगन के साथ पेयर अप हुए। ये बड़ी हिट रही।

 

विक्रम भट्ट निर्देशित 1998 में आयी ग़ुलाम में आमिर ख़ान एक बार फिर रंगीला के मुन्ना के अंदाज़ में दिखायी दिये। आमिर ने फ़िल्म में एक स्ट्रीट स्मार्ट युवक का किरदार निभाया। रानी मुखर्जी आमिर की लीडिंग लेडी बनी। ग़ुलाम आमिर की बेहतरीन फ़िल्मों में शामिल है। सदी बदलने के साथ आमिर ख़ान के करियर में अहम मोड़ आया। आमिर एक्टर के साथ अब प्रोड्यूसर भी बन चुके थे। 

आशुतोष गोवारिकर निर्देशित लगान के साथ आमिर ने अपनी प्रोडक्शन कंपनी आमिर ख़ान प्रोडक्शंस शुरू कर दी। लगान 2001 की बड़ी सफलताओं में शामिल हुई और आमिर को बतौर प्रोड्यूसर एक शानदार शुरुआत दी। वैसे आशुतोष के साथ आमिर की ये दूसरी फ़िल्म थी। इससे पहले 1995 में आशु ने आमिर के साथ एक्शन फ़िल्म बाज़ी बनायी थी, जो फ्लॉप रही थी।

बदलती सदी में जब इंटरनेट युवाओं की बेचैनी का नया सबब बन रहा था, तब 2001 में फ़रहान अख़्तर ने दिल चाहता है से न्यू एज डायरेक्टर के तौर पर डेब्यू किया। इस फ़िल्म में आमिर ख़ान, सैफ़ अली ख़ान और अक्षय खन्ना ने लीड रोल्स निभाये। दिल चाहता है उस दौर के युवा से कनेक्ट करने में कामयाब रही।

 2006 में आयी राकेश ओमप्रकाश मेहरा की रंग दे बसंती आमिर ख़ान के करियर की अहम फ़िल्मों में शामिल है। राजनीतिक भ्रष्टाचार से त्रस्त युवाओं की मनोदशा को ज़ाहिर करती रंग दे बसंती के ज़रिए आमिर ने सरोकारी सिनेमा से अपना नाता जोड़ा। 

आमिर ख़ान के करियर को एक अलग आयाम देने में दो निर्देशकों को अहम योगदान रहा है। ये हैं एआर मुरुगादौस और राजकुमार हिरानी। दक्षिण भारतीय सिनेमा के दिग्गज निर्देशक मुरुगादौस ने आमिर को गजनी में डायरेक्ट किया था, जो उन्हीं की तमिल फ़िल्म गजनी का रीमेक थी। हालांकि तमिल फ़िल्म भी हॉलीवुड की मीमेंटो से प्रेरित थी। इस फ़िल्म के ज़रिए आमिर ने पहली बार किसी साउथ इंडियन फ़िल्म के रीमेक में काम किया था। यह फ़िल्म आमिर ख़ान की अदाकारी के अलावा उनके लुक और मार्केटिंग स्ट्रेटजी के लिए मशहूर हुई। मगर, इन सबसे ऊपर गजनी ने हिंदी फ़िल्म इंडस्ट्री को 100 करोड़ क्लब का दरवाज़ा दिखाया। गजनी ने 114 करोड़ की कमाई की थी और इस तरह आमिर ने हिंदी सिनेमा को पहली 100 करोड़ की फ़िल्म दी। 

राजकुमार हिरानी के साथ आमिर ख़ान ने दो फ़िल्में कीं। पहली बार दोनों 3 ईडियट्स के लिए साथ आये। इस चेतन भगत के उपन्यास फाइव प्वाइंट समवन पर बनी इस फ़िल्म ने कमाई का नया इतिहास रचा। आमिर ने इस फ़िल्म से 200 करोड़ क्लब की नींव डाली। 2009 में आयी फ़िल्म ने 202 करोड़ का कलेक्शन किया था। इसके बाद 2014 में आयी हिरानी की पीके में आमिर ने लीड रोल निभाया। इस फ़िल्म ने 339 करोड़ का कलेक्शन किया और 300 करोड़ क्लब की शुरुआत की थी।

2016 में आयी दंगल ने एक नए आमिर ख़ान को देखा। कुश्ती कोच महावीर फोगाट की इस बायोपिक के लिए आमिर ने अपने शरीर के साथ बदलाव किये, ताकि अलग-अलग उम्र के किरदार को पर्दे पर जी सकें। नितेश तिवारी निर्देशित ये फ़िल्म आमिर के करियर की शानदार सफलताओं में से एक है। मुश्किल किरदारों को निभाने की आमिर ख़ान की ललक को देखते हुए ऐसा लगता है, जैसे निर्देशकों और लेखकों को चुनौती दे रहे हों, नए-नए किरदार गढ़ने के लिए। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.