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जानिए, स्वरा भास्कर ने अपने पीरियड्स के अनुभव पर क्या कहा!

अभिनेत्री स्वरा भास्कर ने हाल ही में पीरियड्स के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए अपने उन दिनों के अनुभव को सबसे साझा किया।

By Suchi SinhaEdited By: Published: Thu, 10 Mar 2016 12:09 PM (IST)Updated: Thu, 10 Mar 2016 04:58 PM (IST)
जानिए, स्वरा भास्कर ने अपने पीरियड्स के अनुभव पर क्या कहा!

नई दिल्ली। अभिनेत्री स्वरा भास्कर ने हाल ही में पीरियड्स के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए अपने उन दिनों के अनुभव को सबसे साझा किया। पीरियड्स के दौरान स्वरा के पिता ने मां की गैरमौजूदगी में उनका मनोबला बढ़ाया था। इसके लिए स्वरा आज भी अपने पिता की शुक्रगुजार हैं।

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स्वरा ने अपने पीरियड्स के शुरुआती अनुभव और पिता के साथ हुई बातचीत को कुछ यूं बताया, 'उस वक्त मुझे वार्षिक लीडरशिप ट्रेनिंग कैंप में जाना था, जिसमें स्कूल की सभी कक्षाओं के मॉनिटर भाग ले सकते थे। एलटीसी एक प्रतिष्ठित कैंप था। उसमें केवल हर कक्षा से चुने गए प्रतिनिधि और दो मनोनीत विद्यार्थियों को भाग लेने के लिए आमंत्रित किया गया था। उसमें कई खेलों के अलावा शिक्षकों और अतिथियों के व्याख्यान होने थे। मैं कुछ सालों से इसमें भाग लेने की उम्मीद कर रही थी और उस साल अंतत: मैं कक्षा की एक निर्वाचित मॉनिटर थी। मैं तब उसमें भाग लेने को लेकर उत्साहित थी और स्कूल के बरामदे से जा रही थी। अचानक, वह धब्बा स्पष्ट नजर आने लगा और मेरा सारा उत्साह ठंडा पड़ गया। मैंने दुखी होकर दोपहर बाद का समय घर में बिताया। शाम को मेरे पापा घर लौटे। तब मेरी मां न्यूयॉर्क में पीएचडी कर रही थीं। इसलिए मेरे और पापा के बीच जरूरत की वजह से मासिक धर्म को लेकर अच्छी समझ विकसित हो गई थी।'

उन्होंने मेरे लटके हुए मुंह को देखकर पूछा, तो मैंने उन्हें बता दिया कि मुझे अगले दिन और उसके एक दिन बाद होने वाले एलटीसी को छोडऩा पड़ेगा।
उन्होंने पूछा, क्यों ?
मैंने कहा, …क्योंकि कल से मेरा मासिक धर्म शुरू हो रहा है।
उन्होंने कहा, तो? इससे क्या हुआ?
मैंने कहा, …इसलिए मैं नहीं जा सकती।
उन्होंने फिर पूछा, क्यों?
मैंने कहा, …क्योंकि वे मेरे शुरुआती दो दिन होंगे।
उन्होंने फिर कहा, तो? इससे क्या?
मैंने सीधा जवाब दिया, मैं अपनी उस हालत में कठिन काम नहीं कर सकती। मैं दौड़-दौड़कर खेल नहीं सकती।

मेरे पापा ने पूछना जारी रखा, इसका मतलब है कि तुम कहना चाहती हो कि ऐसे समय में तुम शारीरिक और मानसिक वजहों से शारीरिक गतिविधियों के लिए सक्षम नहीं हो?
मैंने कहा, हे भगवान, पापा आप समझते क्यों नहीं? यह चिढ़ पैदा करने वाला और तकलीफदेह है। यदि कुछ हो जाएगा तो क्या होगा?

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इस तरह से महिला दिवस के मौके पर स्वरा भास्कर ने अपने पीरियड्स के शुरुआती अनुभव को बताया, जिसमें उनका आत्मविश्वास बढा़ने में उनके पिता का अहम रोल रहा।


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