Move to Jagran APP

राजस्थान की 25 विधानसभा सीटों पर कांग्रेस और भाजपा की नजर

कांग्रेस और भाजपा दोनों दलों के नेताओं का मानना हे कि राजस्थान की सीटों पर हार और जीत का गणित चौंकाने वाला हो सकता है।

By BabitaEdited By: Published: Fri, 07 Sep 2018 01:08 PM (IST)Updated: Fri, 07 Sep 2018 05:15 PM (IST)
राजस्थान की 25 विधानसभा सीटों पर कांग्रेस और भाजपा की नजर
राजस्थान की 25 विधानसभा सीटों पर कांग्रेस और भाजपा की नजर

जयपुर, जेएनएन। राजस्थान की 25 विधानसभा सीटों पर कांग्रेस और भाजपा दोनों ही दलों की नजर है । ये वे 25 विधानसभा सीटें है, जिन पर साल 2013 के चुनाव में हार-जीत का अंतर पांच हजार से कम वोटों का रहा था। इनमें से अधिकांश कांग्रेस की पारम्परिक सीटें रही है, लेकिन पिछले चुनाव में नरेन्द्र मोदी लहर के चलते भाजपा को सफलता मिली थी। दोनों ही दलों के नेताओं का मानना है कि करीब 3 माह बाद होने वाले विधानसभा चुनाव में भी इन सीटों पर हार और जीत का गणित काफी चौंकाने वाला हो सकता है।

loksabha election banner

मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने भाजपा के फिर से सत्ता में आने के लिए "मिशन-180 " का नारा दिया है । सीएम 200 में से 180 सीटें जीतना चाहती है । वसुंधरा राजे और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष सचिन पायलट इन 25 स्वींग सीटों को जीतने के लिए अपने-अपने ढंग से रणनीति बना रहे है । दोनों ही दलों ने इन सीटों पर  संभावित प्रत्याशियों के नामों पर मंथन करने के साथ ही जातिगत समीकरण और चुनाव अभियान के संचालन को लेकर रणनीति बनाना प्रारम्भ कर दिया है। 

 11 सीटों पर पांच हजार के कम अंतर से हारी भाजपा 

साल,2013 के विधानसभा चुनाव में 11 विधानसभा सीटें वे थी,जिन पर भाजपा के प्रत्याशी पांच हजार से भी कम वोटों के अंतर से हारे थे । इनमें से दो सीटों पर राजपा प्रत्याशी,दो सीटों पर निर्दलीय और पांच सीटों पर कांग्रेस प्रत्याशी चुनाव जीते थे । इनमें लालसोट, सिकराय, झाड़ोल, लूणकरणसर, कोलायत, सादुलपुर, फतेहपुर, दांतारामढ़, बाड़ी, आमेर और कोलायत सीटें शामिल है। अब भाजपा इन सीटों को लेकर विशेष रणनीति बना रही है । वहीं कांग्रेस ने इन सीटों पर चुनाव जीतने के समीकरणों को लेकर कसरत करना प्रारम्भ कर दिया है । 

14 सीटों पर भाजपा प्रत्याशी पांच हजार से कम अंतर से जीते थे 

इन सीटों में आदिवासी अंचल की सागवाड़ा, कुशलगढ़, डूंगरपुर, गोगुन्दा एवं निम्बाहेड़ा शामिल है । सादूलशहर, श्रीकरणपुर, शाहपुरा, आदर्शनगर, थानागाजी, मसूदा, जैसलमेर,कामा और रामगढ़ सीटों पर भी पांच हजार से कम वोटों से भाजपा प्रत्याशी जीते थे । ये वे सीटें है जो पारम्परिक रूप से कांग्रेस की मानी जाती थी,लेकिन मोदी लहर में भाजपा चुनाव ने इन पर कब्जा किया था । इन 14 सीटों को अपने पक्ष में करने को लेकर कांग्रेस और भाजपा दोनों ही दल अपनी-अपनी रणनीति बना रहे है । 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.