परिवादवाद पर अखिलेश यादव का दो साल बाद U-Turn, पत्नी डिंपल को दिया लोकसभा का टिकट
करीब दो वर्ष पहले पत्नी तथा कन्नौज से सांसद डिंपल यादव को चुनाव में न उतरने की घोषणा करने वाले अखिलेश यादव ने महिला दिवस पर कल डिंपल यादव को लोकसभा के टिकट का तोहफा दिया है।
लखनऊ, जेएनएन। बहुजन समाज पार्टी व राष्ट्रीय लोकदल के साथ उत्तर प्रदेश में गठबंधन पर लोकसभा के चुनावी मैदान में उतरे समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने परिवारवाद पर यू टर्न लिया है। करीब दो वर्ष पहले पत्नी तथा कन्नौज से सांसद डिंपल यादव को चुनाव में न उतरने की घोषणा करने वाले अखिलेश यादव ने अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर कल डिंपल यादव को लोकसभा के टिकट का तोहफा दिया है।
इंटरनेशनल वूमेन डे पर समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी अपनी पार्टी की महिला नेताओं को नायाब तोहफा दिया है। उन्होंने पत्नी डिंपल यादव के साथ ही दो अन्य को लोकसभा का टिकट दिया। डिंपल यादव को समाजवादी पार्टी उनकी पुरानी सीट कन्नौज से ही मैदान में उतार रही है। इसी तरह हरदोई से ऊषा वर्मा और लखीमपुर से पूर्वी वर्मा को प्रत्याशी घोषित किया है। हरदोई सुरक्षित सीट से 1998, 2004 व 2009 में लोकसभा का चुनाव जीतने वाली ऊषा वर्मा पर समाजवादी पार्टी ने भरोसा जताया है।
समाजवादी पार्टी से राज्यसभा सदस्य रवि वर्मा की बेटी पूर्वी वर्मा को समाजवादी पार्टी ने लखीमपुर खीरी से अपना प्रत्याशी बनाया है। आज सुबह छह सीट पर और शाम को तीन सीट पर अपने प्रत्याशी का नाम फाइनल किया है। अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव कन्नौज से लोकसभा का चुनाव लड़ेंगी। तमात कयासों के बीच सपा मुखिया अखिलेश यादव ने डिम्पल यादव को कन्नौज का प्रत्याशी घोषित कर दिया है। पहले यहां से अखिलेश यादव के चुनाव लडऩे की अटकलें थीं। अब पार्टी ने 37 सीट पर नौ प्रत्याशियों का नाम फाइनल कर दिया है।
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने करीब दो साल पहले ऐलान किया था कि उनकी पत्नी डिंपल यादव 2019 में लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगी। उस समय परिवारवाद का आरोप लगने पर उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ऐलान किया था कि उनकी पत्नी साल 2019 का लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगी। कल उन्होंने ही एक ट्वीट से लोकसभा प्रत्याशियों की सूची जारी की, तो उसमें डिंपल यादव का भी नाम था। समाजवादी पार्टी ने डिंपल यादव को एक बार फिर से उत्तर प्रदेश के कन्नौज से लोकसभा चुनाव लड़ाने का ऐलान किया है।
दो साल बाद पलटे अखिलेश यादव
करीब दो साल पहले परिवारवाद का आरोप लगने पर उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा था कि अगर हमारा परिवारवाद है, तो हम तय करते हैं कि अगली बार हमारी पत्नी डिंपल यादव चुनाव नहीं लड़ेंगी। अखिलेश यादव ने 24 सितंबर 2017 को छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में एक सवाल के जवाब में कही थी। इस दौरान अखिलेश यादव ने यह भी दावा किया था कि अब उनकी पार्टी में परिवारवाद नहीं रहेगा।