Election 2019: तृणमूल कांग्रेस के सब्यसाची को बारासात लोकसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार बनाया जा सकता है
खबर है कि सब्यसाची दत्त उसी दिन पीएम की मौजूदगी में आधिकारिक रूप से भाजपा में शामिल हो सकते हैं। हालांकि सब्यसाची ने इसका खंडन करते हुए कहा कि वो तृणमूल में ही रहेंगे।
जागरण संवाददाता, कोलकाता। भाजपा नेता मुकुल राय से नजदीकियों को लेकर तृणमूल कांग्रेस से अलग थलग चल रहे विधायक और विधाननगर नगर निगम के मेयर सब्यसाची दत्त के भाजपा में शामिल होने की अटकलें फिर बढ़ गई है।
सूत्रों की मानें तो आगामी तीन अप्रैल को प्रधानमंत्री (पीएम) नरेंद्र मोदी कोलकाता स्थित ब्रिगेड परेड ग्राउड में आयोजित भाजपा की सभा को संबोधित करेंगे। खबर है कि सब्यसाची दत्त उसी दिन पीएम की मौजूदगी में आधिकारिक रूप से भाजपा में शामिल हो सकते हैं। हालांकि सब्यसाची ने इसका खंडन करते हुए कहा कि वो तृणमूल में ही रहेंगे।
मालूम हो कि विगत दिनों भाजपा नेता मुकुल राय द्वारा सब्यसाची दत्त के घर पुरी-आलूदम और खीर खाने के बाद से ही उनके (सब्यसाची) के भाजपा में जाने की अटकलें तेज हो गई थी। शोर मची थी कि सब्यसाची को बारासात लोकसभा सीट से भाजपा का उम्मीदवार बनाया जा सकता है, लेकिन ऐसा हुआ नहीं। तब तृणमूल सुप्रीमो ममता बनर्जी भी काफी नाराज हुई थीं। उनके निर्देश पर वरिष्ठ नेताओं, कोलकाता के मेयर व मंत्री फिरहाद हकीम, ज्योतिप्रिय मल्लिक और सुजीत बसू सरीखे नेताओं ने सब्यसाची के साथ मुलाकात की। उनकी उपस्थिति में सब्यसाची दत्त को सफाई देनी पड़ी थी कि वो तृणमूल में हैं और रहेंगे।
लेकिन इलाके में आयोजित एक होली मिलन समारोह में उन्होंने मेयर-विधायक नहीं रहने पर भी लोगों के दिलों में रहने, भारत माता की जय के नारे लगाने और दोबारा आने पर फिर से मुकुल राय को पुरी-आलूदम खिलाने के बयान से पार्टी काफी नाराज है। यही कारण है कि गत रविवार को तृणमूल विधायक सुजीत बसु की अगुवाई में विधाननगर में ही आयोजित पार्टी की होली मिलन समारोह में सब्यसाची दत्ता को न्यौता नहीं दिया गया। जबकि उक्त कार्यक्रम खुद सब्यसाची दत्त के वार्ड में हुआ था।
गौरतलब हो कि सब्यसाची दत्त की तरह ही तृणमूल का सिपाही होने का दावा करने वाले भाटपाड़ा के विधायक अर्जुन सिंह पार्टी छोड़ भाजपा में शामिल हो गए थे। उसके बाद उन्होंने दावा किया कि उनकी तरह की तृणमूल से 100 और विधायक पार्टी छोड़ भाजपा में शामिल होने की तैयारी में है। इस खबर के बाद से पार्टी सुप्रीमो ममता बनर्जी की बेचैनी बढ़ी हुई है।