चुनाव में वागड में दमखम दिखा चुकी बीटीपी अब उदयपुर लोकसभा सीट पर लड़ेगी चुनाव
चुनाव में वागड में दमखम दिखा चुकी बीटीपी अब उदयपुर में भी सक्रिय हो चुकी है। लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले ही बीटीपी ने पंचायत स्तर पर पदाधिकारियों की नियुक्ति शुरू कर दी है।
उदयपुर, जेएनएन। पहले ही चुनाव में वागड अंचल में दमखम दिखा चुकी भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) ने अब उदयपुर में भी सक्रिय हो चुकी है। लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले ही बीटीपी ने उदयपुर ग्रामीण क्षेत्रों में पंचायत स्तर पर पदाधिकारियों की नियुक्ति शुरू कर दी है। साथ ही संकेत दिए हैं कि वह उदयपुर संभाग की आदिवासी बहुल सीट डूंगरपुर-बांसवाड़ा के साथ उदयपुर लोकसभा सीट पर अपना प्रत्याशी उतारेगी। संभाग की चार सीटों में ये दो सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं।
बीटीपी नेता हीरालाल पारगी का कहना है कि उदयपुर ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र में पंचायत स्तर पर पदाधिकारियों की नियुक्ति कर उन्हें चुनाव प्रचार कार्य में जुटने के लिए कहा गया है। फिलहाल बीटीपी ने बडग़ांव, कुराबड़, गिर्वा पंचायत समिति क्षेत्रों में ही नहीं बल्कि मंडल स्तर पर 21-21 सदस्यों की कार्यकारिणी का गठन किया है। बीटीपी आगामी बीस मार्च से उदयपुर लोकसभा क्षेत्र में सघन चुनाव प्रचार के लिए गांव-गांव, ढाणी-ढाणी जाएगी।
वह अपने चुनाव प्रचार अभियान की शुरूआत जयपालसिंह मुंडा की शहादत दिवस से शुरू करेंगे। इस दिन शहीद जयपाल मुंडा सहित 96 साल पहले डढ़वाल में शहीद हुए 1200 से अधिक आदिवासियों को श्रद्धांजलि देंगे। बीटीपी ने बडग़ांव पंचायत में प्रकाश और चमनलाल, गिर्वा पंचायत क्षेत्र में रोशन मीणा, नरेंद्र मीणा, किशन पारगी ताराचंद और कुराबड़ क्षेत्र में नाथूलाल रावत और कालू रावत के नेतृत्व में जिम्मेदारी सौंपी है। जो क्षेत्र में बीटीपी के लिए सदस्यता अभियान शुरू करेंगे। बीटीपी के लिए उदयपुर संभाग से पूर्व में कांग्रेस और भाजपा में रहे नेताओं में से डॉ. कुसुम मेघवाल, बीएन छानवाल, प्रवीण परमान, महेंद्र अहारी, ललित खराड़ी, संपत बागड़ी सक्रिय हो चुके हैं।
गौरतलब है कि बीटीपी ने हाल ही संपन्न विधानसभा चुनाव में डूंगरपुर जिले की चार विधानसभाओं में से दो सीटों पर जीत दर्ज कर भाजपा और कांग्रेस को हैरान कर दिया। जबकि एक विधानसभा सीट पर बीटीपी प्रत्याशी दूसरे स्थान पर रहा।