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Jharkhand Assembly Election 2019: भाजपा की अंतिम सूची का इंतजार, होल्ड हैं कई सीटें; संभावितों की नजरें टिकीं

Jharkhand Assembly Election 2019 भाजपा ने प्रत्याशियों की चार सूची जारी की है लेकिन अभी भी कई सीटें होल्ड पर है। भाजपा ने नौ सीटों पर प्रत्याशी की घोषणा नहीं की है।

By Alok ShahiEdited By: Published: Sat, 16 Nov 2019 02:12 PM (IST)Updated: Sat, 16 Nov 2019 02:12 PM (IST)
Jharkhand Assembly Election 2019: भाजपा की अंतिम सूची का इंतजार, होल्ड हैं कई सीटें; संभावितों की नजरें टिकीं
Jharkhand Assembly Election 2019: भाजपा की अंतिम सूची का इंतजार, होल्ड हैं कई सीटें; संभावितों की नजरें टिकीं

रांची, राज्य ब्यूरो। Jharkhand Assembly Election 2019 झारखंड में विधानसभा चुनाव के मद्देनजर सत्तापक्ष भाजपा में टिकटों को लेकर अभी भी स्थिति पूरी तरह साफ नहीं हुई है। भाजपा ने प्रत्याशियों की चार सूची जारी की है लेकिन अभी भी कई सीटें होल्ड पर है। भाजपा ने नौ सीटों पर प्रत्याशी की घोषणा नहीं की है। हालांकि इसके लिए भाजपा की सहयोगी आजसू पार्टी का रूख भी बड़ा कारण है।

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पहले तय हुआ था कि दोनों दल तालमेल का विधानसभा का चुनाव लड़ेंगे लेकिन आजसू पार्टी ने एकतरफा 19 सीटों पर प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है। भाजपा के लिए आजसू का रूख धर्मसंकट पैदा करने वाला है। वैसे आजसू पार्टी के रवैये ने स्पष्ट कर दिया है कि अब वह पीछे मुड़कर नहीं देखेगा। उधर भाजपा ने उन सीटों पर भी प्रत्याशियों उतारने आऱंभ कर दिए हैं जो आजसू के खाते में दी गई है।

शनिवार को भाजपा ने तीन सीटों के लिए प्रत्याशियों के नाम का एलान कर दिया लेकिन अभी भी जमशेदपुर पश्चिमी से मंत्री सरयू राय की सीट पर कोई फैसला नहीं हुआ है। बताते हैं कि उन्हें टिकट नहीं मिलने के पीछे मुख्यमंत्री रघुवर दास की नाराजगी है। रघुवर दास के कैबिनेट में मंत्री रहते हुए सरयू राय हमेशा नीतिगत फैसलों का विरोध करते रहे। वे कैबिनेट की बैठकों से दूरियां बनाने लगे। उन्होंने सरकार द्वारा शराब बेचने समेत अन्य कई ऩीतियों पर खुलेआम आपत्ति दर्ज कराई थी।

सरयू राय ने राज्य सरकार के महाधिवक्ता अजीत कुमार के कामकाज के तौर-तरीके के खिलाफ थे। उन्होंने खदानों के आवंटन और उनसे वसूले जाने वाले दंड में महाधिवक्ता की भूमिका को कठघरे में खड़ा किया था। कुल मिलाकर सरयू राय के रूख से कई दफा सरकार की फजीहत हो चुकी है। यही वजह है कि उन्हें टिकट देने पर फैसला लेने में देरी की जा रही है। ज्यादा संभावना इस बात की है कि उन्हें टिकट से वंचित किया जा सकता है।


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