सर्व आदिवासी समाज में दो फाड़, एक गुट ने दिया कांग्रेस को समर्थन
चुनाव से पहले कई बार यह बात उठी कि समाज खुद चुनाव लड़ेगा।
रायपुर । चुनाव लड़ने की बात पर छत्तीसगढ़ सर्व आदिवासी समाज में दो फाड़ हो हो गया है। एक गुट ने कांग्रेस को समर्थन देने का एलान किया है तो दूसरा गुट कह रहा है कि हम क्यों कांग्रेस या भाजपा के पिछलग्गू बनें। हम तो 17 सीटों पर चुनाव लड़ेंगे। सर्व आदिवासी समाज विभिन्न् मुद्दों को लेकर लगातार आंदोलित रहा। चुनाव से पहले कई बार यह बात उठी कि समाज खुद चुनाव लड़ेगा।
फिर यह कहा कि सामाजिक बैनर का इस्तेमाल चुनाव में नहीं किया जा सकता इसलिए चुनाव नहीं लड़ेंगे। एक बार समाज ने सर्व समाज की बैठक बुलाकर 40 सीटों पर प्रत्याशी उतारने की बात भी कही। आखिरकार कुछ दिन पहले ट्राइबल पार्टी का एलान किया गया।
यह पार्टी 17 सीटों पर प्रत्याशी उतार रही है। गुरुवार को पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बीपीएस नेताम ने विज्ञप्ति जारी कर कहा- हम समाज के सभी लोगों को आगाह करते हैं कि जो पार्टी नई आई है और सरकार बनाने का दावा कर रही है उसके झांसे में नहीं आना है। उस पार्टी से हमारा कोई संबंध नहीं है। जब तक हम किसी बड़ी पार्टी से हाथ नहीं मिलाएंगे तब तक कुछ हासिल नहीं होने वाला।
समाज को बांटने और बिखेरने वाले समाज के लोग ही समाज के साथ विश्वासघात कर रहे हैं। नेताम ने कहा कि सर्व आदिवासी समाज ने 19 फरवरी को महासम्मेलन में घोषणा की थी कि जो भी पार्टी हमारे 21 सूत्रीय मांगों का समर्थन करेगी हम उसे समर्थन देंगे। सिर्फ कांग्रेस पार्टी ने हमसे चर्चा करके हमारी मांगों का समर्थन किया।
नेता प्रतिपक्ष ने हाल ही में जनसभा में पांचवीं अनुसूची और पेसा कानून लागू करने की बात कही है। हमारा समर्थन कांग्रेस को ही मिलेगा। नेताम ने यह भी कहा कि हमारे समाज के कार्यकारी अध्यक्ष नई पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बन गए हैं और समाज के लोगों को गुमराह कर रहे हैं।
नेताम के आरोपों पर सर्व आदिवासी समाज के कार्यकारी अध्यक्ष और नव गठित ट्राइबल पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बीएस रावटे ने कहा है कि हमसे पूछकर निर्णय नहीं लिया गया। हम कांग्रेस और भाजपा के पीछे नहीं जाएंगे। निर्णय हो चुका है। सभी 17 सीटों पर पूरी ताकत से लड़ेंगे और सामाजिक एकता की ताकत राजनीतिक दलों को दिखा देंगे।