Bihar Assembly Election 2020: लौहगड़ा पर पुल नहीं बनने से लोग हो रहे परेशान, प्रतापगंज बाजार के पास होना था निर्माण
लौहगड़ा नदी पर विभागीय उदासीनता के कारण पुल की ढलाई नहीं हो पाने की वजह से दोनों किनारों के हजारों लोगों को बरसात के महीने में कठिनाईयों का सामना करना पड़ रहा है। जबकि अधूरे इस पुल के दोनों किनारे पंचायत स्तर से ईंट सोङ्क्षलग का निर्माण कार्य पूर्ण है।
सुपौल, जेएनएन। बाजार से सटे लौहगड़ा नदी के दोनों किनारों की आबादी को जोडऩे व यातायात की सुविधा बहाल करने के लिए प्रतापगंज अस्पताल के सामने 2009-10 में जिला पार्षद मद से दो स्पेन पुल की स्वीकृति प्रदान की गई थी। पुल निर्माण का कार्य भी प्रारंभ हुआ। पुल का स्पेन भी बनकर तैयार हो गया। बावजूद विभागीय उदासीनता के कारण पुल की ढलाई नहीं हो पाने की वजह से दोनों किनारों के हजारों लोगों को बरसात के महीने में कठिनाईयों का सामना करना पड़ रहा है। जबकि अधूरे इस पुल के दोनों किनारे पंचायत स्तर से ईंट सोलिंग का निर्माण कार्य पूर्ण है।
भवानीपुर दक्षिण पंचायत के नदी से पूरब स्थित लोगों को हो रही सबसे अधिक परेशानी
अधूरे पुल के कारण भवानीपुर दक्षिण पंचायत के नदी से पूरब स्थित वार्ड नंबर 12,13,14 एवं पश्चिम भाग के लोगों को इस पार से उस पार तक जाने के लिए लंबी दूरी तय करनी पडती है। इतना ही नहीं भवानीपुर दक्षिण पंचायत के अतिरिक्त तेकुना पंचायत के इमामपट्टी, गोङ्क्षवदपुर पंचायत के गढिय़ा, छातापुर प्रखंड के मधुबनी, उधमपुर आदि गांवोंं के लोगों को भी प्रतापगंज अस्पताल तक पहुंचने का यह सुलभ मार्ग है।
2008 में कोसी की बाढ़ ने इन गांवों को अपने आगोश में समेट कई गांवों के संपर्क की दूरी ही बढ़ा दिया है। जिसके कारण आज भी इन गावों से विकास की रोशनी काफी पीछे छूट गई है। लोग इसकी कई बार शिकायत भी कर चुके हैं।
भले ही कभी अधूरे उक्त पुल के नए अतिरिक्त स्पेन के बढ़ाए जाने व ढलाई कार्य की स्वीकृति की बात ग्रामीणों से कहा जा रहा हो मगर आमलोगों की तकलीफ का आलम यह है कि बरसात प्रारंभ होते ही नदी के आर-पार के लोगों का संपर्क मुश्किल हो जाता है। चूंकि यह नदी बारहमासी नदी है। ऐसे में नदी की गहराई और जल-जमाव का स्तर भी बना रहता है।