हिसार, अनुराग अग्रवाल। Orbital Railway Corridor Latest News हरियाणा ने करीब दस साल पहले जिस आर्बटिल रेल कॉरिडोर का सपना देखा था, वह अगले पांच वर्षो में पूरा होने जा रहा है। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली पर यातायात का दबाव कम करने तथा दक्षिण हरियाणा के लोगों को चंडीगढ़ जाने के लिए दिल्ली में इंट्री करने से रोकने वाला यह कॉरिडोर व्यापार की दृष्टि से भी काफी अहम रहने वाला है। यह प्रोजेक्ट भले ही पिछली सरकारों के कार्यकाल का हो, लेकिन मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने इसे अपनी कैबिनेट में मंजूर कर केंद्र सरकार को भेजा तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कैबिनेट ने भी इस पर स्वीकृति की मुहर लगाते देर नहीं की। यह आर्बटिल रेल कॉरिडोर हरियाणा और दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में सड़क तंत्र के साथ-साथ रेल तंत्र को सुदृढ़ करने में सहायक साबित होगा।

लंबे अरसे से विवादों में रहे कुंडली-मानेसर एक्सप्रेस-वे को पूरा करवाने के उपरांत मुख्यमंत्री ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में यातायात को सुगम बनाने के लिए कई परियोजनाएं केंद्र सरकार से स्वीकृत कराई हैं। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने हरियाणा आर्बटिल रेल कॉरिडोर परियोजना की मांग प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समक्ष नवंबर 2018 में उस समय रखी थी, जब प्रधानमंत्री सुल्तानपुर (गुरुग्राम) में कुंडली-मानेसर-पलवल एक्सप्रेस-वे का उद्घाटन करने आए थे। जुलाई 2019 में हरियाणा मंत्रिमंडल ने इस योजना को स्वीकृति प्रदान कर दी थी।

मुख्यमंत्री की पहल पर हरियाणा में हरियाणा रेल इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास निगम लिमिटेड नाम से संयुक्त कंपनी बनाई गई है, जिसके अध्यक्ष लोक निर्माण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव राजीव अरोड़ा हैं। रेलवे व हरियाणा सरकार के इस संयुक्त उद्यम के माध्यम से हरियाणा में सार्वजनिक-निजी भागीदारी मोड में विभिन्न रेलवे प्रोजेक्ट क्रियान्वित किए जा रहे हैं। इस परियोजना के पूरा होने से एनसीआर का औद्योगिक विकास और तेज होगा। लोक निर्माण विभाग के मंत्री के नाते उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने भी इस परियोजना को दिल्ली में यातायात का दबाव कम करने वाला बताया है।

राजेश खुल्लर विश्व बैंक में करेंगे भारत का प्रतिनिधित्व : विश्व बैंक में कार्यकारी निदेशक के तौर पर भारत समेत कई देशों का प्रतिनिधित्व करने वाले हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल के प्रधान सचिव राजेश खुल्लर विलक्षण प्रतिभा के धनी अधिकारी हैं। खुल्लर की नियुक्ति इस पद पर तीन साल के लिए हुई है। वर्ष 1988 बैच के आइएएस अधिकारी राजेश खुल्लर का कार्यालय वाशिंगटन डीसी में होगा। खुल्लर 2011 से 2015 तक केंद्र में प्रतिनियुक्ति पर रहे हैं। मुख्यमंत्री मनोहर लाल की पहल पर खुल्लर 26 फरवरी 2015 को हरियाणा वापस लौटे तथा मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव बने। उस समय संजीव कौशल सीएम के प्रधान सचिव थे। मुख्यमंत्री ने नवंबर 2015 में खुल्लर को अपना प्रधान सचिव नियुक्त कर दिया था।

राजेश खुल्लर मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव पद पर करीब पांच साल तक सेवाएं देते रहे। राजेश खुल्लर की गिनती हरियाणा के योग्य और ताकतवर अधिकारियों में होती है। मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव पद पर रहते हुए उन्होंने एक साथ 22 विभागों के कामकाज की जिम्मेदारी संभाली। खुल्लर केंद्र सरकार में वित्त मंत्रलय में ज्वाइंट सेक्रेटरी रह चुके हैं, जहां राष्ट्रीय स्तर पर पीपीपी और बेसिक इंफ्रास्ट्रक्चर के मुद्दों पर उन्होंने काम किया। वर्ष 2008 में उन्होंने एचआइवी एड्स से जुड़े डर और सामाजिक वर्जनाओं पर एक दिलचस्प किताब वाइरल मैच भी लिखी, जो उस समय काफी चíचत रही।

विश्व बैंक समूह के चार संस्थानों का प्रतिनिधित्व करने वाले कार्यकारी निदेशकों के चार बोर्ड हैं। इंटरनेशनल बैंक फॉर रिकंस्ट्रक्शन एंड डेवलपमेंट, अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसी, अंतरराष्ट्रीय वित्त निगम और बहुपक्षीय निवेश गारंटी एजेंसी। इन बोर्डो में काम करने वाले कार्यकारी निदेशक आमतौर पर समान होते हैं। कार्यकारी निदेशकों के ये बोर्ड विश्व बैंक समूह के सामान्य संचालन के लिए जिम्मेदार हैं और सदस्यों का प्रतिनिधित्व बोर्ड ऑफ गवर्नर्स द्वारा किया जाता है। इन बोर्ड में 25 कार्यकारी निदेशक होते हैं और एक अध्यक्ष होता है। हाल ही में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन के अधिकारी डेविड मालपास को विश्व बैंक के 13वें अध्यक्ष के तौर पर चुना गया। विश्व बैंक का सबसे बड़ा शेयरधारक इसके अध्यक्ष का नाम प्रस्तावित करता है। राजेश खुल्लर के जाने से न केवल हरियाणा, बल्कि भारत का विश्व बैंक में समुचित प्रतिनिधित्व रहेगा।

[स्टेट ब्यूरो चीफ, हरियाणा]