मदद के लिए एसडीएम उतर गए कार से
लॉकडाउन में दिल्ली छोड़कर दूसरे प्रदेशों में जाने के लिए कामगार हर किसी के आगे मदद क
लॉकडाउन में दिल्ली छोड़कर दूसरे प्रदेशों में जाने के लिए कामगार हर किसी के आगे मदद के लिए हाथ फैला रहे थे। किसी ने उनकी मदद की तो कोई मुंह फेरकर चलता बना। कहते हैं जिसका कोई नहीं होता है, उसका खुदा होता है। झारखंड की एक कामगार महिला बिरासनी सड़कों पर दर-दर की ठोकर खा रही थी, लेकिन किसी ने उसकी मदद नहीं की। वेस्ट विनोद नगर से अपनी कार से गुजर रहे एसडीएम संदीप दत्ता की जैसे ही नजर उस महिला पर पड़ी तो वे अपनी कार से उतरे और महिला के पास पहुंचकर उसकी आपबीती सुनी। महिला ने एसडीएम से कहा कि साहब गरीब हूं, मुझे अपने बच्चों के पास झारखंड जाना है। अकेली हूं, कोई साथ नहीं दे रहा। एसडीएम ने महिला को फौरन अपनी कार में बैठाया और वहां से स्क्रीनिग सेंटर भेजा और उसी दिन विशेष ट्रेन से झारखंड के लिए रवाना कर दिया। यातायात नियम हो रहे हैं हवा
केंद्र सरकार ने लॉकडाउन में वाहन चालकों के लिए कुछ नियम तय किए हैं, लेकिन लोग अपनी सुरक्षा के साथ खुद ही खिलवाड़ करने में लगे हुए हैं। दो पहिया वाहनों के लिए एक ही सवारी और तीन पहिया के लिए चालक समेत दो सवारी की अनुमति दी हुई है। कार में चालक के अलावा दो सवारियां बैठ सकती हैं, लेकिन लोग इन नियमों को धुएं की तरह उड़ा रहे हैं। दिल्ली यातायात पुलिस की संख्या भी इतनी नहीं है कि वह सख्ती से नियमों का पालन करवा सके। दिल्ली में लगातार कोरोना मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है, लेकिन जैसे-जैसे समय बढ़ता जा रहा है वैसे ही लोगों के दिलों से कोरोना का डर निकल रहा है, लेकिन उनका न डरना उनके साथ ही दूसरे लोगों के लिए भी घातक साबित हो रहा है। लोगों के आगे पुलिस बेबस है।
पुराना खाता बंद करके नया चालू कर दिया
दिल्ली सरकार लॉकडाउन में राशन खाताधारकों के साथ ही ऐसे लोगों को भी निशुल्क राशन दे रही है जिनके पास राशनकार्ड नहीं है। ऐसे लोगों को सरकारी स्कूलों में राशन वितरित किया जा रहा है। राशन लेने के लिए लोग खाद्य एवं आपूर्ति विभाग की वेबसाइट पर आवेदन करके ई-कूपन निकाल रहे हैं, ई-कूपन लेकर लोग स्कूलों के चक्कर काट रहे हैं। चौहान बांगर स्थित निगम स्कूल में अप्रैल महीने का करीब 1500 लोगों को राशन बंटा नहीं है और स्कूल वालों ने मई का राशन बांटना शुरू कर दिया। जब लोगों ने शिक्षकों से कहा कि अप्रैल का राशन कब मिलेगा तो उनका जवाब था कि पुराना खाता बंद हो गया, नया खाता शुरू हो गया है। अप्रैल में भी कुछ को मिला अब जून का बंटना शुरू हो गया। राशन न मिलने पर लोग शिक्षकों पर भड़ास निकाल रहे हैं।
बंद होने लगे स्क्रीनिग सेंटर
यमुनापार में धीरे-धीरे एक-एक करके स्क्रीनिग सेंटर बंद होते जा रहे हैं। कई दिनों तक यमुनापार के स्क्रीनिग सेंटरों पर लोगों को हुजूम लगा रहा। ईस्ट और वेस्ट विनोद नगर के स्क्रीनिग सेंटर पर नौबत यहां तक आ गई थी कि पुलिस को आधी रात में लोगों को भगाने के लिए डंडे मारने पड़े थे। आखिर में आकर प्रशासन ने सेंटर के बाहर नोटिस चस्पा कर दिया कि रेलवे सेवा शुरू हो गई है, जिसे भी दूसरे प्रदेश में जाना है वह रेलवे से टिकट लेकर वहीं पर अपनी स्क्रीनिग करवाकर जा सकता है। इसके बाद खजूरी के स्क्रीनिग सेंटर में नोटिस चस्पा किया गया कि यहां पर कोरोना का मरीज सामने आने पर इस सेंटर को बंद किया जा रहा है। प्रशासन का तर्क है कि अब दूसरे प्रदेशों में जाने वाले श्रमिक न के बराबर रह गए हैं, इसलिए सेंटर बंद किए जा रहे हैं।