Delhi: खालिस्तान के समर्थन में स्लोगन लिखने वाले दो गिरफ्तार, SFJ के पन्नू ने दो लाख देने का किया था वादा
गणतंत्र दिवस से एक सप्ताह पहले पश्चिमी दिल्ली इलाके में खालिस्तान समर्थन स्लोगन लिखने के मामले में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने दो आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार आरोपितों के नाम तिलक नगर निवासी विक्रम सिंह और राजस्थान के भरतपुर निवासी बलराम सिंह है।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। गणतंत्र दिवस से एक सप्ताह पहले पश्चिमी दिल्ली इलाके में खालिस्तान समर्थन स्लोगन लिखने के मामले में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने दो आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार आरोपितों के नाम तिलक नगर निवासी विक्रम सिंह और राजस्थान के भरतपुर निवासी बलराम सिंह है।
पूछताछ में पता चला है कि दोनों ने 18, 19 और 23 दिसंबर की मध्यरात्रि विकासपुरी, जनकपुरी, पश्चिम विहार, पीरागढ़ी, मीराबाग समेत कई स्थानों पर खालिस्तान समर्थक स्लोगन लिखे थे। इसके बाद सिख फार जस्टिस (एसएफजे) के प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू ने वीडियो जारी कर दावा किया था कि ये स्लोगन एसएफजे कैडरों द्वारा लिखे गए हैं, खालिस्तानी समर्थक दिल्ली पहुंच गए हैं और वे दिल्ली को निशाना बनाएंगे।
आगे कहा था कि गणतंत्र दिवस पर दिल्ली में खालिस्तानी झंडा लहराएंगे। इस मामले में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने देश विरोधी गतिविधि व आपराधिक साजिश रचने की धाराओं के तहत दोनों के खिलाफ मामला दर्ज किया था।
विशेष आयुक्त स्पेशल सेल हरगोविंद सिंह धालीवाल के मुताबिक उक्त स्लोगन अंग्रेजी और गुरुमुखी में लिखा गया था। जिसमें खालिस्तान जिंदाबाद, एसएफजे 1984, पंजाब बनेगा खालिस्तान, रेफरेंडम 2020 वोट फार खालिस्तान था। उक्त नारे दीवारों पर लिखे गए थे।
गणतंत्र दिवस से कुछ दिन पहले इस तरह का मामला सामने आने पर एसीपी ललित मोहन नेगी के नेतृत्व में इंस्पेक्टर अरविंद व रविंदर जोशी की टीम को सौंपी गई थी। पुलिस टीम ने घटनास्थल के आसपास के लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज व लोगों से पूछताछ के आधार पर दोनों को पश्चिमी दिल्ली से गिरफ्तार कर लिया।
दो लाख देने का किया था
पूछताछ में दोनों ने बताया कि वे पहले एयरोसिटी के एक नामी होटल में चालक की नौकरी कर रहे थे। विक्रम सिंह अमेरिका स्थित एसएफजे के एक वरिष्ठ कैडर के संपर्क में था। वह उसे कई वर्षों से जानता है। एसएफजे के इस कैडर ने विक्रम से संपर्क कर खुद को सिख फार जस्टिस (एसएफजे) के प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू का करीबी सहयोगी बताया था।
उसने विक्रम को दो लाख रुपये देने का वादा कर पश्चिमी दिल्ली के कई इलाकों में स्लोगन लिखने का काम सौंपा था। इसके बाद विक्रम ने अपने साथी बलराम को पैसों का लालच देकर अपनी साजिश में शामिल कर लिया था। आरोपितों का आरोप है कि दोनों को दो लाख रुपये देने का वादा किया गया था लेकिन एसएफजे ने उन्हें केवल दो हजार रुपये दिए।
वीडियो बनाकर इंटरनेट मीडिया पर किया प्रसारित
विक्रम सिंह ने पश्चिमी दिल्ली की एक दुकान से बहुरंगी स्प्रे खरीदा था। उसके बाद मध्य रात्रि में विक्रम और बलराम ने दीवारों पर स्लोगन लिखा था। उक्त वीडियो बनाकर इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित किया। इनके साथ एसएफजे के कैडरों को भी उक्त वीडियो भेजा था।