Delhi Buses E-Ticket: मोबाइल ऐप के जरिये दिल्ली की बसों में ले सकेंगे ई-टिकट, नवंबर से होगी शुरुआत
Delhi Buses E-Ticket दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने कहा है कि इसी साल नवंबर के पहले सप्ताह तक इस मोबाइल ऐप के अंतर्गत सभी क्लस्टर और डीटीसी बसों को कवर करने की है जिससे ज्यादा लोगों को फायदा हो।
नई दिल्ली [संजीव गुप्ता]। Delhi DTC E-Ticket: दिल्ली परिवहन विभाग ने अपनी बसों में संपर्क रहित ई-टिकटिंग ऐप 'चार्टर' के दूसरे चरण के ट्रायल को भी सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है। ऐप का ट्रायल परिवहन मंत्री द्वारा गठित एक विशेष टास्क फोर्स द्वारा कार्यान्वित किया गया, जिसमें परिवहन विभाग, इंद्रप्रस्थ सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइआइटी- दिल्ली), दिल्ली इंटीग्रेटेड मल्टी-मॉडल ट्रांजिट सिस्टम लिमिटेड (डिम्टस), दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) और वलर्ड रिसोर्सेज इंस्टीटयूट के विशेषज्ञ शामिल थे। 7 से 21 सितंबर तक चले दूसरे चरण के ट्रायल में दिल्ली इंटीग्रेटेड मल्टी-मॉडल ट्रांजिट सिस्टम के चार डिपो- दिलशाद गार्डन, कैर डिपो, कुशक नाला डिपो और सुनहरी पुल्ला डिपो के 60 से अधिक मार्गों को कवर किया गया। साथ ही साथ डीटीसी के दो डिपो- हसनपुर डिपो और गाजीपुर डिपो से एक एक रूट कवर किया गया। इस 14 दिन की अवधि में, ऐप के माध्यम से खरीदे गए कुल 51,644 टिकटों में से 79.4 फीसद महिला यात्रियों द्वारा खरीदे गए मुफ्त पिंक टिकट शामिल हैं।
ट्रायल के दौरान ऐप के माध्यम से औसतन 6 फीसद टिकट खरीदे गए, जबकि एसी बसों में ऐप के माध्यम से सात फीसद टिकट खरीदे गए। 'चार्टर' ऐप को आइआइआइटी-दिल्ली की तकनीकी सहायता से विकसित किया गया है। इस ऐप के पहले चरण का ट्रायल रूट नंबर 473 की सभी क्लस्टर बसों में तीन दिनों के लिए किया गया था।
'चार्टर' ऐप को नवंबर 2020 के पहले सप्ताह तक सभी क्लस्टर और डीटीसी बसों में लागू किए जाने की संभावना है। गूगल प्लेस्टोर पर यह एप फुल वर्जन में उपलब्ध है। यात्री चाहें तो ऐप यूआरएल प्राप्त करने के लिए व्हाट्सएप नंबर 9910096264 पर लिख कर भी भेज सकते हैं। परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने कहा कि इस ऐप को यात्रियों से अच्छी प्रतिक्रिया मिली है। हमने उन सभी गड़बड़ियों को ठीक कर लिया है, जिन्हें हमने पिछले परीक्षणों में देखा था। हम टिकट खरीदने के लिए गैर-स्मार्टफोन उपयोगकर्ताओं के लिए भी एक प्रणाली विकसित करने के साथ- साथ दैनिक और मासिक पास धारकों को भी शामिल करने की प्रक्रिया में हैं। हम नवंबर के पहले सप्ताह तक इस ऐप के अंतर्गत सभी क्लस्टर और डीटीसी बसों को कवर करने की उम्मीद कर रहे हैं।
यात्री, बस में चढ़ने के बाद इस मोबाइल ऐप के माध्यम से ई-टिकट ले सकते हैं। यदि कोई यात्री टिकट का किराया जानता है, तो वह ऐप में क्लिक कर सकता है और बस का क्यूआर कोड स्कैन करने के बाद भुगतान विकल्प के द्वारा भुगतान कर टिकट खरीद सकता है। बस रूट और स्टॉप का चयन करने के बाद गंतव्य स्टॉप का चयन करना पड़ता है, फिर बस क्यूआर कोड को स्कैन कर के भुगतान करने के बाद टिकट प्राप्त किया जा सकता है। ऐप स्वचालित रूप से उपयोगकर्ता द्वारा दर्ज किए गए लिंग के आधार पर महिला यात्री के लिए गुलाबी टिकट (नि:शुल्क) का सुझाव देता है। ऐप हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं को सपोर्ट करता है। इस ऐप में एक उपयोगकर्ता बस के सभी स्टॉपेज भी देख सकता है और स्टॉप का नाम लिखकर यह भी देख सकता है कि अगले आधे घंटे में कौन-कौन सी बसें आने वालीं हैं। जैसे ही यात्री अपने गंतव्य पर पहुंचता है, वैसे ही टिकट अमान्य हो जाता है।
Coronavirus: निश्चिंत रहें पूरी तरह सुरक्षित है आपका अखबार, पढ़ें- विशेषज्ञों की राय व देखें- वीडियो