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वायु गुणवत्ता की जांच के लिए NGT ने गठित की टीम

वायु प्रदूषण के मामले में सुनवाई के दौरान नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने एक जांच टीम का गठन किया है। टीम में पर्यावरण एवं वन मंत्रालय, केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण कमेटी व श्रीराम लैबोरेटरी के अधिकारी शामिल होंगे।

By Amit MishraEdited By: Published: Tue, 05 Apr 2016 06:57 PM (IST)Updated: Wed, 06 Apr 2016 07:23 AM (IST)
वायु गुणवत्ता की जांच के लिए NGT ने गठित की टीम

नई दिल्ली। राजधानी में 15 से 30 अप्रैल के बीच दोबारा ऑड-ईवन योजना लागू होने से पहले वायु गुणवत्ता की जांच होगी। मंगलवार को वायु प्रदूषण के मामले में सुनवाई के दौरान नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने एक जांच टीम का गठन किया है। टीम में पर्यावरण एवं वन मंत्रालय, केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण कमेटी व श्रीराम लैबोरेटरी के अधिकारी शामिल होंगे।

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एनजीटी के चेयरमैन स्वतंत्र कुमार की पीठ ने निर्देश दिया कि कमेटी राजधानी में करीब दस स्थानों को चुने और व्यस्त व सामान्य समय में करीब एक हफ्ते तक सैंपल एकत्र कर वायु गुणवत्ता के आंकड़े समेत विस्तृत रिपोर्ट दायर करे।एनजीटी ने राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को आदेश दिया कि केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण कमेटी के साथ विचार-विमर्श कर वायु गुणवत्ता पर विश्लेषण करते हुए विस्तृत रिपोर्ट दे। रिपोर्ट मे प्रदूषण के कारणो के बारे में भी बताया जाए।

पीठ ने कहा कि वायु प्रदूषण को लेकर सुप्रीम कोर्ट मे विचाराधीन मामले पर इसका कोई असर नहीं होगा। वह अपने आदेश को दिल्ली तक सीमित करती है। गौरतलब है कि 18 दिसंबर को एनजीटी ने नए डीजल वाहनों के रजिस्ट्रेशन पर लगाई रोक संबंधी अपने फैसले में फेरबदल करने से इन्कार कर दिया था।


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