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Ayodhya Land Deal: भ्रम फैलाने वालों को करारा जवाब देने की तैयारी, राहुल गांधी समेत अन्य पर दर्ज हो सकता है मानहानि का केस

विहिप के कार्याध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता आलोक कुमार ने बताया कि भारतीय दंड संहिता (आइपीसी) की धारा 499/500 के तहत यह मानहानि का आपराधिक मुकदमा होगा जिसमें दो साल जेल की सजा का प्रावधान है। वहीं दीवानी मामले में मानहानि के आधार पर क्षतिपूर्ति का दावा हो सकता है।

By Mangal YadavEdited By: Published: Tue, 15 Jun 2021 09:27 PM (IST)Updated: Tue, 15 Jun 2021 09:27 PM (IST)
Ayodhya Land Deal: भ्रम फैलाने वालों को करारा जवाब देने की तैयारी, राहुल गांधी समेत अन्य पर दर्ज हो सकता है मानहानि का केस
विहिप के कार्याध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता आलोक कुमार

नई दिल्ली [नेमिष हेमंत]। जमीन खरीद को लेकर उपजे विवाद में श्रीराम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट और विश्व हिंदू परिषद (विहिप) जोरदार पलटवार की तैयारी में हैं। तथ्यों के साथ आरोपों का सिलसिलेवार तो जवाब दिया जा रहा है। अब आरोप लगाने वाले राजनीतिज्ञों को द्वेषपूर्ण व आधारहीन तथ्यों के आधार पर भ्रामक जानकारी प्रसारित कर मंदिर ट्रस्ट की प्रतिष्ठता धूमिल करने के आरोप में मुकदमा भी दर्ज करने की तैयारी है। इसके लिए दोनों संस्थाओं के शीर्ष पदाधिकारियों में मंत्रणा हो रही है। सब कुछ ठीक रहा तो जल्द कांग्रेस पार्टी की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा व वरिष्ठ नेता राहुल गांधी के अलावा आम आदमी पार्टी (आप) नेता व राज्यसभा सदस्य संजय सिंह समेत अन्य के खिलाफ मानहानि का मुकदमा दायर किया जा सकता है।

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विहिप के कार्याध्यक्ष व वरिष्ठ अधिवक्ता आलोक कुमार ने बताया कि भारतीय दंड संहिता (आइपीसी) की धारा 499/500 के तहत यह मानहानि का आपराधिक मुकदमा होगा, जिसमें दो साल जेल की सजा का प्रावधान है। वहीं, दीवानी मामले में मानहानि के आधार पर क्षतिपूर्ति का दावा हो सकता है। शीर्ष पदाधिकारियों में विचार इसपर हो रहा है कि मामला दीवानी दायर हो या आपराधिक अथवा दोनों।

लंबे संघर्ष व सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के बाद अयोध्या में बन रहे भव्य राममंदिर के प्रति विश्व भर के करोड़ों लोगों की आस्था है। यहीं कारण है कि मंदिर निर्माण में सहयोग के लिए देशभर में विहिप के नेतृत्व में चले निधि समर्पण अभियान में उम्मीद से अधिक लोगों का जुड़ाव देखने को मिला। ऐसे में ट्रस्ट और मंदिर आंदोलन की अगुआ विहिप कांग्रेस पार्टी, सपा व आप नेताओं द्वारा उठाए गए सवालों को अनुत्तरित नहीं छोड़ना चाहती। बल्कि, परिणति तक पहुंचाकर इस तरह का आरोप लगाने तथा माफी मांगने वालों को कड़ा संदेश देना चाहेगी।

विहिप के कार्याध्यक्ष ने कहा कि ये द्वेषपूर्ण आरोप करोड़ों भक्तों की आस्था को ठेस पहुंचाने वाले हैं। वैसे, विहिप व मंदिर आंदोलन से जुड़े रहे अन्य संगठन भक्तों के बीच भ्रम न हो इसके लिए जमीन खरीद से जुड़े तथ्यों के साथ इंटरनेट मीडिया के माध्यम से पहुंचा जा रहे हैं।

जूना अखाड़ा के महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद ने कहा कि श्रीराम मंदिर निर्माण व उससे संबंधित समस्त क्रियाकलाप प्रामाणिक व पारदर्शी हैं। इस दिव्य अभियान को विवादास्पद करने का द्वेषपूर्ण प्रयत्न दुर्भाग्यपूर्ण है। इस प्रकार के दुष्प्रचार में तात्कालिक स्वार्थपूर्ति दृष्टिगोचर हो रही है।

अखिल भारतीय संत समिति के राष्ट्रीय महामंत्री स्वामी जीतेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि यह षणयंत्र उन लोगों का है जिन्हें मंदिर निर्माण पच नहीं रहा है। वे उस जमीन पर मस्जिद निर्माण की साजिश में थे। तथ्यहीन आरोप लगाने वाले वहीं लोग हैं जिनपर देश का पैसा लूटने के मामले चल रहे हैं और जमानत पर बाहर हैं।


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