यूनिटेक के प्रमोटर संजय चंद्रा की अंतरिम जमानत को बढ़ाने से सुप्रीम कोर्ट का इनकार
Unitech Home Buyers Case सु्प्रीम कोर्ट ने यूनिटेक के प्रमोटर संजय चंद्रा को अंतरिम जमानत को बढ़ाने से इनकार कर दिया।
नई दिल्ली, एएनआइ। सुप्रीम कोर्ट ने यूनिटेक प्रमोटर संजय चंद्रा को दी गई अंतरिम जमानत बढ़ाने से इनकार कर दिया। उन्हें घर खरीदारों के साथ धोखाधड़ी के मामले में अंतरिम जमानत मिली हुई है। कोर्ट ने मामले में उनके भाई अजय चंद्रा को जमानत देने से भी इनकार किया। जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस एमआर शाह की खंडपीठ ने संजय को समर्पण करने के लिए कहा।
शीर्ष कोर्ट ने सात जुलाई 2020 को संजय को अंतरिम जमानत दी थी। वह करीब तीन साल से जेल में बंद हैं। अपने 78 वर्षीय पिता के कोविड-19 से संक्रमित होने और एक अस्पताल में आइसीयू में भर्ती होने की जानकारी देकर संजय ने अंतरिम जमानत ली थी। अजय को भी कई घर खरीदारों के साथ धोखाधड़ी और नोएडा एवं गुरुग्राम में आवासीय प्रोजेक्टों में देरी करने के लिए 2017 में गिरफ्तार किया गया था।
सितंबर 2017 में गिरफ्तार किये गए थे संजय चंद्रा
बता दें कि संजय चंद्रा को यूपी के ग्रेटर नोएडा के हाउसिंग प्रोजेक्ट में धोखाधड़ी, आपराधिक साजिश रचने के मामले में दिल्ली की एक अदालत के आदेश पर सितंबर 2017 को गिरफ्तार किया गया था। तब से वह जेल में ही बंद हैं।
पुलिस के खिलाफ अवमानना याचिका दायर
मानसिक स्वास्थ्य संबंधी कानून के तहत अदालत के आदेश के बावजूद भी दिशानिर्देश नहीं बनाने पर दिल्ली पुलिस के खिलाफ हाई कोर्ट में अवमानना याचिका दायर की गई है। याचिकाकर्ता गौरव कुमार बंसल ने कहा कि हाई कोर्ट ने वर्ष 2018 में ही दिल्ली पुलिस से दिशानिर्देश बनाने का निर्देश दिया था ताकि वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं, घर विहीन लोगों और अनाथों के मानसिक इलाज को लेकर उचित कदम उठाया जा सके। याचिकाकर्ता ने कहा कि सूचना के अधिकार के तहत जानकारी मिली कि अभी तक इस संबंध में दिशानिर्देश नहीं बनाए गए हैं। गौरव ने कहा कि दिल्ली में लगभग दो लाख मानसिक रूप से बीमार लोग हैं और पुलिस का दायित्व बनता है कि वह उन्हें सुरक्षा प्रदान करे।