अब दिव्यांग श्रेणी में शामिल हुआ मधुमेह टाइप वन, फॉर्म भरो-सुविधाएं पाओ
परीक्षा में सीबीएसई ने मधुमेह से पीड़ित विद्यार्थियों के लिए यह छूट बरकरार रखी है।
नई दिल्ली (जेएनएन)। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने मधुमेह टाइप वन को दिव्यांगता की श्रेणी में शामिल किया है। इस फैसले के बाद मधुमेह टाइप वन से पीड़ित विद्यार्थियों को दसवीं व बारहवीं बोर्ड की परीक्षा में दिव्यांग विद्यार्थियों की तरह सुविधाएं मिलेंगी। बोर्ड ने पीड़ित विद्यार्थियों को दिव्यांग श्रेणी में फार्म भरने का विकल्प दिया है।
सीबीएसई दसवीं व बारहवीं कक्षा की बोर्ड परीक्षा पांच मार्च से शुरू हो रही है। जिसके लिए विद्यार्थियों व बोर्ड ने अपनी -अपनी तैयारियां शुरू कर दी हैं। इस बीच सीबीएसई ने बड़ा फैसला लेते हुए मधुमेह टाइप वन से पीड़ित विद्यार्थियों को दिव्यांगता श्रेणी में शामिल किया है।
हालांकि डिसएबिलिटीज एक्ट 2017 में दिव्यांगता वाली 21 बीमारियों की सूची में मधुमेह शामिल नहीं हैं, लेकिन इसके बाद भी सीबीएसई ने परिपत्र (सर्कुलर) जारी करते हुए मधुमेह टाइप वन को दिव्यांगता की श्रेणी में शामिल किया है।
परिपत्र में सीबीएसई ने पीड़ित विद्यार्थियों को कहा है कि अगर वे परीक्षा के दौरान विशेष छूट चाहते हैं तो वे दिव्यांगता की श्रेणी में फार्म भर सकते हैं।
गौरतलब है कि सीबीएसई ने पिछले वर्ष बोर्ड परीक्षा के दौरान मधुमेह से पीड़ित विद्यार्थियों को राहत प्रदान करते हुए उन्हें कई सुविधाएं उपलब्ध कराई थीं। जिसके तहत इंसुलिन पर निर्भर विद्यार्थियों को परीक्षा केंद्र में चॉकलेट, टॉफी व पानी ले जाने की इजाजत दी गई थी।
इस वर्ष भी आयोजित होने वाली परीक्षा में सीबीएसई ने मधुमेह से पीड़ित विद्यार्थियों के लिए यह छूट बरकरार रखी है। जिसके तहत विद्यार्थी परीक्षा केंद्र में सेब, केला, संतरा और आधा लीटर तक पानी की बोतल ले जा सकेंगे।