मेडिकल सहायता के लिए नई पहल, प्रशिक्षण के बाद एनडीएमसी कर्मी भी बचा सकेेंगे लोगों के प्राण
एनडीएमसी के चेयरमैन धर्मेद्र ने कहा कि अचानक से अगर कोई भी व्यक्ति बेहोश हो जाता है या फिर उसे सांस लेने में कोई परेशानी महसूस हो रही हो और ऐसे में कोई डाॅक्टर एम्बुलेंस या अस्पताल आसपास न हों तो ऐसी में एनडीएमसी कर्मचारी ही मदद कर सकते हैं।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। अपने कार्यस्थल पर लोगों को जरूरत के समय कार्डियोपल्मोनरी पुनर्जीवन (सीपीआर) दिया जा सके, इसके लिए नई दिल्ली नगर पालिका परिषद् (एनडीएमसी) ने कर्मचारियों को प्रशिक्षित करने का कार्य शुरू किया है। एनडीएमसी कन्वेंशन सेंटर में हार्ट केयर फाउंडेशन के साथ मिलकर कर्मचारियों को प्रशिक्षित किया गया।
सांस लेने में परेशानी हो तो एनडीएमसी कर्मचारी ही एक मात्र सहायता के स्त्रोत होते हैं
यह कार्यक्रम चरणबद्ध तरीके से चलेगा, जिसमें श्रेणीनुसार कर्मियों को सीपीआर के लिए प्रशिक्षित किया जाएगा। उद्धाटन कार्यक्रम को संबोधित करते हुए एनडीएमसी के चेयरमैन धर्मेद्र ने कहा कि अचानक से अगर कोई भी व्यक्ति बेहोश हो जाता है या फिर उसे सांस लेने में कोई परेशानी महसूस हो रही हो और ऐसे में कोई डाॅक्टर, एम्बुलेंस या अस्पताल आसपास न हों तो ऐसी स्थिति में एनडीएमसी कर्मचारी ही मदद का एकमात्र स्रोत हो सकते हैं।
प्रशिक्षण मिलने पर कर सकेंगे दूसरे के प्राणों की रक्षा
ऐसे में यदि एनडीएमसी कर्मी सीपीआर देने के लिए प्रशिक्षित हो जाएं तो वह दूसरों के प्राणों की रक्षा कर सकते हैं। धर्मेद्र ने बताया कि यह प्रशिक्षण अन्य जमीनी स्तर के कर्मचारियों जैसे बेलदारों और मालियों को भी प्रदान किया जाएगा।
प्रशिक्षण न केवल कर्मचारियों के लिए बल्कि समाज के प्रत्येक व्यक्ति के लिए उपयोगी
वहीं, एनडीएमसी के सचिव बीएम मिश्र ने कहा कि यह पालिका परिषद में कर्मचारियों के लिए एक नई पहल है। यह प्रशिक्षण न केवल कर्मचारियों के लिए बल्कि समाज के प्रत्येक व्यक्ति के लिए उपयोगी है, जिन्हें आपातकाल में इसकी जरूरत हो सकती है। उन्होंने आगे कहा कि किसी भी आपात स्थिति में व्यक्ति के जीवन को बचाने के लिए यह छोटा सा कौशल काफी महत्वपूर्ण हो सकता है।
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