दिल्ली में दर्दनाक हादसा : मां की आंखों के आगे जिंदा जल गए बेटा-बेटी
बेटे नाजिम व आयशा को निकालने के प्रयास में नाजिम की मां के दोनों हाथ बुरी तरह झुलस गए। आग ज्यादा बढ़ती देख लोगों ने मां को बाहर निकाल लिया लेकिन बच्चे समय रहते नहीं निका
दक्षिणी दिल्ली [मोहित शुक्ला]। शाहीन बाग में मंगलवार दोपहर शॉर्ट सर्किट से लगी आग में दो बच्चों की जलकर मौत हो गई। शाहीन बाग निवासी अहसान का पूरा परिवार व गाजियाबाद से आई उनकी बहन का परिवार हादसे के समय घर में ही मौजूद था। आग लगने पर घर में मौजूद लोगों को पीछे के रास्ते से सीढ़ी से उतार लिया गया, लेकिन दो छोटे बच्चे आग में फंस गए। छह वर्षीय बेटे नाजिम व आयशा को निकालने के प्रयास में नाजिम की मां के दोनों हाथ बुरी तरह झुलस गए। आग ज्यादा बढ़ती देख लोगों ने मां को बाहर निकाल लिया, लेकिन बच्चे समय रहते नहीं निकाले जा सके।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि जब सभी लोग भाग रहे थे तो दोनों बच्चे आग से डरकर घर में रखी टेबल के नीचे छिप गए थे। इसलिए उन्हें निकालने के लिए किसी का ध्यान टेबल के नीचे नहीं गया। बाद में चीख सुनकर मां ऊपर गई। मुहम्मद यूनुस गाजियाबाद की करनगेट पुलिस चौकी के पास स्थित पसौंडा में रहते हैं। उनका निकाह कुछ साल पहले शाहीन बाग निवासी तस्लीमा से हुआ था।
रविवार को वह अपनी दो बेटियों व बेटे नाजिम के साथ शाहीन बाग में रिश्तेदार के घर आए थे। मंगलवार दोपहर अचानक उनके घर में आग लग गई। तस्लीमा ने अपनी दोनों बेटियों व अन्य बच्चों को लोगों की मदद से घर से बाहर निकाल लिया, लेकिन उनका बेटा नाजिम और भतीजी आयशा आग में फंस गए। वह फिर से आग की तरफ गई, लेकिन बच्चों को बचा नहीं पाई। तस्लीमा को सफदरजंग अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
पड़ोसी एमपी सैफी का कहना है कि मंगलवार दोपहर करीब एक बजे मैं गली से गुजर रहा था। तभी देखा कि अहसान के घर में आग लगी हुई है। मैंने पड़ोसियों की मदद से घर के पीछे सीढ़ी लगाकर सभी लोगों को बाहर निकालना शुरू किया। कुछ ही देर में पुलिस व अग्निशमन विभाग की टीम आ गई। बच्चों को भी निकाला गया लेकिन तब तक वे बुरी तरह से झुलस चुके थे।