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चार साल में आधी हो गई मलेरिया की जांच, कोरोना के चक्कर में भूल गए हैं लोग मच्छरजनित बीमारियां

कोरोना से पहले हर वर्ष लोगों को डेंगू-मलेरिया का डर सताता था । सातए भी क्यों न क्योंकि एक दो साल बाद यह भयानक रूप भी तो ले लेता था। कई लोगों की जान भी चली जाती थी ।

By Prateek KumarEdited By: Published: Tue, 11 May 2021 07:59 PM (IST)Updated: Tue, 11 May 2021 07:59 PM (IST)
चार साल में आधी हो गई मलेरिया की जांच, कोरोना के चक्कर में भूल गए हैं लोग मच्छरजनित बीमारियां
लगातार बुखार आए तो मलेरिया की भी करा लें जांच।

नई दिल्ली, निहाल सिंह। कोरोना ने उन बीमारियों को भुला दिया है जो हर वर्ष अक्सर हमें परेशान करती थी। कोरोना से पहले हर वर्ष लोगों को डेंगू-मलेरिया का डर सताता था। सातए भी क्यों न क्योंकि एक दो साल बाद यह भयानक रूप भी तो ले लेता था। कई लोगों की जान भी चली जाती थी। लेकिन, कोरोना आने के बाद मच्छरजनित बीमारियां भी गई नहीं है। कोरोना और डेंगू-मलेरिया के मिलते जुलते लक्षण होने की वजह से लोग कोरोना के अलावा अन्य बीमारियों की जांच नहीं करा रहे हैं।

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यही वजह है कि चार साल में यह जांच 50 फीसद तक घट गई है। कोरोना की तरह अभी मच्छरजनित बीमारियों का भी इलाज नहीं है। लेकिन, डेंगू-मलेरिया को रोकना इंसान के हाथ में है जबकि कोरोना को नहीं। अपने घर और कार्यस्थल के आस-पास साफ रखें तो मच्छरों के पनपने को रोका जा सकता है और इन बीमारियों को भी।

मलेरिया की बात करें तो वर्ष 2020 में कोरोना आने से पहले केवल दिल्ली सरकार और नगर निगम के अस्पतालों में साल भर में सवा लाख तक जांच होती थी जो कि अब घटकर 32 हजार तक हो गई है। वहीं मई माह तक की बात करें तो यह 50 फीसद तक कम हो गई है। वर्ष 2018 में जहां 22 हजार 721 जांच हुई थी जो कि इस वर्ष घटकर 10617 तक हो गई है। जिससे इन बीमारियों का समय पर न पता लग पाने और उनका इलाज शुरू न होने से लोगों की जान को खतरा बढ़ गया है।

दोनों बीमारियों के मिलते जुलते लक्षण हैं, लेकिन निगरानी से अंतर को समझा जा सकता है

मच्छर जनित बीमारियों के लक्षण -

-तेज और लगातार बुखार

-तेज बदन दर्द

-प्लेटलेट्स का गिरना

-नाक मुंह से खून बहना

-ठंड लगना और बुखार आना

कोरोना के लक्षण

-चढ़ता उतरता बुखार

-हल्का बदन दर्द

-स्वाद और सूंघने की क्षमता चले जाना

-दस्त होना

-सर्दी जुकाम होना

चार साल में की गई मलेरिया की जांच

वर्ष-जांच की संख्या-

2018-22721

2019-18712

2020-12044

2021-10617

चार साल में सरकारी अस्पतालों में किया गया इलाज

वर्ष- मरीजों की संख्या

2018-51

2019-41

2020-70

2021-19

चार वर्ष के आंकड़े

वर्ष-मलेरिया-डेंगू-चिकनगुनिया

2018-8-12-4

2019-4-9-5

2020-18-14-10

2021-8-17-3

(आंकड़े प्रत्येक वर्ष एक जनवरी से लेकर 8मई तक के)

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पांच वर्ष में मच्छरजनित बीमारियों से हुई मौतें

वर्ष-मलेरिया-डेंगू-

2017-0-10

2018-0-4

2019-0-2

2020-1-1

2021-0-0

अक्सर इस मौसम में मच्छरजनित बीमारियां भी होती है। कोरोना के साथ हमें इन बीमारियों के लक्षणों को ध्यान में रखना चाहिए। डाक्टर की सलाह पर इनकी जांच भी करानी चाहिए। क्योंकि कुछ मिलते जुलते लक्षण हैं जिससे लोगों का मच्छरजनित बीमारियों की ओर ध्यान नहीं जा रहा है।

डॉ पीके शर्मा, महामारीविद, एवं मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी (सेवानिवृत्त), एनडीएमसी


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