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फिदायीन हमला करने आ रहा आतंकी जम्मू में धरा, स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली-NCR में हाई अलर्ट

खुफिया एजेंसियों के अनुसार फिदायीन हमले के लिए पाकिस्तान से दो खूंखार आतंकी जम्मू-कश्मीर के रास्ते भारत मेें दाखिल हो दिल्ली पहुंच चुके हैं।

By Amit SinghEdited By: Published: Sun, 05 Aug 2018 10:23 AM (IST)Updated: Mon, 06 Aug 2018 05:56 PM (IST)
फिदायीन हमला करने आ रहा आतंकी जम्मू में धरा, स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली-NCR में हाई अलर्ट
फिदायीन हमला करने आ रहा आतंकी जम्मू में धरा, स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली-NCR में हाई अलर्ट

नई दिल्ली (जेएनएन)। स्वतंत्रता दिवस समारोह के दौरान फिदायीन हमले की साजिश को अंजाम देने के मकसद से भारत पहुंचा लश्कर-ए-तैयबा का आतंकी जम्मू के गांधी नगर क्षेत्र में पुलिस के हत्थे चढ़ गया। उसके कब्जे से हथियार व गोला बारूद बरामद किया गया है। आतंकी की पहचान अरफान हुसैन वानी पुत्र गुलाम हुसैन वानी निवासी डंगर अवंतीपोरा के रूप में हुई है। गांधी नगर पुलिस स्टेशन में दिल्ली पुलिस की स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप के अधिकारी आतंकी से पूछताछ कर रहे हैं।

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सूत्रों का कहना है कि वह रविवार दोपहर को पुलवामा जिले से जम्मू बस स्टैंड पहुंचा और वहां से गांधीनगर क्षेत्र में आ गया। आतंकी दिल्ली जाने वाली बस में सवार होने की फिराक में था कि सुरक्षा एजेंसियों को उसकी भनक लग गई और वह पकड़ा गया। उसके बैग से चीन में निर्मित आठ यूबीजीएल ग्रेनेड बरामद हुए हैं। आतंकी से पूछताछ की जा रही है कि उसके कितने और साथी जम्मू में आए हैं।

पूछताछ में पता चला है कि लश्कर ने आतंकी को स्वतंत्रता दिवस पर जम्मू या दिल्ली में सीरियल ब्लॉस्ट करने के लिए भेजा था। उसे यह निर्देश पाकिस्तान और कश्मीर में बैठे आकाओं ने दिए थे। ऐसा भी माना जा रहा है कि पकड़ा गया आंतकी दिल्ली व जम्मू में पहले से डेरा डाले अपने साथियों को गोला बारूद सौंपने आ रहा था।

खुफिया एजेंसियों ने दिल्ली में फिदायीन हमले की पुख्ता सूचना दी
दिल्ली में नौ दिन बाद आयोजित होने वाले 72वेें स्वतंत्रता दिवस समारोह के दौरान आतंकी फिदायीन हमला करने की तैयारी में हैं। खुफिया एजेंसियों ने दिल्ली में 15 अगस्त के मौके पर आतंकियों द्वारा फिदायीन हमले की पुख्ता जानकारी दी है। इसके बाद से दिल्ली एनसीआर में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। आतंकी साजिश को नाकाम करने के लिए सभी सुरक्षा एजेंसियां चौकन्नी हो गईं हैं। साथ ही स्वतंत्रता दिवस समारोह के लिए तैयार किए जा रहे लाल किले के आसपास सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई है। इसके अलावा मेट्रो की सुरक्षा में लगी सीआइएसएफ को भी विशेष सतर्कता बरतने के निर्देश दिए गए हैं।

दिल्ली एनसीआर समेत पूरे देश में हाई अलर्ट
एक तरफ देश में जगह-जगह स्वतंत्रता दिवस की तैयारियों जोरों पर हैं, वहीं सुरक्षा एजेंसियां चिंतित हैं। उनकी चिंता की वजह है खुफिया एजेंसियों द्वारा जारी किया गया अलर्ट। खुफिया एजेंसियों ने स्वतंत्रता दिवस समारोह के दौरान दिल्ली में फिदायीन हमले की पुख्ता सूचना दी है। इसके बाद से देश भर में सुरक्षा एजेंसियों और सभी खुफिया एजेंसियों को अलर्ट कर दिया गया है।

फिदायीन हमले के लिए भारत पहुंचे कई आतंकी, दिल्ली में डाला डेरा
स्वतंत्रता दिवस की 72वीं वर्षगांठ से ठीक पहले खुफिया एजेंसियों ने अलर्ट जारी किया है कि जैश-ए-मोहम्मद का आतंकी मोहम्मद इब्राहिम उर्फ इस्माइल दिल्ली में है और वह फिदायीन हमले की साजिश रच रहा है। इब्राहिम, जैश-ए-मोहम्मद के चीफ मौलाना मसूद अजहर के भाई मुफ्ती अब्दुल रउफ असगर का पुराना बॉर्डी गार्ड है। खुफिया एजेंसियों के अनुसार इब्राहिम मई के प्रथम सप्ताह में जम्मू-कश्मीर के रास्ते भारत में दाखिल हुआ था। इसके बाद उसने अपना ठिकाना बदलकर दिल्ली में बना लिया। वह दिल्ली में रहकर यहां मौजूद जैश के आतंकियों से समन्वय कर दहशत फैलाने की बड़ी साजिश रच रहा है।

जैश का एक और मुख्य आतंकी मोहम्मद उमर भी हाल में ही जम्मू-कश्मीर से भारत में दाखिल हुआ है। अब उमर और इब्राहिम मिलकर स्वतंत्रता दिवस के मौके पर दिल्ली में फिदायीन हमला करने की तैयारियों में जुटे हुए हैं। दोनों जम्मू-कश्मीर में मौजूद कई आतंकियों को दिल्ली रवाना होने का आदेश भी दे चुके हैं। खुफिया एजेंसियों ने ये भी बताया है कि मौलाना मसूद अजहर का भाई मुफ्ती अब्दुल रउफ असगर जैश में दूसरा स्थान रखता है। वह भारत विरोधी गतिविधियों का मुख्य कमांडर भी है। असगर, पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आइएसआइ के सहयोग से भारत में चल रही फिदायीन हमले की तैयारियों पर सीधे नजर रखे हुए है।

कंधार विमान हाईजैक समेत कई आतंकी हमले करा चुका है ये आतंकी
खुफिया एजेंसियों के इस अलर्ट ने सुरक्षा एजेंसियां की नींद उड़ा दी है। दरअसल असगर पिछले तीन-चार साल में भारत के अंदर सुरक्षा बलों पर कई फिदायीन हमले करा चुका है। इसमें वर्ष 2016 में पठानकोट स्थित वायु सेना के बेस कैंप पर हुआ हमला और नगरोटा में थल सेना के कैंप पर हुआ आतंकी हमला भी शामिल है। असगर ने ही अपने खास आतंकियों के जरिए वर्ष 1999 में अपने भाई मसूद अजहर को भारत से छुड़ाने के लिए विमान हाईजेक (कंधार विमान अपहरण कांड) करवाया था। संसद भवन पर हुए हमले की साजिश भी मुफ्ती अब्दुल रउफ असगर ने ही तैयार की थी।

मसूद अजहर के भतीजे की मौत का बदला लेने को जैश ने कई आतंकी संगठनों से मिलाया हाथ
जैश ने भारत के अंदर कई जगहों पर आतंकी हमले करने के लिए हाल में ही मानशेरा, खैबर पख्तूनवां और पाकिस्तान के अन्य प्रांतों में सक्रिय आतंकी संगठनों से भी गठजोड़ किया है। दरअसल जैश नवंबर 2017 में पुलवामा में सुरक्षा बलों द्वारा मारे गए मसूद अजहर के भतीजे ताल्हा रशीद की मौत का बदला लेना चाहता है। श्रीनगर में सक्रिय जैश आतंकी आशिक बाबा ने भी पकड़े जाने के बाद एनआइए की पूछताछ में खुलासा किया था कि जैश-ए-मोहम्मद, मानशेरा में लश्कर-ए-तैयबा और हिजबुल मुजाहिद्दीन के साथ मिलकर आतंकवादियों के लिए ट्रेनिंग कैंप चला रहा है।

भारत में आतंकी साजिशों को अंजाम देने के लिए तीनों संगठन आपसी तालमेल के साथ खुद को मजबूत करने में जुटे हुए हैं। सुरक्षा एजेंसियों के अनुसार पकड़े जाने से पहले आशिक बाबा कई बार जैश चीफ मौलाना मसूद अजहर और उसके भाई मुफ्ती अब्दुल रउफ असगर से मिल चुका था। आशिक बाबा वर्ष 2016 में नगरोटा में सेना के कैंप पर हुए आतंकी हमले का मुख्य आरोपी भी है।


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