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Delhi News: प्लास्टिक विकल्प मेले में मंत्री गोपाल राय ने लोगों से की पर्यावरण को नुकसान न पहुंचाने की अपील

Delhi Plastic Vikalp Mela प्रतिबंधित सिंगल यूज प्लास्टिक (एसयूपी) के लिए तरह-तरह के विकल्पों के स्टाल लगाए गए हैं। इन विकल्पों का उपयोग लोग प्लास्टिक के उत्पादों की जगह कर सकेंगे। इसी श्रेणी में ईकोलास्टिक नामक संस्थान मक्के से बायोडिग्रेबल बैग बना रहा है।

By Pradeep ChauhanEdited By: Published: Sun, 03 Jul 2022 02:40 PM (IST)Updated: Sun, 03 Jul 2022 02:40 PM (IST)
Delhi News: प्लास्टिक विकल्प मेले में मंत्री गोपाल राय ने लोगों से की पर्यावरण को नुकसान न पहुंचाने की अपील
Delhi Plastic Vikalp Mela: पर्यावरण मंत्री ने स्टाक होल्डर्स के साथ राउंड टेबल कांफ्रेंस भी की।

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। Delhi Plastic Vikalp Mela: दक्षिण दिल्ली के त्यागराज इनडोर स्टेडियम में शुक्रवार से शुरू हुए तीन दिवसीय प्लास्टिक विकल्प मेले में रविवार को पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने शिरकत की। उन्होंने स्टेडियम में एसयूपी के अन्य विकल्पों के बारे में और जानकारी लोगों को उपलब्ध कराने पर विचार के लिए सभी स्टाक होल्डर्स के साथ राउंड टेबल कांफ्रेंस भी की।

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इससे पहले प्रतिबंधित सिंगल यूज प्लास्टिक (एसयूपी) के लिए तरह-तरह के विकल्पों के स्टाल लगाए गए हैं। इन विकल्पों का उपयोग लोग प्लास्टिक के उत्पादों की जगह कर सकेंगे। इसी श्रेणी में ईकोलास्टिक नामक संस्थान मक्के से बायोडिग्रेबल बैग बना रहा है।

ये बैग छूने और दिखने में तो पाली या प्लास्टिक बैग जैसे ही हैं, लेकिन हैं बायोडिग्रेबल। इसमें मुख्यत: कैरी बैग, नर्सरी बैग, गारबेज बैग, लांड्री बैग्स, कटलरी, स्ट्रा, डिस्पोजेबल ग्लव्स और कैप्स आदि शामिल हैं जिन्हें प्रयोग के बाद आसानी से नष्ट किया जा सकेगा। इससे पर्यावरण को नुकसान नहीं होगा। 

दरअसल, सिंगल यूज प्लास्टिक (एसयूपी) पर लगा प्रतिबंध पर्यावरण के बहुत ही हितकारी है और पालीथिन पर्यावरण की दुश्मन है। यह बात ज्यादातर लोगों को पता हैं, लेकिन सहूलियत और महंगाई इसे लागू करने में बाधा बन रही है। कपड़े का थैला साथ ले जाना लोगों की आदत में अभी शुमार नहीं हो पाया है साथ ही छोटे दुकानदारों के पास सिंगल यूज प्लास्टिक का विकल्प थैले के रूप में मौजूद तो हैं पर थैला महंगा होने की वजह से लोग इसे बड़ी संख्या में खरीदने के लिए तैयार नहीं है।

ऐसे में सब्जी मंडियों से लेकर बड़े बाजारों में अब भी धड़ल्ले से सिंगल यूज प्लास्टिक के तौर पर पालीथिन का उपयोग हो रहा है। प्रतिबंध होने का दूसरा दिन हैं ऐसे में जिन दुकादारों और सब्जि विक्रेताओं के पास पालीथिन का पुराना स्टाक बचा है वह चोरी छिपे ही उसे निकालने में लगे हुए हैं।


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